चीन ने उइगर मुस्लिमों का दमन किया, अब लद्दाख पर बयान दे रहा

China oppressed Uygar Muslims, now giving a statement on Ladakh
चीन ने उइगर मुस्लिमों का दमन किया, अब लद्दाख पर बयान दे रहा
चीन ने उइगर मुस्लिमों का दमन किया, अब लद्दाख पर बयान दे रहा
नई दिल्ली, 8 अगस्त (आईएएनएस)। चीनी सरकार ने लगभग 10 लाख मुस्लिमों पर कार्रवाई करते हुए उन्हें अशांत जिंगजियांग प्रांत में कैदखानों में बंद किया गया है। चीन में सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी से अलग विचारधारा रखने वाले धार्मिक या सामुदायिक अल्पसंख्यकों से निपटने का यह चीनी मॉडल है।

चीन भले ही केंद्र शासित लद्दाख के निर्माण की निंदा कर सकता है लेकिन वह खुद जिंनजियांग प्रांत में उइगर मुस्लिमों के दमन को दबाना चाहता है।

एमनेस्टी इंटरनेशनल के अनुसार, चीनी सरकार मुस्लिमों पर देश के लिए राजनीतिक वफादारी के साथ-साथ उनके धार्मिक मतों को ना मानने के लिए दवाब बनाती रही है।

यह इसलिए है क्योंकि चीन ने शिक्षा के माध्यम से परिवर्तन के नाम से बोले जाने वाले लगभग 30 कैदखानों में लगभग 10 लाख मुस्लिमों को बंद कर दिया है। यहां मुस्लिमों को चीन के प्रति उनकी वफादारी करने के लिए जबरदस्ती की जा रही है।

चीन के सख्त प्रशासन के कारण जिनजियांग प्रांत से ज्यादा पक्षपाती खबरें नहीं निकलने के बावजूद जो थोड़ी-बहुत खबरें बाहर आती हैं, उनके अनुसार मुस्लिमों को उचित तरीके से रमजान मनाने की भी अनुमति नहीं है। उनके मस्जिदों में जाने पर प्रतिबंध है और रमजान (व्रत) के महीने में भी रेस्तरांओं को जबरदस्ती खुलवाया जाता है।

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, स्थानीय मुस्लिमों पर दवाब बनाने और उन पर नजर रखने के लिए सैनिक जमा रखे हैं।

उइगर मुस्लिम मध्य एशियाई देशों के मूल के निवासी हैं जो तुर्की भाषा बोलते हैं।

उइगर मुस्लिमों की समस्या को पूरी दुनिया, विशेषकर इस्लामिक राष्ट्र चुपचाप देखते हैं।

दुनियाभर में मुस्लिम अधिकारों का चैंपियन बनने का दावा करने वाला पाकिस्तान उइगर मुस्लिमों के उत्पीड़न पर शांत है।

बल्कि पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान से कुछ महीनों पहले जब इस पर सवाल किया गया था तो उन्होंने दावा किया था कि उन्हें इसकी जानकारी नहीं है।

वास्तव में, वे पाकिस्तान के सदाबहार दोस्त चीन के खिलाफ बोलना नहीं चाहते थे। वे एक ऐसे देश के खिलाफ नहीं बोलना चाहते थे जिस पर उनका देश आर्थिक और रणनीतक तौर पर अधीन है।

इस मुद्दे को उठाने का दावा करने वाले तुर्की ने लगभग छह महीने पहले एक बयान में कहा था कि यह अब कोई रहस्य नहीं है कि लगभग 10 लाख उइगर मुस्लिमों को जबरदस्ती बंदी बनाकर रखा गया है और शिविरों तथा जेलों में उनका उत्पीड़न कर राजनीतिक ब्रेनवाश किया जा रहा है।

इन सबके बावजूद चीन ने मंगलवार को लद्दाख को केंद्र शासित प्रदेश बनाने पर आपत्ति जताई है।

नई दिल्ली ने हालांकि इस पर कड़ा जवाब देते हुए कहा कि जम्मू एवं कश्मीर भारत का आंतरिक मामला है और चीन को इस पर बयान नहीं देना चाहिए।

भारत के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने ट्वीट किया, भारत अन्य देशों के आंतरिक मामलों पर बयान नहीं देता है और वह यह व्यवहार अन्य देशों से अपेक्षित करता है।

--आईएएनएस

Created On :   8 Aug 2019 6:30 PM IST

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