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मिनिस्टर टूर इफेक्ट : केदार भंडारा, वडेट्टीवार गड़चिरोली के अतिरिक्त पालकमंत्री
डिजिटल डेस्क, नागपुर। जिला स्तर पर प्रशासनिक कार्यों में अपनी भूमिका को लेकर पूर्व विदर्भ के मंत्रियों का मुंबई दौरा प्रभाव दिखा गया है। सुनील केदार को भंडारा व विजय वडेट्टीवार को गड़चिरोली जिले का अतिरिक्त पालकमंत्री नियुक्त किया गया है। दुग्ध उत्पादन पशुपालन व खेल मामलों के मंत्री केदार वर्धा के पालकमंत्री है। वडेट्टीवार ओबीसी व दुर्बल घटक विकास मामलों के मंत्री व चंद्रपुर के पालकमंत्री हैं। अब केदार वर्धा व भंडारा एवं वडेट्टीवार चंद्रपुर व गडचिरोली के पालकमंत्री होंगे। राज्य सरकार की ओर से जारी परिपत्रक में कहा गया है कि कोविड 19 के प्रभाव की स्थिति को देखते हुए जिला स्तर पर प्रशासनिक कार्यों की जिम्मेदारी को देखते हुए केदार व वडेट्टीवार को अतिरिक्त प्रभार दिया गया है।
भंडारा में तीसरे पालकमंत्री
राज्य में पालकमंत्रियों की नियुक्ति के मामले में देखा जाए तो महाविकास आघाड़ी सरकार के गठन के बाद 6 माह में भंडारा जिले को तीसरा पालकमंत्री मिला है। सबसे पहले 5 जनवरी 2020 को पालकमंत्रियों की नियुक्ति की गई। तब सतेज पाटील को भंडारा का पालकमंत्री नियुक्त किया गया था। लेकिन 3 दिन बाद ही दूसरी सूची जारी हुई जिसमें सतेज पाटील के स्थान पर विश्वजीत कदम को पालकमंत्री नियुक्त किया गया। नियुक्ति के बाद से विश्वजीत कदम एक बार ही भंडारा पहुंच पाए थे। हालांकि सुनील केदार ने वर्धा के पालकमंत्री रहते हुए भी भंडारा में प्रशासन के कामकाज की कई बार समीक्षा की। खासकर दूध उत्पादकों के मामले में उन्होंने भंडारा में सरकार की ओर से पालकत्व की भूमिका निभायी थी। गडचिरोली में एकनाथ शिंदे को पालकमंत्री नियुक्त किया गया था। एकनाथ शिंदे शिवसेना कोटे से राज्य मंत्रिमंडल में शामिल हैं। राज्य मंत्रिपरिषद के सदस्य हैं। मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के करीबी मंत्रियों में शामिल है। कदम व शिंदे एक साथ दो जिले के पालकमंत्री थे। भंडारा व गडचिरोली उनके निर्वाचन क्षेत्र से काफी दूर है। लिहाजा वे इन जिलों को समय नहीं दे पा रहे थे।
लाकडाउन में कार दौरा
जिले की स्थिति को लेकर पूर्व विदर्भ के पालकमंत्रियों ने लाकडाऊन में 9 अप्रैल को कार से नागपुर से मुंबई का दौरा किया था। मंत्रियों में केदार, वडेट्टीवार के अलावा नागपुर के पालकमंत्री नितीन राऊत शामिल थे। विधानसभा अध्यक्ष नाना पटोले भी उनके साथ थे। उन्होंने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे से मुलाकात की थी। प्रशासनिक मामले में अपनी भूमिका को लेकर असंतोष भी जताया था। मुख्यमंत्री ने मंत्रियों की बातों पर अमल करने का आश्वासन दिया था। अब केदार व वडेट्टीवार को पालकमंत्री की अतिरिक्त जिम्मेदारी मिलने को उनके कार दौरे का ही प्रभाव माना जा सकता है।
Created On :   17 April 2020 4:06 PM IST