किरण मजूमदार-शॉ ने कहा, पूरी तरह से गलत तथ्य प्रस्तुत किए गए

Pandora Papers: Kiran Mazumdar-Shaw Says Totally False Facts Presented
किरण मजूमदार-शॉ ने कहा, पूरी तरह से गलत तथ्य प्रस्तुत किए गए
पेंडोरा पेपर्स किरण मजूमदार-शॉ ने कहा, पूरी तरह से गलत तथ्य प्रस्तुत किए गए

डिजिटल डेस्क, बेंगलुरु। बायोकॉन की प्रमुख किरण मजूमदार शॉ ने अपने पति जॉन शॉ के ऑफशोर ट्रस्ट के संबंध में स्टॉक एक्सचेंजों को एक अधिसूचना जारी की है। किरण मजूमदार शॉ ने मंगलवार को इस संबंध में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर जानकारी साझा की। उन्होंने कहा, मेरे पति जॉन शॉ के ऑफशोर ट्रस्ट पर तथ्यों के साथ स्टॉक एक्सचेंज को मेरी अधिसूचना साझा कर रही हूं।

जॉन और मैं दोनों कानून का पालन करने वाले नागरिक हैं और हमेशा सभी लागू नियमों का अनुपालन करते हैं। अधिसूचना 4 सितंबर को सचिव, बीएसई लिमिटेड और सचिव, नेशनल स्टॉक एक्सचेंज ऑफ इंडिया लिमिटेड को जारी की गई है। 

उन्होंने कहा, मैं पेंडोरा पेपर्स पर कुछ मीडिया रिपोर्टों से संबंधित स्थिति की व्याख्या करना चाहूंगी, जिसमें मेरे पति जॉन शॉ के ऑफशोर ट्रस्ट को संदर्भित किया गया है। मैं यह बताना चाहूंगी कि इस मामले ने तथ्यों को गलत तरीके से प्रस्तुत किया है। उन्होंने कहा, इसलिए मैं तथ्यों को प्रस्तुत करना चाहूंगी। मेरे पति, जॉन शॉ यूके के नागरिक हैं, जिन्होंने अपनी विदेशी मुद्रा आय से 1999 में एक निवेश कंपनी, ग्लेनटेक इंटरनेशनल की स्थापना की, ताकि बायोकॉन में यूनिलीवर पीएलसी के शेयरों का अधिग्रहण किया जा सके और अचल संपत्ति और सार्वजनिक बाजारों में कई अन्य निवेश किया जा सके।

ग्लेनटेक मॉरीशस में एक पंजीकृत इकाई है जिसके बारे में आरबीआई और सेबी दोनों को बताया गया है। जब 2004 में बायोकॉन सार्वजनिक हुआ, तो बायोकॉन में ग्लेनटेक की हिस्सेदारी का खुलासा किया गया था और यह जानकारी सार्वजनिक डोमेन में बनी हुई है। उन्होंने कहा, स्टॉक एक्सचेंजों के नवीनतम खुलासे के अनुसार ग्लेनटेक के पास बायोकॉन लिमिटेड का 19.76 प्रतिशत हिस्सा है। ग्लेनटेक एक वास्तविक ऑफशोर कंपनी (जॉन शॉ के स्वामित्व वाली 99 प्रतिशत) है, जिसकी भारत से आय में बड़े पैमाने पर बायोकॉन लिमिटेड जॉन से प्राप्त कर भुगतान लाभांश शामिल है। भारत में दायर शॉ के कर रिटर्न में ग्लेनटेक में उनकी हिस्सेदारी और निदेशक के रूप में रिपोर्ट दी गई है।

शॉ ने कहा, ग्लेनटेक डीनस्टोन ट्रस्ट का एकमात्र सेटलर है। जॉन शॉ और मैं दोनों न तो ट्रस्टी हैं, न ही सेटलर हैं, और न ही इस ट्रस्ट के लाभार्थी हैं। इस ट्रस्ट के लाभार्थी, जो परिवार के सदस्य हैं, विदेशी नागरिक और अनिवासी भारतीय हैं। बॉयोटेक दिग्गज ने कहा, मैं आपको आश्वस्त करना चाहती हूं कि किसी भी भारतीय निवासी के पास इस ऑफशोर ट्रस्ट की कुंजी नहीं है जैसा कि इन कहानियों में आरोप लगाया गया है। ये पूरी तरह से निराधार आरोप हैं। जॉन शॉ और मैं दोनों कानून का पालन करने वाले नागरिक हैं।

आईएएनएस

Created On :   5 Oct 2021 2:01 PM IST

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