किसान ऋण माफी : अगर मिली गफलत तो नपेगी DCCB के ब्रांच मैनेजरों की गर्दन, CS की दो टूक

Action will be taken against the accused DCCB branch managers
किसान ऋण माफी : अगर मिली गफलत तो नपेगी DCCB के ब्रांच मैनेजरों की गर्दन, CS की दो टूक
किसान ऋण माफी : अगर मिली गफलत तो नपेगी DCCB के ब्रांच मैनेजरों की गर्दन, CS की दो टूक

डिजिटल डेस्क, सतना। राज्य शासन की जय किसान ऋण माफी योजना के तहत अगर किसी किसान के साथ नाइंसाफी का मामला सामने आया तो अब इसके लिए सीधे जिला सहकारी केंद्रीय बैंक (डीसीसीबी) के संबंधित ब्रांच के मैनेजर की गर्दन नपेगी।

कृषि विभाग के प्रमुख सचिव (पीएस) राजेश राजौरा ने इस आशय के दो टूक आदेश जारी कर दिए हैं। आदेश में स्पष्ट किया गया है कि गफलत पकड़ में आने पर डीसीसीबी के ब्रांच मैनेजर ये कह कर अपनी जिम्मेदारी से नहीं बच पाएंगे कि अनियमितिता सहकारी समितियों के स्तर पर हुई है। पीएस ने आदेश में स्पष्ट किया है कि पात्र किसानों के ऋण माफी के प्रकरणों की निस्तारण प्रक्रिया (फार्मों की फीडिंग और आधार सीडिंग) में खासकर जिला सहकारी केंद्रीय बैंक सहकारी समितियों पर न तो निर्भर रहे और न ही उनके भरोसे रहे। जिले में डीसीसीबी ने जहां 45 हजार 199 किसानों की फीडिंग कराई है, वहीं जिले में कुल पात्र किसानों की कुल संख्या 98 हजार 769 दर्ज की गई है।  

हर ब्रांच में कलेक्टर ने तैनात किए नोडल
कृषि विभाग के प्रमुख सचिव (पीएस) राजेश राजौरा के इस आदेश के बाद कलेक्टर डा.सत्येन्द्र सिंह ने जिला सहकारी केंद्रीय बैंक की जिले की सभी 12 शाखाओं में एक-एक गेजटेड ऑफिसर की नियुक्ति बतौर नोडल आफीसर कर दी है। सभी नोडल आफीसर अपने अपने आवंटित बैंक की ब्रांचों में जय किसान ऋण माफी योजना के पात्र किसानों के आवेदनों की फीडिंग और आधार सीडिंग की जांच करेंगे। इस संबंध में जारी प्रक्रिया की निगरानी का जिम्मा भी इन्हीं क्लास वन ऑफीसर पर होगा। पात्र किसानों की ऋण राशि और आधार की फीडिंग 15 फरवरी तक हर हाल में पूरा कराए जाने के भी निर्देश दिए गए हैं।

12 सहकारी समितियां जांच के दायरे में
राज्य शासन की जय किसान ऋण माफी योजना की शिकायतों के निवारण के लिए यहां जिला स्तर पर गठित कंट्रोल रुम में पात्र किसानों द्वारा दर्ज कराई गई सबसे ज्यादा शिकायतें जिला सहकारी केंद्रीय बैंक से संबंधित हैं। इन्हीं शिकायतों के संज्ञान में लेने के बाद जिले की एक दर्जन सहकारी समितियों को जांच के दायरे में लिया गया है। जांच अभी जारी है। कृषि विभाग के पीएस ने आदेश में कहा है कि डीसीसीबी के ब्रांच मैनेजर ये सुनिश्चित करें कि एक भी पात्र किसान न तो ऋण माफी योजना से वंचित होने पाए और न ही एक भी अपात्र को इसका लाभ मिलने पाए।  

 

Created On :   8 Feb 2019 8:22 AM GMT

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