ओवैसी के बाद केजरीवाल की एंट्री,आम आदमी पार्टी का नया मिशन राजस्थान विधानसभा चुनाव

राजस्थान ओवैसी के बाद केजरीवाल की एंट्री,आम आदमी पार्टी का नया मिशन राजस्थान विधानसभा चुनाव

Raja Verma
Update: 2022-09-15 14:48 GMT
ओवैसी के बाद केजरीवाल की एंट्री,आम आदमी पार्टी का नया मिशन राजस्थान विधानसभा चुनाव

डिजिटल डेस्क,दिल्ली। एक समय दिल्ली तक सीमित आम आदमी पार्टी की अब पंजाब में सरकार बन चुकी है।  आम आदमी पार्टी लगातार विस्तार की नीति पर काम कर रही है। केजरीवाल की पार्टी गुजरात और हिमाचल के विधानसभा चुनाव में भी पूरा जोर लगा रही है। इसी बीच आम आदमी पार्टी के एक विधायक के ट्वीट के बाद से यह माना जा रहा है कि पार्टी अब राजस्थान में भी आने वाले साल में होने वाले विधानसभा चुनाव के रण में कूदने वाली है।आम आदमी पार्टी के संयोजक केजरीवाल की नजर अगले साल राजस्थान में होने विधानसभा चुनाव पर है। अगले महीने राजस्थान में आम आदमी पार्टी के प्रमुख नेताओं की बैठक होगी।


पार्टी के प्रमुख नेता अरविंद केजरीवाल की अगले महीने राजस्थान का कार्यक्रम इसी बात  को ध्यान में रखकर किया गया है। जिसकी पुष्टि आप के विधायक नरेश बाल्यान ने किया है। विधायक नरेश बाल्यान ने ट्वीटर पर अरविंद केजरीवाल के राजस्थान में कार्यक्रम का ज्रिक किया और इसके साथ ही राजस्थान के सीएम पर भी निशाना साधा। नरेश ने ट्वीट करते हुए लिखा कि , ""7 और 8 अक्टूबर को राजस्थान के जयपुर में एक रैली और अगले दिन युवा संवाद कर माननीय अरविंद केजरीवाल जी राजस्थान में एक कथित भ्रष्ट "जादूगर" की जादूगरी छुड़ाएंगे और राजस्थान में बदलाव का आगाज करेंगे।""


राजस्थान में पहले से ही ओवैसी की एंट्री 

आम आदमी पार्टी के विधायक नरेश बाल्यान ने ऐसे समय में अरविंद  केजरीवाल के राजस्थान दौरे का खुलासा किया। जब राजस्थान में औवेसी की एंट्री हो चुकी है। दरअसल एक दिन पहले ही ऑल इंडिया मजलिस ए इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने दस्तक दी है। ओवैसी की पार्टी ने राजस्थान में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव लड़ने का ऐलान किया है और इसके लिए अभी से ही पार्टी के नेता राजस्थान में पार्टी और संगठन को मजबूत करने में जुट गए है।

राजस्थान में विधानसभा चुनाव का मुकाबला होगा दिलचस्प 

राजस्थान में विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी और एआईएमआईएम पार्टी की दावेदारी ने मुकाबला को और भी दिलचस्प बना दिया है। बता दें कि राजस्थान मे पहले से ही दो पार्टियां भाजपा और कांग्रेस प्रमुख रुप से सक्रिय हैं। भाजपा और कांग्रेस के बीच यहां हर बार विधानसभा चुनाव में कांटे की टक्कर होती है। यहां की राजनीति को लेकर कहा जाता है कि यहां हर पांच साल में सत्ता परिवर्तन देखने को मिलता है। ऐसे में  कांग्रेस के पास सरकार बचाने और बीजेपी को सत्ता में आने की तैयारी में जमकर करना होगा। लिहाजा आप और एआईएमआईएम पार्टी की एंट्री से कौन सी पार्टी को कितना फायदा होगा यह तो आने वाले समय में पता चलेगा। हांलाकि इन दोनों पार्टी की एंट्री ने दोनों प्रमुख पार्टियों की सिरदर्द जरूर बढा दी है। फिलहाल अब भाजपा और कांग्रेस नए सिरे से राजस्थान में अपनी रणनीति तय करेंगे। 


 

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