देश में बनेगा F/A-18 सुपर हॉर्नेट फाइटर प्लेन, बोइंग के साथ करार
- इस समझौते के तहत 2000 किमी प्रति घंटे की रफ्तार वाले F/A-18 सुपर हॉर्नेट फाइटर प्लेन देश में बनाए जाएंगे।
- बोइंग इंडिया
- हिंदुस्तान ऐरोनॉटिक्स लिमिटेड और महिंद्रा डिफेंस सिस्टम्स (MDS) के बीच गुरुवार को एक महत्वपूर्ण समझौता किया गया है।
- बोइंग सैन्य विमान बनाने वाले दुनिया की प्रमुख कंपनी है।
डिजिटल डेस्क, चैन्नई। बोइंग इंडिया, हिंदुस्तान ऐरोनॉटिक्स लिमिटेड और महिंद्रा डिफेंस सिस्टम्स (MDS) के बीच गुरुवार को एक महत्वपूर्ण समझौता किया गया है। इस समझौते के तहत 2000 किमी प्रति घंटे की रफ्तार वाले F/A-18 सुपर हॉर्नेट फाइटर प्लेन देश में बनाए जाएंगे। इस फाइटर प्लेन के इंडियन एयरफोर्स के बेड़े में शामिल होने के बाद एयरफोर्स और भी ज्यादा ताकतवर बन जाएगी। यहां हम आपको ये भी बता दें कि बोइंग सैन्य विमान बनाने वाले दुनिया की प्रमुख कंपनी है।
डिफेन्स एक्सपो में हुआ समझौता
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गुरुवार को चेन्नई में 10वें डिफेंस एक्सपो में मेक इन इंडिया स्टॉल का उद्घाटन किया। इस एक्सपों में बोइंग इंडिया के प्रेजिडेंट प्रत्युष कुमार, HAL के चेयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर टी सुवर्ण राजू और महिंद्रा डिफेंस सिस्टम्स के चेयरमैन एसपी शुक्ला ने "मेक इन इंडिया फाइटर" के लिए मेमोरैंडम ऑफ अग्रीमेंट का आदान-प्रदान किया। रक्षा मंत्रालय के इंडियन एयरफोर्स को और ताकतवर बनाने के साथ ही यह "मेक इन इंडिया" अभियान को आगे बढ़ाने के लिहाज से ये बड़ा कदम है।
18 महीने से चल रही थी बातचीत
अग्रीमेंट के आदान-प्रदान के बाद बोइंग इंडिया के प्रेजिडेंट प्रत्युष कुमार ने कहा, 18 महीने से इस समझाते को लेकर बताचीत चल रही थी। हमने 400 से ज्यादा सप्लायर्स से विचार-वमर्स किया। वहीं महिंद्रा डिफेंस सिस्टम्स के चेयरमैन एसपी शुक्ला ने कहा, "यह एक गठजोड़ है, हमारे पास तीन कंपनियां हैं जो अलायंस को अपनी विशेषज्ञता, डोमेन नॉलेज और फ्लेवर देंगी।" हिंदुस्तान ऐरोनॉटिक्स लिमिटेड के चेयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर टी सुवर्ण राजू ने कहा कि समझौते के तहत मौजूदा फेसिलिटीज का इस्तेमाल फाइटर प्लेन बनाने में किया जा सकता है या अगर जरूरी हुआ तो एक फेसिलिटी भी स्थापित की जा सकती है।
क्या खास है बोइंग F/A सुपर हॉर्नेट फाइटर प्लेन में?
- दो इंजन के साथ ही कई भूमिका निभा सकते हैं।
- दोनों इंजन का थ्रस्ट 17,000 lbs तक है।
- इनकी स्पीड 1915 किमी प्रति घंटे और रेंज 3,330 किमी होती है।
- इसका वजन 14,552 KG है।
- 29,937 किलो के भार के साथ भी ये प्लेन टेक ऑफ कर सकने में सक्षम है।
इससे पहले भारत सरकार ने 110 लड़ाकू विमानों के निर्माण के लिए शुरुआती टेंडर या RFI (रिक्वेस्ट फॉर इन्फॉर्मेशन) जारी किया था। माना जा रहा था कि बोइंग, लॉकहीड मार्टिन, साब और डसॉल्ट जैसी कंपनियां इसके लिए आगे आ सकती है। इस प्रॉजेक्ट पर अनुमानित खर्च 1.15 लाख करोड़ रुपये बताया गया है। सभी 110 फाइटर जेट्स सिंगल या दो इंजनवाले होंगे और उनका निर्माण विदेशी सहयोग से होगा।
चौथे स्थान पर है इंडियन एयरफोर्स
दुनिया में इंडियन एयरफोर्स का स्थान चौथा है। इस समय इंडियन एयरफोर्स के पास कुल 1500 विमान है। जिनमे से 300 लड़ाकू विमान है। वहीं एयरफोर्स में 170,000 सैनिक मौजूद है। भारत से पहले जिन देशों की एयरफोर्स का नाम आता है उनमे इजरायल, रशिया और टॉप पर अमेरिका है।
Created On :   12 April 2018 8:42 PM IST