पंजाब के किसानों के समर्थन में रैली करने पर ब्रिटिश सिख पर जुर्माना

British Sikh fined for rallying in support of Punjab farmers
पंजाब के किसानों के समर्थन में रैली करने पर ब्रिटिश सिख पर जुर्माना
पंजाब के किसानों के समर्थन में रैली करने पर ब्रिटिश सिख पर जुर्माना
हाईलाइट
  • पंजाब के किसानों के समर्थन में रैली करने पर ब्रिटिश सिख पर जुर्माना

लंदन, 11 अक्टूबर (आईएएनएस)। पंजाब के किसानों के समर्थन में एक कार रैली आयोजित कर कोविड-19 प्रतिबंधों का उल्लंघन करने के आरोप में भारतीय मूल के एक ब्रिटिश सिख पर 10,000 पाउंड का जुमार्ना लगाया गया है।

नए कृषि कानूनों का विरोध कर रहे भारत के किसानों के साथ एकजुटता दिखाने के लिए दीपा सिंह (39) पर साउथॉल में कार, ट्रैक्टर, टेम्पो और मोटरबाइकों पर लगभग 4,000 लोगों द्वारा रैली निकाले जाने के लिए 4 अक्टूबर को जुमार्ना लगाया गया। रैली से सड़कों पर जाम की स्थिति बन गई थी।

दीपा ने कहा, जुर्माना जाहिर तौर पर 28 दिनों के भीतर मेरे पास भेजा जाएगा। मेरे वकील इसके खिलाफ लड़ेंगे।

उन्होंने कहा, पुलिस शुरू में मेरे पास आई और मुझे चेतावनी दी कि मैं कोरोनोवायरस कानून का उल्लंघन कर रहा हूं क्योंकि यह राजनीतिक नहीं था और यह एक बड़ी सभा थी। यह फिर भी आगे बढ़ गया। फिर एक घंटे में वे मेरे पास आए और मुझे गाड़ी से बाहर निकलने के लिए कहा और जुर्माना लगा दिया।

दीपा ने कहा, पुलिस कह रही है कि यह राजनीतिक नहीं है, लेकिन पूरे भारत में किसान प्रदर्शन कर रहे हैं और सैकड़ों आत्महत्या कर रहे हैं। यह कैसे राजनीतिक नहीं है? जब मैं 1984 और खालिस्तान की बात करता हूं तो मैं कैसे राजनीतिक नहीं हो सकता? एक सिख होना आपको राजनीतिक बनाता है।

उन्होंने कहा कि ब्लैक लाइव्स मैटर्स के लिए विरोध प्रदर्शन हुआ और उनसे 10,000 पाउंड का जुर्माना नहीं वसूला गया। सभी पाकिस्तानियों ने साउथहॉल की गलियों में ईद मनाई और उन पर जुमार्ना भी नहीं लगाया गया। वे सिखों को निशाना बनाते दिख रहे हैं।

दीपा ने कहा, मैं आनंदपुर साहिब संकल्प के साथ खड़ा हूं। किसान उचित दाम न मिलने के कारण विरोध कर रहे हैं। इसने पंजाब में हमारे भाइयों और बहनों को साहस और ताकत दी है।

नेशनल सिख यूथ फेडरेशन के शमशेर सिंह ने कहा, हमारी सिख मातृभूमि के किसानों और मजदूरों के साथ एकजुटता दिखाने के लिए रैली का आयोजन किया गया था, जहां किसान भेदभावपूर्ण वाले नए कानूनों का विरोध कर रहे हैं, जो बाजारों और जमीनों का नियंत्रण कार्पोरेशन को देते हैं।

उन्होंने कहा, हमें नहीं पता कि उन्होंने दीपा पर किस आधार पर जुमार्ना लगाया। पुलिस अपने निदेर्शो को लेकर स्पष्ट नहीं थी और हमारे लिए यातायात को अवरुद्ध नहीं किया और किसी भी तरह से मददगार नहीं थी।

मेट्रोपॉलिटन पुलिस के एक प्रवक्ता ने कहा, 4 अक्टूबर को साउथहॉल में हुए एक विरोध प्रदर्शन के संबंध में हेल्थ प्रोटेक्शन रिलेशंस 2020 को भंग करने के लिए एक व्यक्ति पर 10,000 पाउंड का जुर्माना लगाया गया है।

प्रवक्ता ने कहा कि कोरोनोवायरस कानून के तहत विरोध प्रदर्शन की छूट नहीं दी जा रही है। आयोजकों को एक पूर्ण जोखिम मूल्यांकन करना चाहिए और वायरस के संचरण को सीमित करने के लिए सभी कदम उठाने चाहिए। उन्हें यह सुनिश्चित करना चाहिए कि इसका पालन किया जाए।

वीएवी-एसकेपी

Created On :   11 Oct 2020 2:30 PM IST

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