फरारी के 17 साल बाद जेल लौटे कैदी को हाईकोर्ट ने फिर दी पैरोल, बेटी की है शादी

17 years absconding prisoner returned to jail, HC given parole for daughters marriage
फरारी के 17 साल बाद जेल लौटे कैदी को हाईकोर्ट ने फिर दी पैरोल, बेटी की है शादी
फरारी के 17 साल बाद जेल लौटे कैदी को हाईकोर्ट ने फिर दी पैरोल, बेटी की है शादी

डिजिटल डेस्क, मुंबई। बांबे हाईकोर्ट ने एक बार पैरोल पर रिहा होने के बाद 17 साल बाद दोबारा जेल में लौटे एक कैदी को फिर से फर्लो प्रदान की है। यह अपात फर्लो कैदी को बेटी की शादी में शामिल होने के लिए दी गई है। फर्लों कैदियों को अपात स्थिति में दी जानेवाली छुट्टी है। पुणे के येरवदा जेल में अाजीवन कारावास की सजा कांट रहे कैदी ने फर्लो की मांग को लेकर जेल उप महानिरीक्षक(पश्चिम क्षेत्र) के पास फर्लो के लिए आवेदन किया था किंतु महानिरीक्षक ने कैदी के अतीत के कृत्य के देखते हुए उसे फर्लो देने से इंकार कर दिया था। महानिरीक्षक के आदेश के खिलाफ कैदी ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। 

न्यायमूर्ति आरएम सावंत व न्यायमूर्ति वीके जाधव की खंडपीठ के सामने याचिका पर हाल ही में सुनवाई हुई। इस दौरान सहायक सरकारी वकील पीपी शिंदे ने खंडपीठ को बताया कि कैदी को साल 2001 में फर्लो प्रदान की गई थी इसके बाद वह गायब हो गया था। पुलिस ने लंबी तलाश के बाद उसे 17 साल बाद पकड़ा है। कुल मिलाकर वह 6035 दिन बाद जेल में वापस लौटा है। फर्लो मिलने के बाद गायब होने के लिए कैदी के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। ऐसे में दोबार उसे फर्लों पर रिहा करना उचित नहीं होगा। वहीं इन दलीलों के जवाब में कैदी के वकील ने कहा कि नियमानुसार यदि कैदी के बेटे-बेटी व भाई-बहन का विवाह हो तो जेल उप महानिरीक्षक कैदी को पुलिस बल के साथ आपात फर्लो प्रदान कर सकते है।

मामले से जुड़े दोनों पक्षों को सुनने के बाद खंडपीठ ने न्यायहित में जेल प्रशासन को निर्देश दिया कि वह कैदी को पर्याप्त पुलिस दल के साथ उत्तर प्रदेश के सुलतानपुर जिले के एक गांव में होनेवाली बेटी की शादी में शामिल होने के लिए रिहा करे और कैदी की सुरक्षा में लगनेवाले का शुल्क उसके घरवालों से ले। खंडपीठ ने कहा कि जब कैदी जेल में वापस आ जाए तो उसकी एक रिपोर्ट अदालत में पेश की जाए।

Created On :   27 Nov 2018 4:04 PM GMT

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story