कर्ज उतारने के लिए अनिल अम्बानी की 'समर सेल'

Anil Ambanis Summer Asset Sale Expands As Banks Tighten Screws
कर्ज उतारने के लिए अनिल अम्बानी की 'समर सेल'
कर्ज उतारने के लिए अनिल अम्बानी की 'समर सेल'

टीम डिजिटल, मुंबई। ऑनलाइन ई-कॉमर्स कंपनियों की तरह अनिल अम्बानी ग्रुप की 'समर सेल' भी शुरू हो गई है। मामला GST का नहीं, बल्कि कर्ज का है। अनिल अम्बानी कर्ज के दबाव में सड़क किनारे की संपत्तियों, समुद्र के नीचे बीचे केबल बिजनेस और मुंबई-दिल्ली में प्राइम प्रॉपर्टी बेच रहें हैं। अनिल अम्बानी के झोले में और भी बहुत कुछ है। मसलन फोन के ट्रांसमिशन टावर्स और एयरसेल के साथ मर्जर के बाद वायरलेस ऑपरेशन के अलावा अगर आपकी जेब में पैसे बचें तो अगले 1 हफ्ते में आने वाले दो IPO भी खरीद सकतें हैं।

यह मानना गलत होगा कि देश के बड़े बैंक कर्ज वसूली के लिए सिर्फ किसानों पर ही दबाव डाल रहे हैं। अनिल अम्बानी समूह भी दबाव में हैं। वजह है मुकेश अम्बानी का रिलायंस जियो, जिसनें अनिल अम्बानी के टेलिकॉम बिजनेस को पीट दिया। अब अनिल को कर्ज अदायगी के लिए 4.5 अरब डॉलर उगाही की उम्मीद है, जो कि कुल कर्ज का एक तिहाई ही है। आरबीआई ने साफ़ कर दिया है, या तो कर्ज चुकाओ या दिवालिया हो जाओ। अनिल अम्बानी समूह की कोई भी कम्पनी कर्ज अदायगी के 90 दिन के डेडलाइन को मिस नहीं करना चाहती चाहे। इसके लिए प्रॉपर्टी भी क्यों न बेचना पड़े। 

अनिल की कम्पनी के एक आला अधिकारी का कहना है कि ''समर सेल'' का कम्पनी की माली हालात से कोई लेना देना नहीं है। ये प्रॉपर्टी तो अनुपयोगी है और इन्हें 3-4 साल पहले ही बेच दिया जाना चाहिए था। अलबत्ता बाजार के जानकार बताते हैं कि जिन बैंकों ने RCOM को लोन दिया था, वो वसूली पर आ गई हैं, क्योकि कम्पनी घाटे में है। इस पर रिलायंस जियो के फ्री फोन कॉल और डाटा के ऑफर ने कम्पनी की कमर ही तोड़ दी है। बाजार में RCOM के शेयर 60 फीसदी गिर गए और इस खबर ने लेनदारों को कम्पनी केे दरवाजे पर ला खड़ा किया है। अब कम्पनी काे उम्मीद है कि दिल्ली-मुंबई में बेकार पड़ी 133 एकड़ की संपत्तियों को बेचकर 11000 करोड़ जुटाएं जा सकेंगे। जबकि इतनी ही रकम Rcom के टॉवरों को बेचकर जुटाने का इरादा है।

Created On :   28 Jun 2017 5:59 AM GMT

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