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व्यस्त इलाकों में खड़ी हो रही निजी बसें ,ट्रैफिक विभाग व आरटीओ नहीं ले रहा सुध
डिजिटल डेस्क, नागपुर। शहर में व्यस्त जगहों पर सुबह 6 से रात 10 बजे निजी बस खड़े रखने पर ट्रैफिक विभाग ने चेताया था। बावजूद इसके शनिवार को शहर के कई व्यस्त इलाकों में इन बसों को रूकते देखा गया। ऐसे में एक तरफ अनहोनी की आशंका पैदा हो रही है, वहीं दूसरी ओर ट्रैफिक जाम की स्थिति बन रही है। हालांकि यातायात विभाग कार्रवाई करने की जानकारी दे रहा है। बावजूद इसके बैद्यानाथ चौक, मेडिकल चौक, मानस चौक, रहाटे कॉलोनी चौक, बर्डी आदि इलाकों में बसों को देखा गया।
नागपुर शहर से रोजाना विभिन्न क्षेत्र की ओर छोटे-बड़े 800 से अधिक बसें दौड़ती है। हैदराबाद, पुणे, मुंबई, औरंगाबाद. बडनेरा, बल्लारशाह, चंद्रपुर, वरोरा, जबलपुर, छिंदवाडा, रामटेक आदि शहरों की ओर रोजाना दर्जनों निजी बसें चलती है। जिसमें 25 हजार से अधिक यात्रियों का सफर करना तय हैं। हालांकि इन बसों का कोई एक बस स्टैण्ड निश्चित नहीं है। ऐसे में शहर के व्यस्त इलाकों में खड़ी होकर यह बसें यात्रियों की तलाश में जुटी रहती है। लेकिन 2 अक्तूबर 2018 को एक निजी बस की चपेट में आने से एक मनपा कर्मचारी घायल हुआ था। जिसने इलाज के बाद 10 अक्तूबर को उसने दम तोड़ दिया था। इसके बाद हरकत में आई यातायात विभाग ने 48 निजी बसों पर चालान भी किया था। साथ ही इन बसों को शहर के व्यस्त इलाकों में सुबह 6 बजे से रात 10 बजे तक रूकने पर रोक लगाई है। बावजूद इसके शहर के कई व्यस्त इलाकों में इनकी मौजूदगी आज भी देखने मिली।
शहर के बाहर करनेवाले थे, स्टैण्ड
ट्रैफिक जाम बहुत बड़ी समस्या है। शनि मंदिर रोड़, बर्डी, सदर, बैद्यनाथ चौक, लोहा पुल आदि जगहों पर यह बड़ी-बड़ी बसें गुजरते हुए भी जाम लगा देते हैं। जिससे ट्राैफिक व्यवस्था प्रभावित हो रही है। साथ ही इससे दुर्घटना का प्रमाण बढ़ रहा है। इसी बात को ध्यान में रखते हुए यातायात विभाग ने गत कुछ माह पहले इन बसों को शहर के बाहर ही रोकने को लेकर प्रस्ताव भी तैयार किया था। लेकिन अभी तक इस दिशा में कोई हलचल दिखाई नहीं दो रही है।
आरटीओ की लापरवाही असुरक्षित बसें
निजी बसों में भले ही सुविधा की कोई कमी नहीं लेकिन सुरक्षा की कमी साफतौर पर देखने मिलती है। बसों में बड़ी-बड़ी फोमवाली सीटें, सोने के लिए ट्रेन की तरह बर्थ, एसी, टीवी आदि सुविधाएं दी जाती है। लेकिन सुरक्षा की दृष्टि से इंतजाम नाकाफी है। हाल ही में अहमदनगर हायवे पर इसी तरह पुणे से नागपुर आनेवाली एक निजी बस जल उठी थी। जिसमें नागपुर आनेवाले 11 यात्री सवार थे। सही समय पर यात्री बाहर निकलने से बडी अनहोनी टल गई । लेकिन इस घटना के बाद भी आरटीओ प्रशासन कोई सुध लेते नहीं दिख रहा है। बसों की सुरक्षा को लेकर नियमित जांच नहीं हो रही है।
बस के उपर मालढुलाई तोड़ते नियम
बसों के उपर बहुत ज्यादा माल ढुलाई करने पर बस की हाइट बढ़ जाती है। जिसके चलते बस चलते वक्त ओएचई को छूने की घटनाएं भी सामने आई है। बावजूद इसके अभी-भी बाहर गांव से आनेवाली कई बसों के उपर इतना सामान रखा जाता है, कि बसें शहर में आने के बाद रास्ते में पेड़ों की टहनियों से टकराकर चलती रहती है।
समय-समय पर होती है कार्रवाई
हमारी ओर से नियमित कार्रवाई की जाती है। नियमों को तोड़नेवाली बसों पर चालान भी काटा जाता है। ज्यादा नियमों से बाहर रहनेवाली बसों को जब्त भी किया जाता है। - डी. मनवर, प्रादेशिक परीवहन अधिकारी, शहर आरटीओ नागपुर
नए स्टैण्ड पर बसें खड़े करने का प्रस्ताव
जहां-जहां ट्रैफिक का उल्लंघन होता है, हमारी ओर से कार्रवाई की जाती है। निजी बसों को लेकर भी कार्रवाई होती रहती है। नये फरमान के तहत अब बसों को वर्धा रोड पर बने नये मार्ग पर खड़े करने का फरमान भी प्रस्तावित है। जिससे वर्धा रोड की भीड़ कम होगी।- चिन्मय पंडित, डीसीपी, ट्रैफिक विभाग नागपुर
Created On :   7 Sept 2019 5:37 PM IST