रेड जोनों को ग्रीन में तब्दील करने के प्रयास करे सरकार -हाईकोर्ट 

Government should make efforts to convert red zones into green
रेड जोनों को ग्रीन में तब्दील करने के प्रयास करे सरकार -हाईकोर्ट 
रेड जोनों को ग्रीन में तब्दील करने के प्रयास करे सरकार -हाईकोर्ट 

डिजिटल डेस्क जबलपुर । हाईकोर्ट ने बुधवार को राज्य सरकार को कहा है कि प्रदेश के जिन जोनों में संक्रमण लगातार बढ़ रहा है, उसे रिवर्स करने के प्रयास जल्द से जल्द किए जाएं। यानि रेड जोन को ऑरेंज जोन में तब्दील करने और ऑरेंज जोनों को ग्रीन जोनों में तब्दील करने के हरसंभव कदम उठाए जाएं। 6 मामलों पर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए सुनवाई के बाद चीफ जस्टिस अजय कुमार मित्तल और जस्टिस विजय कुमार शुक्ला की युगलपीठ ने सरकार को यह भी कहा है कि ट्रकों और अन्य पब्लिक ट्रांसपोर्ट के जरिए लोगों की अवैध यात्राएं रोकी जाएं। वैध रूप से यात्रा की इजाजत यात्रियों और ड्रायवरों की कोरोना जांच के बाद ही दी जाए। इन सभी मामलों पर अब 5 मई को आगे सुनवाई होगी।
बैंच ने बुधवार को ये निर्देश ग्वालियर के अधिवक्ता सुनील कुमार जैन, जबलपुर के अधिवक्ता अमित कुमार साहू, पत्रकार सिद्धार्थ शंकर पाण्डेय व अन्य की ओर से दायर मामलों पर किए। इन याचिकाओं में कोरोना वायरस को लेकर सरकार को आवश्यक निर्देश दिए जाने की प्रार्थना की गई है। बीते 17 जनवरी को प्रारंभिक सुनवाई के बाद युगलपीठ ने सरकार को अब तक किए गए इंतजामों का ब्यौरा पेश करने कहा था।
बुधवार को हुई सुनवाई के दौरान राज्य सरकार की ओर से कोरोना से निपटने अब तक उठाए गए कदमों का ब्यौरा पेश किया गया। सुनवाई के बाद युगलपीठ द्वारा दिए गए आदेश में कहा गया है कि हर एक स्थानों पर साफ सफाई की व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं। इतना ही नहीं, जिन स्थानों में लॉकडाउन से छूट दी जाएगी, वहां पर सभी नियमों का कड़ाई से पालन भी कराया जाए।
जल्द पेश होगी जावेद की रिपोर्ट: सुनवाई के दौरान जबलपुर मेडिकल कॉलेज से कोरोना पॉजीटिव इन्दौर निवासी जावेद के पुलिस हिरासत से भागने के मुद्दे पर भी विचार हुआ। सरकार की ओर से कहा गया कि जांच की प्रक्रिया फिलहाल चल रही है, जो अगले एक या दो दिनों में आ जाएगी। रिपोर्ट आते ही वह कोर्ट में पेश कर दी जाएगी।
काबिले तारीफ है पुलिस और डॉक्टरों की सेवाएं: अपने आदेश में युगलपीठ ने कोरोना संक्रमण से निपटने पुलिस कर्मियों और डॉक्टरों द्वारा दी जा रहीं सेवाओं की सराहना की। युगलपीठ ने यह भी कहा है कि मरीजों की जांच करते समय उन्हें सोशल डिस्टेंसिंग व अन्य शर्तों का लॉकडाउन की अवधि में पालन भी करना होगा।
 

Created On :   30 April 2020 2:39 PM IST

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