बड़ा कारण - बल्लारशाह-इटारसी के बीच 13 ट्रेनों में एलएचबी कोच नहीं

Speed ​​not possible now - Big reason - No LHB coach in 13 trains between Ballarshah-Itarsi
बड़ा कारण - बल्लारशाह-इटारसी के बीच 13 ट्रेनों में एलएचबी कोच नहीं
अभी संभव नहीं रफ्तार बड़ा कारण - बल्लारशाह-इटारसी के बीच 13 ट्रेनों में एलएचबी कोच नहीं

डिजिटल डेस्क, नागपुर. ट्रैक को सक्षम कर दिया गया है, सिग्नल प्रणाली भी अत्याधुनिक हो गई है, लेकिन कई ट्रेनों में पुराने कोच लगे होने के कारण इटारसी-नागपुर-बल्लारशाह रूट गाड़ियों की रफ्तार बढ़ाना संभव नहीं हो पा रहा है, कारण हैं कोच। जानकारी के अनुसार, इटारसी-नागपुर-बल्लारशाह रूट पर ऐसी 13 गाड़ियां हैं, जिनमें पुराने आईसीएफ कोच ही लगे हैं। इस लाइन पर सामान्य श्रेणी की गाड़ियों को 90 और दुरंतो व राजधानी श्रेणी की गाड़ियों को 110 की रफ्तार तक चलाया जा रहा है, जिसे बढ़ाकर 130 किमी प्रति घंटा करना है। हाल ही में मध्य रेलवे के महाप्रबंधक एके लाहोटी ने भी कहा था कि इटारसी-नागपुर-बल्लारशाह रुट पर गाड़ियों की रफ्तार बढ़ाने के लिए सभी मंडल को जानकारी भी भेज दी गई है, लेकिन वास्तविकता कुछ और है। इस मार्ग पर चलने वाली कुल 13 गाड़ियों में पुराने कोच ही लगे हैं और वे इस रफ्तार पर नहीं चल सकते हैं। ऐसे में जब तक इन कोच को नहीं बदला जाएगा, तब तक सामान्य गति से ही रेल गाड़ियों को चलाना पड़ेगा। अकेले नागपुर मंडल की बात करें, तो  कुल 14 गाड़ियों में से 8 में एलएचबी कोच नहीं रहने से सक्षम पटरियों का लाभ इन गाड़ियों पर निर्भर रहने वाले यात्री नहीं उठा सकेंगे। इसमें सेवाग्राम एक्सप्रेस, नागपुर-पुणे एक्सप्रेस, नागपुर-अहमदाबाद एक्सप्रेस, गरीबरथ आदि गाड़ियां हैं, रेलगाड़ी में नीले रंग वाले कोच को आईसीएफ यानी इंटीग्रल कोच फैक्टरी और लाल रंग वाले कोच को एलएचबी अर्थात लिंक हॉफमैन बुश कहते हैं। 

इंटीग्रल कोच फैक्ट्री

ये लोहे से बनाई जाती है और इस वजह से भारी होती है। इसमें एयर ब्रेक का प्रयोग होता है। अधिकतम अनुमेय गति 110 किमी प्रति घंटा है। दुर्घटना के बाद इसके डिब्बे एक के ऊपर एक चढ़ जाते हैं, क्योंकि इसमें डुएल बफर सिस्टम होता है।  

एलएचबी कोच : ये स्टेनलेस स्टील से बनाई जाती है और इस वजह से हल्की होती है। इसमें डिस्क ब्रेक का प्रयोग होता है। अधिकतम अनुमेय गति 200 किमी प्रति घंटा है और इसकी परिचालन गति 160 किमी प्रति घंटा है। दुर्घटना के बाद इसके डिब्बे एक के ऊपर एक नहीं चढ़ते हैं, क्योंकि इसमें सेंटर बफर कॉलिंग यानी सीबीसी सिस्टम होता है। एलबीएच कोच सुरक्षा, गति, क्षमता, आराम आदि मामलों में आईसीएफ कोच से बेहतर हैं।

 

Created On :   27 March 2022 6:12 PM IST

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