अब सहकारी बैंकों में अनिवार्य होगी ऑनलाइन भर्ती प्रक्रिया, ऑनलाइन खरीद सकेंगे महिला बचत गटों के उत्पाद

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अब सहकारी बैंकों में अनिवार्य होगी ऑनलाइन भर्ती प्रक्रिया, ऑनलाइन खरीद सकेंगे महिला बचत गटों के उत्पाद

डिजिटल डेस्क, मुंबई। प्रदेश के सहकारी बैंकों में अब ऑनलाइन भर्ती होगी। सभी सहकारी बैंकों के लिए ऑनलाइन भर्ती प्रक्रिया अपनाना अनिवार्य होगा। राज्य सरकार के सहकारिता विभाग ने शासनादेश के जरिए ऑनलाइन भर्ती लागू करने के लिए दिशा निर्देश जारी किया है। इसके अनुसार सहकारी बैंकों में सेवक भर्ती के लिए त्रयस्थ संस्था (थर्ड पार्टी) की नियुक्ति की जाएगी। भर्ती प्रक्रिया में संबंधित सहकारी बैंक के अध्यक्ष, निदेशक मंडल, बैंक के अधिकारी व कर्मचारी अथवा उनके परिजनों की कोई भूमिका नहीं होगी। भर्ती प्रक्रिया में उम्मीदवारों की ऑनलाइन परीक्षा के लिए 90 अंक और इंटरव्यू 10 अंक का होगा। सहकारी बैंकों में ऑफलाइन पद्धति से भर्ती प्रक्रिया में उम्मीदवारों के परीक्षा और परीक्षा के बाद की प्रक्रिया में बैंकों की गंभीर शिकायतें मिली थीं। प्रथामिक जांच में संबंधित भर्ती प्रक्रिया प्रामाणिक, निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से नहीं होने की बात सामने आई। जिसके बाद सरकार ने यह फैसला किया है। 

ऑनलाईन खरीद सकेंगे महिला बचत गटों के उत्पाद

प्रदेश में महिला स्वयं सहायता समूहों (बचत गट) के माध्यम से तैयार किए गए उत्पाद को अब ई-सरस वेबसाइट के जरिए ऑनलाइन खरीदा जा सकेगा। इसके लिए स्वयं सहायता समूहों द्वारा बनाए जाने वाले 50 उत्पादों को चिन्हित कर लिया गया है। राज्यपाल सी विद्यासागर राव और राज्य सरकार के मंत्रियों की मौजूदगी में 23 जनवरी को ऑनलाइन उत्पाद सेवा का शुभारंभ होगा। सोमवार को मंत्रालय में प्रदेश के ग्रामीण विकास मंत्री पंकजा मुंडे ने यह जानकारी दी। सोमवार को मंत्रालय पत्रकार कक्ष में पत्रकारों से बातचीत में पंकजा ने कहा कि स्वयं सहायता समूहों के 50 उत्पादों को ऑनलाइन खरीदने की सुविधा शुरू की जाएगी। पंकजा ने बताया कि महाराष्ट्र राज्य ग्रामीण जीवनोन्नती अभियान के माध्यम से ‘महालक्ष्मी सरस प्रदर्शनी’ 23 जनवरी से 4 फरवरी के बीच बांद्रा पूर्व के एमएमआरडीए मैदान में लगाई जाएगी। 

प्रदर्शनी में 29 राज्यों के कलाकारों के उत्पाद 

इस प्रदर्शनी में महाराष्ट्र समेत 29 राज्यों के स्वयं सहायता समूह और ग्रामीण कलाकार अपने उत्पाद बेचने के लिए 511 स्टॉल लगाएंगे। जिसमें 70 स्टॉल खाद्य पदार्थों के होंगे। पंकजा ने कहा कि स्वयं सहायता समूहों के उत्पादों को बड़ा बाजार उपलब्ध कराने की दृष्टि से यह प्रदर्शनी लगाई जाती है। पिछले साल इस प्रदर्शनी में 10 करोड़ रुपए की बिक्री हुई थी। इस साल 10 करोड़ रुपए से ज्यादा ब्रिक्री की संभावना है। 

धुलिया में अंडा बेचने खोले जाएंगे सेंटर 

ग्रामीण विकास मंत्री पंकजा ने कहा कि महिला स्वयं सहायता समूहों को अंडा बेचने के लिए धुलिया और पालघर जिले में सेंटर खोले जाएंगे। पायलेट प्रोजेक्ट के रूप में दोनों जिलों में यह योजना चलाई जाएगी। इसके लिए टाटा और स्टार बाजार समेत अन्य कंपनियों के साथ करार किया जाएगा। इन कंपनियों के प्रतिनिधि गांवों के सेंटर पर आकर स्वयं सहायता समूह की महिलाओं से अंडा खरीदेंगे। पंकजा ने कहा कि हरित क्रांति की तर्ज पर येलो क्रांति परिकल्पना पर यह योजना शुरू की जाएगी। यदि यह सफल हुआ तो राज्य भर में इसकी शुरुआत होगी। 

मैं कुछ करती हूं तो हानिकारक होता है - पंकजा

प्रदेश सरकार के महिला व बाल विकास विभाग के नवजात बच्चों को बेबी केयर किट देने के फैसले पर सवाल उठाने वाले विधान परिषद में विपक्ष के नेता धनंजय मुंडे पर पंकजा ने निशाना साधा है। पंकजा ने कहा कि मैं कोई भी फैसला करूं। लेकिन कुछ लोगों के स्वास्थ्य के लिए वह हमेशा ही हानिकारक होता है। पंकजा ने कहा कि बेबी केयर किट के लिए टेंडर जारी होने से पहले ही विपक्ष के नेता ने आरोप लगाना शुरू कर दिया। एक सवाल के जवाब में पंकजा ने कहा कि मुझे केंद्र की राजनीति में जाना पंसद है लेकिन अभी इसका सही मुहूर्त नहीं है। मराठा आरक्षण के फैसले के बाद ओबीसी समाज में नाराजगी के सवाल पर पंकजा ने कहा कि सरकार ने मराठा समाज को मुख्यधारा में लाने के लिए आरक्षण दिया है। मुझे इस बात का संतोष है कि सरकार ने ओबीसी आरक्षण से बिना छेड़छाड़ किए मराठा समाज को आरक्षण दिया है। 

Created On :   21 Jan 2019 3:09 PM GMT

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