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अनिल देशमुख के बेटों की कंपनियों की जानकारी जुटा रही है सीबीआई, कोलकता की कंपनी फर्जी होने की आशंका
डिजिटल डेस्क, मुंबई। भ्रष्टाचार के आरोपों में जांच के घेरे में फंसे गृहमंत्री अनिल देशमुख की मुश्किलें और बढ़ सकतीं हैं। केंद्रीय जांच ब्यूरो देशमुख के दो बेटों की छह कंपनियों के बारे में जानकारी इकठ्ठा कर रही है। इनमें से कोलकाता में स्थित एक कंपनी पर सीबीआई की खास नजर है। जोडियाक डीलकॉम प्रायवेट मिलिटेड नाम की यह कंपनी मर्केंटाइल बिल्डिंग में है जो फर्जी कंपनियों का हॉटस्पॉट कही जाती है। कंपनी का पूरा पता 9/12 लालबाजार, ब्लॉक ई, दूसरी मंजिल, कोलकाता है।
केंद्र सरकार द्वारा बनाए गए टास्कफोर्स ने साल 2017 में यहां से चलने वाली 400 से ज्यादा फर्जी कंपनियों की पहचान की थी। यहां से अब भी 100 से ज्यादा कंपनियां काम कर रहीं हैं जिनमें से 30 सक्रिय कंपनियों का दर्ज पता वहीं है जो जोडियाक डीलकॉम का है। सूत्रों के मुताबिक कुछ दिनों पहले देशमुख के घर पर छापेमारी के दौरान सीबीआई को उनके बेटों सलिल देशमुख और ऋषिकेश देशमुख की छह कंपनियों की जानकारी मिली थी। इसके बाद से ही जांच एजेंसी इन कंपनियों के आर्थिक लेन देन और कारोबार से जुड़ी जानकारी इकठ्ठा कर रही है।
मुंबई पुलिस के पूर्व आयुक्त परमबीर सिंह ने तत्कालीन गृहमंत्री अनिल देशमुख पर आरोप लगाया था कि वे हर महीने पुलिस अधिकारी सचिन वाझे और दूसरे पुलिस अधिकारियों को मुंबई के पबों और बारों से 100 करोड़ रुपए की वसूली करने को कहा था। परमबीर की शिकायत के आधार पर हाईकोर्ट ने सीबीआई को प्राथमिक जांच के आदेश दिए थे। शुरूआती जांच के बाद सीबीआई ने भ्रष्टाचार के सबूत मिलने का दावा करते हुए देशमुख के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी है।
परमबीर पर एक और आरोप
मुंबई के पूर्व पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह के खिलाफ भी भ्रष्टाचार के लगातार आरोप लग रहे हैं। सट्टेबाजों के बाद अब मयूरेश राऊत नाम के कारोबारी ने आरोप लगाया है कि सिंह के मुंबई पुलिस कमिश्नर रहते साल 2017 में एनकाउंटर स्पेशलिस्ट प्रदीप शर्मा और ठाणे जबरन वसूली पथक के अधिकारियों ने उसके घर पर जाकर उसे जबरन उठा ले गए और तीन दिन तक बंधक बनाकर उनसे मारपीट की गई। इस दौरान पुलिसवाले उनकी दो गाड़ियां भी जबरन ले गए। राऊत ने आशंका जताई है कि उनकी गाड़ियों का भी मनसुख की गाड़ी की तरह एंटीलिया मामले जैसा इस्तेमाल हो सकता है। राऊत ने राज्य के गृहमंत्री और पुलिस महानिदेशक को पत्र लिखकर इसकी जानकारी दी है।
Created On :   5 May 2021 8:16 PM IST