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सावधान ! वर्चुअल किडनैपिंग के जरिए विदेश मे पढ़ने वाले बच्चों के अभिभावकों से वसूली जा रही है फिरौती
डिजिटल डेस्क, मुंबई। रोजाना बेहतर होती तकनीक ने अपराधियों को लोगों की सोच से कई कदम आगे कर दिया है। अब ऐसे अपराध सामने आ रहे हैं जिनकी कभी कल्पना करना मुश्किल था। महाराष्ट्र साइबर पुलिस ने लोगो को इसी तरह के नए अपराध से सावधान किया है। इस अपराध को वर्चुअल किडनैपिंग नाम दिया गया है। दुनिया में ऐसे कई मामले सामने आए हैं जहां अभिभावकों को उनके बच्चों के अगवा किए जाने का झांसा देकर फिरौती की रकम वसूली गई हालांकि वास्तव में उन बच्चों को अगवा किया ही नहीं गया था। इसका शिकार उन लोगों को बनाया गया जिनके बच्चे उनसे दूर दूसरे देशो में पढ़ने लिखने जाते हैं। साइबर सेल के एक अधिकारी ने बताया कि अपराधी तकनीक के साथ मनोविज्ञान का भी सहारा लेते हैं और अपने बच्चों को लेकर घबराए अभिभावकों को पैसे देने पर मजबूर कर देते हैं। अपराधी सोशल मीडिया के जरिए बच्चों की तस्वीरें हासिल करते हैं इसके बाद उनसे छेड़छाड़ कर ऐसा बना दिया जाता है जैसे उन्होंने बच्चों को अगवा कर रखा हो। अपराधी बच्चों से भी संपर्क करते हैं और उन्हें जल में फंसाकर डराते धमकाते हैं और कुछ दिनों तक फोन इस्तेमाल न करने की हिदायत देते हैं। ऐसे में जब अभिभावक बच्चे को अगवा किए जाने की खबर सुनते हैं तो वे सबसे पहले घबराकर अपने बच्चों से उनके मोबाइल पर संपर्क करने की कोशिश करते हैं और वह फोन नहीं उठाता तो अगवा किए जाने की जानकारी को सही मानते हुए फिरौती की रकम दे देते हैं। हाल ही में ऑस्ट्रेलिया और अमेरिका में विद्यार्थियों के अभिभावकों से इस तरीके का इस्तेमाल कर ठगी की गई है। बड़ी संख्या में महाराष्ट्र के विद्यार्थी भी दूसरे देशों में पढ़ते हैं ऐसे में अभिभावकों को सावधानी बरतने की सलाह दी गई है।
ऐसे दिया झांसा
ऑस्ट्रेलिया में पढ़ने वाले बच्चों को पार्सल भेजने के संदेश भेजे गए। जिन विद्यार्थियों ने पलटकर संपर्क किया उन्हें बाद में एक शख्स ने फोन कर दावा किया कि वह चीनी दूतावास से फोन कर रहा है। उन्होंने जिस पार्सल के बारे में पूछताछ की है उसमें गैरकानूनी समान मिला है। ऐसे में उनकी गिरफ्तारी हो सकती है और देश से निकाला जा सकता है। विद्यार्थियों को मोबाइल बंद कर भूमिगत होने की सलाह दी गई और फिर उनके अभिभावकों को उनके के अगवा होने की बात कहकर फिरौती मांगी गई। सबूत के तौर पर सोशल मीडिया से हासिल तस्वीरे छेड़छाड़ कर भेजी गई। जिससे लगे कि विद्यार्थी अगवा है।
ऐसे रखे सावधानी
साइबर पुलिस के मुताबिक इस तरह धमकी भरे फोन आने पर सबसे पहले नजदीकी पुलिस स्टेशन से संपर्क करें और मामले की शिकायत करें। अरे कोई अगवा करने की बात करें तो उससे बच्चे से बात कराने को कहें और ऐसे सवाल पूछे जिसकी जवाब से तो बच्चा जानता हो। बच्चे से संपर्क के लिए सिर्फ
मोबाइल नंबर पर निर्भर ना रहे और दूसरे भी तरीके अपनाएं।
Created On :   3 Aug 2020 2:15 PM IST