मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में आज यहां उनके निवास कार्यालय में मंत्री परिषद की बैठक आयोजित हुई।

District Mineral Fund is not being used in Gadchiroli!
गड़चिरोली में जिला खनिज निधि का नहीं हो रहा कोई उपयाेग!
मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में आज यहां उनके निवास कार्यालय में मंत्री परिषद की बैठक आयोजित हुई।

डिजिटल डेस्क, रायपुर। 8 अक्टूबर 2020 मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में आज यहां उनके निवास कार्यालय में मंत्री परिषद की बैठक आयोजित हुई। बैठक में निम्नानुसार महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए। 1- छत्तीसगढ़ राज्य में शासकीय अथवा नैसर्गिक स्त्रोत से औद्योगिक प्रायोजन, ताप विद्युत तथा जल विद्युत परियोजनाओं के लिए जल उपयोग हेतु 16 जनवरी 2020से प्रचलित जल दरों में संशोधन प्रस्ताव का अनुमोदन किया गया। जिसके अनुसार भू-जल के औद्योगिक उपयोग हेतु निर्धारित जल दरों में 20 से 33 प्रतिशत तक की कमी किए जाने तथा भू-जल दरों पर प्राप्त जल कर की राशि पृथक से निर्मित किए जाने वाले भू-जल संरक्षण कोष में जमा की जाएगी। इस कोष का उपयोग भू-जल संवर्धन (रिचार्जिंग ) में किया जाएगा। स्वनिर्मित स्त्रोत की श्रेणी जिसे औद्योगिक जल दर निर्धारण संबंधी अधिसूचना में विलोपित कर दिया गया था, को मंत्री परिषद द्वारा पुनःस्थापित किए जाने का निर्णय लिया गया। इसके साथ ही स्वनिर्मित स्त्रोत की श्रेणी हेतु प्रचलित दर, जो कि नैसर्गिक स्त्रोत जलदर 5 रूपए प्रति घन मीटर है को कम कर 3.50 रूपए प्रति घन मीटर किया गया। 2- छत्तीसगढ राज्य औषधि पादप बोर्ड को पुर्नभाषित कर छत्तीसगढ़ आदिवासी स्थानीय स्वास्थ्य परंपरा एवं औषधि पादप बोर्ड के नाम से पुर्नगठित करने का निर्णय लिया गया। 3-छत्तीसगढ़ औद्योगिक भूमि एवं प्रबंधन नियम 2015 में संशोधन (अपील एवं अन्य प्रावधान) प्रस्ताव का अनुमोदन किया गया। इससे अतिशेष भूखंडों निरस्त भूखंडों एवं बंद पड़ी इकाईयों से भूखंड का आधिपत्य वापस प्राप्त कर नए आवेदकों को आबंटन किया जा सकेगा। अर्थात पट्टे पर आबंटित औद्योगिक भूमि का उपयोग न हो पाने के प्रकरणों में भूमि के हस्तांतरण को आसान किया गया है। 4- औद्योगिक नीति 2019 -24 के तहत बायोएथनाल हेतु एमओयू हस्ताक्षरित कर 6 माह के अंदर ईकाई के उत्पादन में आने पर विशेष अर्ली बर्ड इंशेटिव देने के प्रावधान किया गया था। मंत्री परिषद ने 6 माह के स्थान पर 18 माह के अंदर इकाई के उत्पादन में आना प्रतिस्थापित किए जाने का निर्णय लिया। उद्योगों को लीज पर दी गई भूमि में उद्योग लगाने के लिए निर्धारित अवधि में एक वर्ष की वृद्धि की गई । 5- औद्योगिक नीति 2019-24 में सशोधन करने का अनुमोदन किया गया। औद्योगिक नीति 2019-24 में अनुसूचित जनजाति/जाति वर्ग तथा स्टार्टअप के लिए स्पेशल पैकेज घोषित किया गया है। उद्योगों को विस्तार /शवलीकरण के लिए अनुदान छूट एवं रियायतों की पत्रता का अनुमोदन किया गया। सूक्ष्म उद्योगों के साथ- साथ लघु एवं मध्यम उद्योगों को भी स्थाई पूंजी निवेश अनुदान की सुविधा मिलेगी। कोर सेक्टर के उद्योगों को पूरे राज्य में विद्युत छूट की पात्रता दी गई है। 6- छत्तीसगढ़ राज्य की औद्योगिक नीति 2019-24 के अंतर्गत इस्पात (स्पांज आयरन एण्ड स्टील) क्षेत्र के मेगा/अल्ट्रा मेगा प्रोजेक्ट में निवेश हेतु विशेष निवेश प्रोत्साहन पैकेज देने का निर्णय लिया गया। मेगा निवेषकों के लिए घोषित किए गए पैकेज में अधितम 500 करोड़ रूपए तक का निवेष प्रोत्साहन (बस्तर संभाग हेतु 1000 करोड़ तक) मान्य होगा। प्रस्तावित इकाईयों के लिए 31 अक्टूबर 2024 को अथवा उसके पूर्व व्यावसायिक उत्पादन प्रारंभ करना जरूरी होगा। 100 करोड़ रूपए का स्थाई पूंजी निवेश मद में निवेश कर व्यावसायिक उत्पादन आरंभ करने वाली नवीन इकाईयों को आर्थिक निवेश प्रोत्साहन तभी प्राप्त होगा। 7-छत्तीसगढ़ राज्य खाद्य प्रसंस्करण मिशन योजना की सभी चार योजनाएं 31 अक्टूबर 2024 तक लागू करने, राज्य स्तरीय अपीलीय फोरम के गठन के प्रस्ताव का अनुमोदन किया गया। कृषि आधारित ग्रामीण उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए छत्तीसगढ़ राज्य प्रसंस्करण मिशन में वन अधिकार अधिनियम पट्टाधारी एवं सामुदायिक तथा वन संसाधन अधिकार प्राप्त ग्रामों को विशेष प्राथमिकता दिए जाने का निर्णय लिया गया। स्पंज आयरन एवं स्टील सेक्टर के उद्योगों के लिए विशेष पैकेज घोषित। क्षेत्रवार छूट 60 प्रतिशत से 150 प्रतिशत तक देय होगी। 8- छत्तीसगढ़ शासन कार्य (आबंटन) नियम में संशोधन - वन विभाग का नाम संशोधित कर वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग किए जाने के प्रस्ताव का अनुमोदन किया गया। 9- अनुसूचित जाति विकास प्राधिकरण निधि- नियम 2020 के प्रारूप का अनुमोदन किया गया। 11- मुख्यमंत्री अधोसंरचना संधारण एवं उन्नयन प्राधिकरण का गठन एवं निधि नियम 2020 के प्रारूप का अनुमोदन किया गया। इस प्राधिकरण के गठन का उद्देश शिक्षा स्वास्थ्य एवं आवागमन से संबंधित संरचनाओं के रख रखाव एवं उन्नययन संबंधी कार्यो के वित्त पोषण की पूर्ति है। प्रधिकरण संबंधित विभाग एवं जिला प्रशासन को आवश्यक सलाह भी देगा। मुख्यमंत्री इस प%

Created On :   9 Oct 2020 2:11 PM IST

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