सेंसर बोर्ड की आपत्ति के बावजूद रिलीज होगी अमर्त्य सेन पर बनी डॉक्यूमेंटरी
डिजिटल डेस्क, मुंबई। नोबेल अवार्ड विनर और फेमस इकोनॉमिस्ट अमर्त्य सेन पर बनी डॉक्यूमेंटरी 'एन ऑर्ग्यूमेंटेटिव इंडियन' पर सेंसर बोर्ड की आपत्ति के बावजूद इस फिल्म के प्रोड्यूसर और डायरेक्टर सुमन घोष इसे रिलीज करने की तैयारी कर रहे हैं।
सुमन घोष का कहना है कि यदि सेंसर बोर्ड नहीं मानता है तो वो इस फिल्म को कुछ ही महीनों में ऑनलाइन रिलीज कर देंगे। आपको बता दें कि सेंसर बोर्ड ने इस फिल्म में से 'गाय', 'गुजरात', 'हिंदु' और 'हिंदुत्व' जैसे शब्दों को फिल्म से हटाने को कहा है। लेकिन सुमन घोष इस बात से साफ इनकार कर चुके हैं कि इस फिल्म से एक भी शब्द को नहीं हटाया जाएगा।
फिल्म का ट्रेलर ऑनलाइन रिलीज
इस फिल्म को सेंसर बोर्ड की तरफ से हरी झंडी नहीं मिलने के कारण 14 जुलाई को रिलीज नहीं किया जा सका। लेकिन फिल्म डायरेक्टर सुमन घोष ने इस फिल्म के 141 सेकंड के ट्रेलर को फेसबुक पर रिलीज कर दिया था। जिसको सेंसर बोर्ड के चेयरमैन पहलाज निहलानी ने अवैध करार दिया था।
क्या कहा सुमन घोष ने?
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सुमन घोष का कहना है कि इस फिल्म को बिना कांट-छांट के ऑनलाइन रिलीज किया जाएगा। हालांकि इसमें अभी कुछ महीने और लगेंगे क्योंकि मैंने इस फिल्म की स्क्रीनिंग विदेशों में पहले से ही निर्धारित कर रखी है और इससे पहले मैं इसे रिलीज नहीं कर सकता। सुमन घोष ने सेंसर बोर्ड की प्रतिक्रिया पर भी जवाब देते हुए कहा कि मुझे पता चला है कि सेंसर बोर्ड के चेयरमैन ने इसके ट्रेलर को अवैध करार दिया है, लेकिन मुझे नहीं पता कि वो ऐसा क्यों कर रहे हैं? उन्होंने कहा कि फिल्म को यूट्यूब पर रिलीज करने के लिए किसी सर्टिफिकेट की जरूरत नहीं होती।
क्या है विवाद ?
अमर्त्य सेन पर बनी डॉक्यूमेंटरी 'एन ऑर्ग्यूमेंटेटिव इंडियन' में गाय, गुजरात, हिंदू और हिंदुत्व जैसे शब्दों पर सेंसर बोर्ड की तरफ से आपत्ति जताई गई है। इस डॉक्यूमेंटरी में अमर्त्य सेन ने इंटरव्यू दिया है, जिसमें उन्होंने गुजरात दंगों की बात करते हुए इन शब्दों का इस्तेमाल किया है। जिसपर सेंसर बोर्ड ने कहा है कि इससे देश की छवि खराब होगी। इसलिए इसे डॉक्यूमेंटरी से हटाने को कहा है।
Created On :   17 July 2017 10:10 AM IST