ग्राम पंचायतों को मिलेगी पुरस्कार निधि, 2019-20 की स्पर्धा के 1.70 करोड़ जिप को मिले

ग्राम पंचायतों को मिलेगी पुरस्कार निधि, 2019-20 की स्पर्धा के 1.70 करोड़ जिप को मिले
नागपुर ग्राम पंचायतों को मिलेगी पुरस्कार निधि, 2019-20 की स्पर्धा के 1.70 करोड़ जिप को मिले

डिजिटल डेस्क, नागपुर. शहर की तर्ज पर ग्रामीण क्षेत्र को शाश्वत विकसित करने आर.आर. पाटील सुंदर ग्राम योजना शुरू की गई है। गांव के विकास का मूल्यांकन हर तहसील से एक गांव और जिला स्तर पर एक गांव का इस पुरस्कार के लिए चयन किया जाता है। तहसील स्तर पर चयनित गांव को 10 लाख और जिला स्तर पर चयनित गांव को 40 लाख रुपए पुरस्कार दिया जाता है। कोरोना संकट के चलते गत 3 साल से पुरस्कार की रकम लटक गई थी। हाल ही में साल 2019-20 के पुरस्कार की 1.70 करोड़ की राशि जिला परिषद को प्राप्त हुई है। पुरस्कृत ग्राम पंचायतों को रकम हस्तांतरण की प्रक्रिया शुरू हो गई है।

सत्ता परिवर्तन के बाद बदल गया योजना का नाम 
देवेंद्र फडणवीस के मुख्यमंत्री काल में स्मार्ट गांव योजना शुरू की गई थी। सत्ता परिवर्तन होने के बाद महाविकास आघाड़ी सत्ता में आई और योजना का नाम बदलकर आर.आर. पाटील सुंदर ग्राम योजना कर दी। वर्ष 2019-20 के पुरस्कार की रकम 1 करोड़ 70 लाख रुपए जिला परिषद को प्राप्त होने की जानकारी मिली है। 13 तहसीलों के 13 ग्राम पंचायतों को प्रत्येक को 10 लाख और जिला स्तर पर पुरस्कृत ग्राम पंचायत को 40 लाख रुपए दिए जाएंगे। राज्य सरकार ने नागपुर जिला परिषद समेत चार जिप के पुरस्कार की रकम ठाणे जिला परिषद के सुपुर्द की। ठाणे जिप से नागपुर जिप को निधि हस्तांतरण की गई है। जल्द ही पुरस्कार प्राप्त ग्राम पंचायतों के बैंक खातों में राशि आने की जानकारी जिला परिषद पंचायत विभाग के सूत्रों ने जानकारी दी है। 

ऐसे होता है मूल्यांकन  आर.आर. पाटील सुंदर ग्राम योजना का मूल्यांकन गांव में स्वच्छता प्रबंधन, दायित्व, अपारंपरिक ऊर्जा स्रोत, पर्यावरण संरक्षण, पारदर्शिता व आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल करने पर आधारित किया जाता है। 100 अंकों के मूल्यांकन में सर्वाधिक अंक प्राप्त करने वाले गांवों का पुरस्कार के लिए चयन किया जाता है। साल 2020-21 के पुरस्कार का इंतजार  आर.आर. पाटील सुंदर ग्राम योजना का हर वर्ष आयोजन किया जाता है। कोराेना संकट के कारण 3 वर्ष से पुरस्कार नहीं मिले हैं। साल 2020-21 में पुरस्कृत गांवों को पुरस्कार की रकम का इंतजार है। संबंधित गांव में सरपंच, सचिव जिला परिषद के पंचायत विभाग में चक्कर काट रहे हैं। 
 

Created On :   6 Jun 2022 5:38 PM IST

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