मराठवाड़ा में हुए नुकसान का पंचनामा करने का आदेश, उद्धव ने कहा- सरकार प्रभावितों के साथ 

Order to do Panchnama of loss in Marathwada, Uddhav said - Government with the affected
मराठवाड़ा में हुए नुकसान का पंचनामा करने का आदेश, उद्धव ने कहा- सरकार प्रभावितों के साथ 
यहां ऐसे थे हालात मराठवाड़ा में हुए नुकसान का पंचनामा करने का आदेश, उद्धव ने कहा- सरकार प्रभावितों के साथ 

डिजिटल डेस्क, मुंबई। मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने मराठवाड़ा समेत कई जिलों में हुई अतिवृष्टि से प्रभावित किसानों और नागरिकों को तत्काल सभी प्रकार की मदद पहुंचाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने बचाव और तत्काल मदद कार्य को गति देने का आदेश दिया है। साथ ही राजस्व विभाग और कृषि विभाग को नुकसान का तत्काल पंचनामा करने करने को कहा है। मराठवाड़ा संभाग में दो दिनों से अतिवृष्टि होने के चलते बुधवार को मुख्यमंत्री ने जिलेवार समीक्षा कर मदद व पुनर्वसन विभाग से स्थिति की जानकारी ली। इस दौरान उन्होंने विभागीय आयुक्तों से परिस्थिति को लेकर चर्चा की। पिछले 24 घंटों में महाराष्ट्र में 26 मिमी बारिश हुई है। पिछले दो दिनों से लागातर मूसलाधार बारिश के चलते विशेष रूप से मराठवाड़ा के जिले प्रभावित हुए हैंं। मुख्यमंत्री ने कहा कि मराठवाड़ा में अतिवृष्टि के कारण किसानों की फसलें बह गई हैं, लेकिन सरकार किसानों के साथ खड़ी है। मुख्यमंत्री ने कहा कि लगातार बारिश के कारण कुछ जगहों पर फलबागों को भी नुकसान पहुंचा है। खेतों में फसलें बह गई हैं। यह अभूतपूर्व परिस्थिति है। उन्होंने कहा कि कुछ जगहों पर बाढ़ के पानी से ग्रामीणों को सुरक्षित निकाला गया है। उन इलाकों में लोगों का स्थनांतरण व्यवस्थित रूप से किया जाए। उन्होंने कहा कि प्रशासन इस प्राकृतिक आपदा में नागरिकों के बचाव कार्य की ओर ध्यान दें। इस काम के लिए सभी तंत्र आपस में समन्वय रखें। मुख्यमंत्री ने मंगलवार शाम और बुधवार सुबह को मराठवाड़ा के सभी जिलों के पालक मंत्रियों से परिस्थिति पर चर्चा की। उन्होंने प्रदेश के मुख्य सचिव सीताराम कुंटे और मदद व पुनर्वसन विभाग के  प्रधान सचिव असीम कुमार गुप्ता को भी उचित निर्देश दिए। 

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हेलिकॉप्टर और बोट की मदद से 100 लोगों को बचाया गया

राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरफ) और स्थानीय पुलिस की मशीनरी ने उस्मानाबाद, लातूर, औरंगाबाद, यवतमाल में लगभग 100 लोगों को बचाया गया है। उस्मानाबाद में हेलिकॉप्टर के जरिए 16 लोगों और बोट की मदद से 20 लोगों को बचाया गया। लातूर में हेलिकॉप्टर से 3 लोगों और बोट से 47 लोगों को बचावा गया है। यवतमाल में 2 और औरंगाबाद में 24 लोगों को बचाने में सफलता मिली है। 

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मुख्यमंत्री ने अतिवृष्टि प्रभावित जिलों की समीक्षा की      

उस्मानाबाद जिले में अतिवृष्टि के कारण कंबल तहसील में कुल दस राजस्व मंडल प्रभावित हुए हैं। इसके पहले तीन दिनों से लगातार बारिश हो रही थी। मंगलवार को अतिवृष्टि से शिराढोण में 171 मिमी, गोविंदपुर में 107 मिमी, ढोकी जाकची और तेर में लगभग 140 मिमी बारिश हुई है। जिले में दो बड़ी नदियां मांजरा और तेरणा हैं। मांजरा नदी के बांध के सभी दरवाजे खोल दिए गए हैं। मांजरा बांध से लगभग 706 क्यूसेक्स पानी छोड़ा गया है। बांध के नीचले इलाके के वाकी और वाक्केवाडी गांव में बाढ़ जैसी परिस्थिति पैदा हो गई है। इन गांवों में फंसे नागरिकों को स्थानीय बचाव दल ने बोट की मदद से सुरक्षित बाहर निकाला। जबकि जिले के दाऊतपुर गांव में तेरणा नदी के पानी के कारण फंसे 6 व्यक्तियों को हेलिकॉप्टर के जरिए सुरक्षित जगह पर पहुंचाया गया है। कलंब तहसील के सौंदनाआंबा गांव में 10 लोगों को सुरक्षित निकाल लिया गया है। उस्मानाबाद में मदद व बचाव कार्य के लिए एनडीआरफ की एक टीम तैनात की गई है। 

लातूर जिले के रेनापुर तहसील के पोहरेगाव में फंसे तीन व्यक्तियों के बचाव के लिए हेलिकॉप्टर भेजा गया है। लातूर में बाढ़ की स्थिति के दौरान मदद व बचाव कार्य के लिए एनडीआरफ की एक टीम को तैनात किया गया है। 

औरंगाबाद जिले में पैदा हुई बाढ़ की परिस्थिति के बीच स्थानीय बचाव दस्ते ने अब तक 24 व्यक्तियों को सुरक्षित जगह पर पहुंचाया है। अतिरिक्त मदद के लिए एनडीआरफ के एक दस्ते को रवाना किया गया है। 

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यवतमाल जिले के उमरखेड पुसद मार्ग पर दहेगाव नाले के ऊपर पानी होते हुए भी ड्राइवर नागपुर डिपो की एसटी बस पुल से ले जाने की कोशिश की। इससे बस नाले के पानी के प्रवाह में बह गई थी। बस में सवार चार यात्रियों की मौत हुई है उनके शव मिल गए हैं। 

जलगांव जिले में पिछले कई दिनों से हुई अतिवृष्टि के कारण सभी बांध 100 प्रतिशत क्षमता में भर चुके हैं। चालीसगांव में इससे पहले बादल फटा था। अब अतिवृष्टि के कारण चालीसगांव में जलजमाव हो गया है। फिलहाल रेड-अलर्ट होने के कारण जिले की सभी तहसीलों में स्थानीय बचाव दल तैनात किया गया है। राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल (एसडीआरएफ) की एक टीम अंमलनेर में नियुक्त की गई है। 

बुलढाणा जिले की तीन तहसीलों में मंगलवार रात 10.30 बजे से लकेर सुबह 5 बजे तक भारी बारिश हुई। इन तीनों तहसीलों के सभी राजस्व मंडल में बाढ़ जैसी स्थिति पैदा हो गई है। हालांकि परिस्थिति नियंत्रण में है। बचाव कार्य के लिए स्थानीय दल तैनात किए गए हैं। 

Created On :   29 Sept 2021 6:53 PM IST

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