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बड़ा लक्ष्य: उपराजधानी को 2030 तक रेबीजमुक्त करने का संकल्प, विशेष हुआ अभियान आरंभ
- 16 प्रभागों पर विशेष लक्ष्य
- मिशन रेबीज संगठन के कार्य
- मनपा का 28 दिनों का श्वान टीकाकरण अभियान आरंभ
डिजिटल डेस्क, नागपुर। महानगरपालिका प्रशासन और मिशन रेबीज संस्था के बैनर तले 1 सितंबर से 28 दिनों तक श्वान टीकाकरण अभियान का रविवार को आरंभ किया गया। नेशनल रेबीज कंट्रोल प्रोग्राम अंतर्गत अभियान में शहर के 20,000 से अधिक आवारा श्वानों के टीकाकरण का लक्ष्य रखा गया है। रेबीजमुक्त शहर अभियान में पिपल्स एन्ड एनिमल वेलफेअर सोसायटी समाजसेवी संस्था ऑन-ग्राऊंड नेतृत्व कर रही है, जबकि शहर के महाविद्यालयों के विद्यार्थी, पशु-प्रेमीं अपना सहयोग दे रहे हैं। इसके साथ ही शहर में आवारा श्वानों में अधिकाधिक वैक्सीनेशन के लिए अमेरिका की वर्ल्ड वाइड वेटरनरी ट्रस्ट, मिशन रेबीज और होप संस्था के भी श्वान पकड़ने के लिए विशेष पथक बनाएं गए हैं।
16 प्रभागों पर विशेष लक्ष्य
रेबीज के प्रसार को नियंत्रित करने के लिए अधिक श्वान वाले इलाकों को चिन्हित किया गया है। ऐसे में टीकाकरण अभियान में शहर के 16 प्रभागों पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। इन प्रभागों में प्रभाग क्रमांक- 15,16, 17, 18, 19, 35, 36, 37 और 38 को पहले चरण में शामिल किया गया है। इसके बाद दूसरे चरण में प्रभाग क्रमांक 27, 28, 29, 30, 31, 32 और 34 का समावेश किया गया है।
मिशन रेबीज संगठन के कार्य
रेबीज को सार्वजनिक स्वास्थ्य से जुड़े मुद्दे के रूप में जोड़ा गया है। ऐसे में साल 2013 में गोवा में स्थापित मिशन रेबीज संगठन श्वानों को रेबीजमुक्त करने को लेकर प्रयासरत है। मिशन रेबीज संस्था अनुसंधान आधारित दृष्टिकोण से श्वानों के टीकाकरण अभियान पर ध्यान केन्द्रित कर रही है। मिशन रेबीज संस्था ने गोवा सरकार, पशुसंवर्धन विभाग, बृहन्मुंबई महानगरपालिका, बेंगलुरु महानगरपालिका, केरल के पशुसंवर्धन विभाग समेत अनेक राज्य सरकार और महानगरपालिका का तकनीकी मार्गदर्शन किया है। इसके साथ ही पुड्डुचेरी और असम के पशुवैद्यकिय महाविद्यालय में भी प्रयोगशाला को सहायता दी है।
रेबीज से शत प्रतिशत सुरक्षा संभव है। बावजूद इसके मनुष्य और प्राणियों के लिए जानलेवा साबित हो रहा है। साल 2030 तक रेबीजमुक्त करने के लिहाज से टीकाकरण अभियान आरंभ करने की जानकारी मिशन रेबीज के संचालक डॉ. शशिकांत जाधव ने दी है। रेबीजमुक्त शहर अभियान को गोवा और मुंबई के साथ जोड़कर साल 2030 तक रेबीजमुक्त करने का प्रयास हो रहा है। शहर के नागरिकों में जनजागृति करने और समुदाय में जागरूकता करने का प्रयास किया जा रहा है।
Created On :   1 Sept 2024 5:28 PM IST