सूरजकुंड मेले में दिखेगी महाराष्ट्र के रायगढ़ की ऐतिहासिक विरासत की झलक

सूरजकुंड मेले में दिखेगी महाराष्ट्र के रायगढ़ की ऐतिहासिक विरासत की झलक

Bhaskar Hindi
Update: 2018-12-17 18:55 GMT
सूरजकुंड मेले में दिखेगी महाराष्ट्र के रायगढ़ की ऐतिहासिक विरासत की झलक

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। हरियाणा के सूरजकुंड में आयोजित 33वें अंतर्राष्ट्रीय शिल्प मेले में दर्शकों को महाराष्ट्र के रायगढ की ऐतिहासिक विरासतों और प्रदेश के प्रसिद्ध शहरों से संबंधित इतिहास का दीदार कराया जाएगा। उल्लेखनीय है कि 2006 के बाद महाराष्ट्र को सूरजकुंड मेले का थीम स्टेट और थाईलैंड को पार्टनर कंट्री बनाया गया है। बता दें कि थाइलैंड इससे पहले साल 2012 में कंट्री पार्टनर के रूप में मेले में आया था। यह दूसरा मौका होगा जब वह मेले में अपनी शिल्प कला, संस्कृति, रहन सहन, खानपान को प्रदर्शित करेगा। 

आगामी 1 से 17 फरवरी 2019 में सूरजकुंड में अंतर्राष्ट्रीय शिल्प मेला आयोजित होगा। महाराष्ट्र पर्यटन विभाग के प्रबंध निदेशक अभिमन्यू काले के अनुसार मेले परिसर को रायगढ़ थीम के आधार पर सजाया जाएगा। 20 दिसंबर को महाराष्ट्र के पर्यटन विभाग की टीम मेले की तैयारियों के लिए सूरजकुंड पहुंचेगी। मेला परिसर सजाने के लिए रायगढ़ को ही क्यों चुना गया? इस पर काले ने कहा कि राज्य में रायगढ़ ही एक ऐसा जिला है जो कई विरासतों को संजोए हुए है।

उन्होंने कहा कि छत्रपति शिवाजी महाराज का रायगढ में किला है। इस किले की विशेषता और स्थान ध्यान में लेते हुए 17वीं सदी में स्वराज्य की अपनी राजधानी उन्होने इस किले को बनाई थी। इसके अलावा यहां धार्मिक स्थल भी है जिन्हे देखने भारी तादाद में लोग यहां आते है। मालूम हो कि थीम स्टेट के लिए चार राज्यों के नामों पर चर्चा चल रही थी। इसमें गुजरात, महाराष्ट्र, उत्तराखंड और मध्यप्रदेश का नाम था।

बता दें कि विश्वभर की लोक कला को दिखाने के लिए सूरजकुंड मेला एक बेहतर प्लेटफार्म है। यहां करीब 10 लाख से अधिक देसी-विदेश पर्यटक मेला घूमने आते हैं। 2009 में कंट्री पार्टनर रखने की परंपरा शुरू हुई थी। साल 2018 यानि इस साल उत्तरप्रदेश थीम स्टेट व किर्गिस्तान कंट्री पार्टनर के रूप में मेले में शामिल हुआ था।