जवाबी पत्र: 'पार्टी के किसी भी रैली, कार्यक्रम या बैठक के लिए नहीं किया गया आमंत्रित', जयंत सिन्हा ने बीजेपी के नोटिस का दिया जवाब

  • जयंत सिन्हा ने कारण बताओ नोटिस का दिया जवाब
  • कहा पार्टी ने किसी भी चुनावी कार्यक्रम का नहीं दिया न्योता
  • पोस्टल बैलेट के जरिए सिन्हा ने किया था मतदान

Bhaskar Hindi
Update: 2024-05-23 06:06 GMT

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी ने झारखंड के हजारीबाग सांसद जयंत सिन्हा को कारण बताओ नोटिस जारी कर दो दिन में जवाब मांगा था। भाजपा ने सिन्हा से हजारीबाग सीट से टिकट कटने के बाद पार्टी के संगठनात्मक और चुनावी कार्यों में भाग नहीं लेने को लेकर सवाल किए थे। अब जयंत सिन्हा ने पार्टी के तरफ से भेजे गए नोटिस का लिखित जवाब दो पन्नों में दिया है। हजारीबाग सांसद ने जवाबी पत्र में पार्टी की तरफ से किसी भी रैली, बैठक या चुनावी कार्य में शामिल होने के लिए न्योता नहीं मिलने की बात कही है। भाजपा ने विजय सिन्हा से मताधिकार का इस्तेमाल नहीं करने को लेकर भी सवाल पूछा था। इसके जवाब में बीजेपी सांसद ने पोस्टल बैलेट से मतदान की जिम्मेदारी पूरी करने की बाता कही है। जयंत सिन्हा ने निजी कारणों से विदेश जाने के चलते पोस्टल बैलेट से मतदान किया है। जयंत सिन्हा ने दो पन्नों के जवाबी पत्र में पार्टी की तरफ से भेजे गए नोटिस और उसे सार्वजनिक करने पर आश्चर्य व्यक्त किया है।

जेपी नड्डा से हुई बात का जिक्र

जयंत सिन्हा ने पत्र में भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से 2 मार्च को हुई बातचीत का जिक्र किया है। नड्डा से हुई बातचीत के किए गए अपने ट्वीट का जिक्र करते हुए विजय सिन्हा ने पत्र में लिखा कि उन्होंने लोकसभा चुनाव से पहले ही चुनावी दायित्वों से दूर रह कर जलवायु परिवर्तन से जुड़े मुद्दों पर ध्यान केंद्रत करने का निर्णय लिया था। उन्होंने इसकी सार्वजनिक घोषणा एक्स पोस्ट के जरिए करने की बात कही है। जयंत सिन्हा ने हजारीबाग से टिकट कटने पर भी राजनीतिक मर्यादा बनाए रखने की बात कही है। उन्होंने पार्टी को दिए गए जवाबी पत्र में लिखा कि पार्टी ने इस बार मनीष जयसवाल को अपना उम्मीदवार बनाया है। पार्टी के कुछ कार्यकर्ताओं ने उन्हें उम्मीदवारी नहीं छोड़ने के लिए कहा लेकिन उन्होंने राजनीतिक मर्यादा बनाए रखा। कारण बताओ नोटिस को सार्वजनिक किए जाने पर सिन्हा ने आश्चर्य जताते हुए लिखा कि आपकी चिट्ठी पा कर चकित हूं और पता चला है कि यह मीडिया में भी आ चुका है।

'नहीं मिला न्योता' - जयंत सिन्हा

जयंत सिन्हा ने साफ किया कि उन्होंने चुनावी कार्यों से दूरी बनाने का निर्णय लेने के बाद पार्दर्शिता बनाए रखने के लिए सोशल मीडिया पोस्ट के जरिए इसकी सार्वजनिक रूप से सूचना दी थी। उनका कहना है कि अगर फिर भी पार्टी चाहती थी कि वह चुनावी कार्यों में हिस्सा लें तो उनसे संपर्क किया जा सकता था। सिन्हा ने आगे लिखा कि प्रदेश के किसी भी वरिष्ठ पार्टी पदाधिकारी, सांसद या विधायक ने उनसे संपर्क नहीं किया। उन्होंने बताया कि पार्टी के किसी भी रैली, चुनावी कार्यक्रम या बैठक में शामिल होने के लिए उन्हें आमंत्रित नहीं किया गया। 

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