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सलाइन गार्गल पद्धति एक ऐतिहासिक उपलब्धि
डिजिटल डेस्क, नागपुर। सीएसआईआर-नीरी द्वारा विकसित सलाइन गार्गल आरटीपीसीआर पद्धति देश के लिए ऐतिहासिक उपलब्धि है। देशभर में इसका व्यापक प्रसार होना चाहिए। इस उद्देश्य से यह पद्धति राष्ट्र को समर्पित करना एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगा। ऐसा केंद्रीय मंत्री नितीन गडकरी ने कहा। कोविड-19 वायरस की पहचान करने के लिए यह पद्धति महत्वपूर्ण है। इसलिए इस पद्धति की जानकारी हस्तांतरित करने एमएसएमई यूनिट ने नीरी के विशेषज्ञाें की टीम को आमंत्रित किया था। केंद्रीय मंत्री नितीन गडकरी के निवास पर सीएसआईआर-नीरी ने एमएसएमई यूनिट को जानकारी सौंपी। इस अवसर पर सीएसआईआर-नीरी के निदेशक श्रीवरी चंद्रशेखर, तकनीकी विभाग के प्रमुख अतुल वैद्य, सलाइन गार्गल के शोधकर्ता वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ. कृष्णा खैरनार, एमएसएमई यूनिट के राजेश डागा व कमलेश डागा उपस्थित थे। गडकरी ने कहा कि इस पद्धति से टेस्टिंग करने के लिए सलाइन गार्गल किट बनाई जाएगी। यह किट गरीब व मध्यम वर्गियों को आसानी से उपलब्ध हो सके इस हिसाब से विनियोजन किया जाएगा।
15 को वीएनआईटी का 19वां दीक्षांत समारोह
विश्वेश्वरैया राष्ट्रीय अभियांत्रिकी संस्था (वीएनआईटी) का 19वां दीक्षांत समारोह 15 सितंबर को 12.30 बजे आयोजित किया जाएगा। मुख्य अतिथि केंद्रीय मंत्री नितीन गडकरी होंगे। विशेष अतिथि डीएसआईआर के सचिव और वैज्ञानिक व औद्योगिक संशोधन परिषद के संचालक डॉ. शेखर मांडे उपस्थित रहेंगे। उक्त जानकारी संचालक डॉ. प्रमोद पडोले ने पत्रकार वार्ता में दी। डॉ. पडोले ने कहा कि दीक्षांत समारोह में 1134 डिग्रियां बांटी जाएंगी। इसमें 49 डॉक्टर ऑफ फिलोसफी, 333 मास्टर ऑफ टेक्नोलॉजी, 60 मास्टर इन साइंस, 634 विविध विभिन्न विषयों में स्नातक, 59 आर्किटेक्चर कोर्स का समावेश है। इसके अलावा छात्रों और शोधकर्ताओं को 46 पदक और विभिन्न पुरस्कारों से सम्मानित किया जाएगा। पत्रकार परिषद में कुलसचिव शैलेश साठे, डॉ. गांधी, डॉ. माधुरी चौधरी, डॉ. दिलीप पेशवे उपस्थित थे। आभार डॉ. रश्मि उद्दनवाडीकर ने माना।
Created On :   12 Sept 2021 5:52 PM IST