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मनसुख हिरेन हत्या मामले में एटीएस ने एक आरोपी को गुजरात से पकड़ा
डिजिटल डेस्क, मुंबई। मनसुख हिरेन हत्या मामले की छानबीन कर रहे आतंकवाद निरोधक दस्ते (एटीएस) ने मामले में गुजरात से एक आरोपी को हिरासत में लिया है। पकड़े गए आरोपी ने फर्जी नामों पर 14 सिमकार्ड मुहैया कराए थे। जिनका इस्तेमाल आरोपियों ने वारदात के लिए किया। इसके अलावा एटीएस की टीम ने मामले के मुख्य आरोपी सचिन वाझे के भिवंडी स्थित गोदाम की छानबीन की। शक है कि हिरेन को यहीं ले जाकर बेहोश किया गया और फिर उसे खाड़ी में फेंक दिया गया। मामले में गिरफ्तार पूर्व पुलिस कांस्टेबल विनायक शिंदे के घर की भी एटीएस ने तलाशी ली साथ ही उसे उस जगह पर भी ले जाया गया जहां खाड़ी से हिरेन का शव बरामद हुआ था और सीन रिक्रिएट किया गया। मामले में नरेश गोरे नाम के एक बुकी को भी एटीएस ने गिरफ्तार किया है, जिस पर अपराध के लिए 5 फर्जी सिमकार्ड मुहैया कराने का आरोप है। एटीएस सूत्रों के मुताबिक पूछताछ में शिंदे ने वाझे के इशारे पर हिरन की हत्या की बात स्वीकार कर ली है। उसने ही खुद को कांदिवली क्राइम ब्रांच का अधिकारी तावडे बताकर हिरेन को 4 मार्च को रात आठ बजे के करीब वाट्सएप कॉल कर पूछताछ के नाम पर बुलाया था। सूत्रों के मुताबिक हिरेन को अगवा कर उसे मौत के घाट उतारने के पूरे मामले में 11 लोग शामिल हैं, जिनमें तीन पुलिसकर्मी हैं। एटीएस ने आरोपियों तक पहुंचने में तकनीक की मदद ली और हिरेन को आए वाट्सएप कॉल की जांच की, जिसमें इस्तेमाल मोबाइल नंबर गुजरात के अहमदाबाद का होने की जानकारी मिली। एटीएस के एक अधिकारी ने बताया कि वाझे ने वारदात के लिए इस्तेमाल सिमकार्ड शिंदे को दिया था। इस मामले में सोमवार को एटीएस प्रमुख जयजीत सिंह ने गृहमंत्री अनिल देशमुख से मुलाकात भी की और उन्हें अब तक हुई जांच की जानकारी दी।
हिरेन और उनके भाई की बातचीत आई सामने
मनसुख हिरेन और उनके भाई विनोद के बीच बातचीत का एक ऑडियो भी जांच एजेंसियों के हाथ लगा है जो वाझे की मुश्किलें बढ़ा सकता है। बातचीत में विनोद ने हिरेन से पूछा कि क्या उन्होंने अपने बयान में इस बात की जिक्र किया कि वाझे भी उस कार का इस्तेमाल करता था। इस पर हिरेन ने इनकार किया और कहा कि वाझे ने उन्हें बयान में यह बात न बताने को कही थी। विनोद ने हिरेन से कहा कि उसने यह गलत किया और गड़बड़ी की आशंका जताई और कहा कि एटीएस वाले भी पूछताछ करेंगे। इस पर हिरेन ने भरोसा दिया कि कुछ नहीं होगा क्योंकि साहब (वाझे) के पास ही पूरे मामले की जांच है।
फर्जी आधार कार्ड देकर होटल में रुका वाझे
एंटीलिया विस्फोटक मामले की छानबीन कर रही एनआईए के हाथ वाझे के खिलाफ एक और सबूत लगा है। वह 16 फरवरी से 20 फरवरी के बीच मुंबई के ट्राइडेंट होटल में ठहरा था। उसने यहां एसएस गावडे नाम से कमरा बुक कराया था। इसके लिए उसने फर्जी आधार कार्ड बनवाया था। जिसमें तस्वीर उसकी थी, लेकिन नाम गावडे था। शक है कि इसी होटल में एंटीलिया कांड की पूरी साजिश रची गई। एनआईए की टीम ने इस होटल की जांच की है। सीसीवीटी में वाझे यहां इनोवा में दो बैग के साथ आता दिखा और फिर 20 को लैंडक्रूजर पराडो कार से निकलता है। मामले में जांच एजेंसी को दो और गाड़ियों की तलाश है। एनआईए ने हिरन की पत्नी विमला का भी बयान दर्ज किया है।
यह था मकसद
वाझे ने एनआईए अधिकारियों से पूछताछ में बताया है कि इस मामले की जिम्मेदारी हिरेन पर डालकर वह इसे सुलझाने का श्रेय लेना चाहता था जिससे उसका नाम हो साथ ही एक प्रायवेट सिक्योरिटी कंपनी के वरिष्ठ अधिकारी से जुड़ना चाहता था।
Created On :   22 March 2021 8:08 PM IST