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खुलेंगे सातवीं तक के स्कूल, आश्रम स्कूल- एकलव्य मॉडल को भी अनुमति
डिजिटल डेस्क, मुंबई। 20 महीने के बाद बुधवार से पहली से सातवीं कक्षा के विद्यार्थियों के लिए स्कूल एक बार फिर से खुलेंगे। स्कूलों को फिर से खोलने का आदेश मुंबई महानगर पालिका (बीएमसी) के आयुक्त इकबाल सिंह चहल ने मंगलवार को जारी किया। कोविड-19 महामारी के कारण मार्च 2020 से ही महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई में स्कूल बंद थे। इससे पहले कोरोना वायरस के ओमीक्रॉन स्वरूप के मद्देनजर चार दिसंबर से स्कूलों को पहली से सातवीं कक्षा के विद्यार्थियों के लिए खोलने का फैसला टाल दिया गया था। गौरतलब है कि महाराष्ट्र में कोरोना वायरस के ओमीक्रोन स्वरूप के मामलों की संख्या बढ़कर 20 हो गयी है, जिसमें से पांच मरीज मुंबई में ही हैं।
आश्रम स्कूल, एकलव्य मॉडल विद्यालयों को खोलने की अनुमति
प्रदेश सरकार ने कोविड मुक्त इलाकों में सरकारी और अनुदानित आश्रम स्कूलों तथा एकलव्य मॉडल आवासीय (रेसिडेंशियल) विद्यालयों में पहली से चौथी तक की कक्षाएं 15 दिसंबर से खोलने के लिए मंजूरी दी है। विद्यार्थियों को कक्षा में उपस्थित रहने के लिए अभिभावकों से लिखित सहमति लेनी आवश्यक होगी। ग्राम पंचायतों में प्रस्ताव पास करके आश्रम स्कूलों को खोला जा सकेगा। ग्राम पंचायत स्तर पर आश्रम स्कूल खोलने के लिए संबंधित आदिवासी विकास विभाग के परियोजना कार्यालय को स्थानीय प्रशासन के साथ मिलकर फैसला लेना होगा। लेकिन अंतिम फैसला लेने का अधिकार परियोजना अधिकार के पास होगा। आश्रम स्कूल शुरू करने से पहले गांव में कम से कम एक महीने में कोरोना का कोई मरीज नहीं मिला होना चाहिए। कक्षाओं में एक बेंच पर एक ही विद्यार्थी बैठ सकेंगे। आश्रम स्कूल शुरू करने से पहले शिक्षक और शिक्षकेत्तर कर्मचारियों को कोरोना का आरटीपीसीआर टेस्ट कराना आवश्यक होगा। कोरोना संक्रमित पाए जाने वाले शिक्षकों को छुट्टी पर रहने की अनुमति होगी। कोरोनारोधी टीके की कम से कम एक डोज लेने वाले आश्रम स्कूल के शिक्षकों को अध्यापन की अनुमति होगी। जिन्होंने एक डोज भी नहीं लगवाया है उन्हें तत्काल टीकाकरण पूरा करवाना होगा।
टीका न लगवाने वाले शिक्षकों की बिना वेतन छुट्टी
अगले 15 दिनों के भीतर कम से कम एक टीका न लगाने वाले शिक्षक और शिक्षकेत्तर कर्मचारियों को बिना वेतन छुट्टी पर भेज दिया जाएगा। उनके टीकाकरण का प्रमाणपत्र जमा कराने के बाद ही उनकी सेवा बहाल होगी। आश्रम स्कूल शुरू करने से पहले बच्चों को आकर्षित करने के लिए स्कूल प्रबंधन समिति को ‘चलो बच्चों, स्कूल चलें’ अभियान चलाना होगा। आश्रम स्कूलों को लेकर परियोजना अधिकारी की अध्यक्षता में समिति बनाई गई है। परियोजना अधिकारी को कोविड के नियमों का पालन न करने और लापरवाही बरतने वाले सरकारी और अनुदानित आश्रम स्कूलों व एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालयों के खिलाफ आवश्यक प्रशासनिक कार्रवाई करना होगा।
Created On :   14 Dec 2021 8:03 PM IST