ऑफर फॉर सेल के जरिए आईआरसीटीसी में हिस्सेदारी बेचेगी सरकार

Government will sell stake in IRCTC through offer for sale
ऑफर फॉर सेल के जरिए आईआरसीटीसी में हिस्सेदारी बेचेगी सरकार
ऑफर फॉर सेल के जरिए आईआरसीटीसी में हिस्सेदारी बेचेगी सरकार

नई दिल्ली, 21 अगस्त (आईएएनएस)। केंद्र सरकार इंडियन रेलवे कैटरिंग एंड टूरिज्म कॉर्पोरेशन (आईआरसीटीसी) में अपने शेयरों का एक हिस्सा बेचने जा रही है। सरकार यह बिक्री ऑफर फॉर सेल (ओएफएस) के जरिए करने की योजना बना रही है।

निवेश और लोक परिसंपत्ति प्रबंधन विभाग (दीपम) ने अनुरोध प्रस्ताव आमंत्रित करते हुए कहा, भारत सरकार भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) के नियमों के तहत शेयर बाजारों के जरिए आईआरसीटीसी में चुकता शेयर पूंजी के कुछ हिस्से का विनिवेश बिक्री की पेशकश माध्यम से करना चाहती है।

विभाग ने बताया कि बिक्री प्रक्रिया के प्रबंधन के लिए सेबी के साथ पंजीकृत मर्चेंट बैंकरों से 10 सितंबर तक प्रस्ताव आमंत्रित किए हैं।

गुरुवार को जारी किए गए निविदा दस्तावेज में कहा गया है, भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) के नियमों के अनुसार, प्रमोटरों द्वारा शेयर बाजारों के माध्यम से शेयरों की बिक्री के लिए ऑफर फॉर सेल (ओएफएस) विधि के माध्यम से अपनी हिस्सेदारी से आईआरसीटीसी की चुकता शेयर पूंजी का एक हिस्सा विनिवेश करने का इरादा है।

सरकार आईआरसीटीसी के कर्मचारियों को भी शेयर देने के बारे में सोच रही है।

दस्तावेज में आगे कहा गया है कि सरकार आईआरसीटीसी के पात्र और इच्छुक कर्मचारियों को शेयर आवंटित करने पर भी विचार कर रही है। इसके लिए कुछ शर्तें होंगी। शर्तें पूरी करने वाले कर्मचारियों को शेयर आवंटित किए जाएंगे। ये शेयर छूट (डिस्काउंट) पर दिए जाएंगे और ओएफएस पूरा होने के बाद यह काम होगा।

दस्तावेज में कहा गया है कि इसके लिए प्रतिशत और सीमा तय की जाएगी।

मर्चेंट बैंकर को ओएफएस के सभी पहलुओं से संबंधित कार्यों को करने की आवश्यकता होगी, जिसमें सरकार को ओएफएस के समय और तौर-तरीकों पर सलाह देना शामिल है। यह स्टॉक एक्सचेंज के साथ दाखिल होने के लिए नोटिस भी तैयार करेगा और नियामक और वैधानिक अधिकारियों की सभी निर्धारित आवश्यकताओं और औपचारिकताओं को पूरा करेगा।

ओएफएस से संबंधित सभी गतिविधियों के पूरा होने तक ब्रोकिंग लाइसेंस को मान्य होना आवश्यक है। इसके अतिरिक्त मर्चेंट बैंकरों या उनके सहयोगियों को प्रस्तावित ओएफएस के लिए सेलिंग ब्रोकर के रूप में कार्य करना आवश्यक होगा।

एक अप्रैल, 2017 से 30 जून, 2020 तक की अवधि के दौरान 1,000 करोड़ रुपये या इससे अधिक के बोलीदाताओं को कम से कम एक घरेलू इक्विटी इश्यू - प्रारंभिक सार्वजनिक पेशकश या आगे की सार्वजनिक पेशकश या ओएफएस पूरा करना होगा।

कंपनी की अधिकृत पूंजी 250 करोड़ रुपये है और भुगतान पूंजी (पेड-अप) 160 करोड़ रुपये है। सरकार की फिलहाल आईआरसीटीसी में 87.40 प्रतिशत हिस्सेदारी है।

दोपहर 2.27 बजे बीएसई पर आईआरसीटीसी के शेयर 1,351.65 रुपये पर कारोबार कर रहे थे, जिसमें पिछले बंद से पांच रुपये या 0.37 प्रतिशत का उछाल देखने को मिला।

एकेके/एसजीके

Created On :   21 Aug 2020 5:30 PM GMT

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story