भूल से भी ना रखें घर के मंदिर में ऐसी प्रतिमा और सामग्री, हो सकती है अशुभता

Be Careful Before Placing These Things And Items in the Puja Room
भूल से भी ना रखें घर के मंदिर में ऐसी प्रतिमा और सामग्री, हो सकती है अशुभता
भूल से भी ना रखें घर के मंदिर में ऐसी प्रतिमा और सामग्री, हो सकती है अशुभता

डिजिटल डेस्क, भोपाल। घर के मंदिर का स्थान, दिशा और मंदिर में किन-किन चीजों को शामिल किया जाए यह सब सोच समझकर ही करना चाहिए। एक बार अगर आपने सही दिशा में मंदिर की स्थापना कर ली है तो यह ना सोचें कि आगे के लिए कोई मेहनत नहीं करनी होगी।

वास्तु शास्त्र के अनुसार घर के मुख्य द्वार से कक्ष, रसोई घर, सीढ़ियां, शयनकक्ष और घर का मंदिर भी वास्तु दोष रहित होना चाहिए। जिस तरह से घर के अन्य स्थान महत्वपूर्ण हैं, ठीक उसी तरह घर का मंदिर भी एक विशेष स्थान है। इसकी पवित्रता बनाए रखने के लिए यह आवश्यक है कि यहां कोई वास्तु दोष उत्पन्न ना हो पाए।

घर के मंदिर में अशुद्धता नहीं फैलनी चाहिए, यहां धूल-मिट्टी या किसी भी प्रकार का कचरा ना रहने दें। इसके साथ ही मंदिर में आवश्यक उजाला हो। मंदिर में अंधेरा होना शुभ नहीं माना जाता है। मंदिर में खंडित मूर्ति भी नहीं होनी चाहिए, किंतु प्रतिमा के संदर्भ में एक और बात है जिसका आपको ध्यान रखना होगा और वह यह कि मंदिर में किस देवी-देवता की प्रतिमा नहीं होनी चाहिए।

 


प्रथम पूज्य श्री गणेश के स्मरण मात्र से ही कार्य सिद्ध हो जाते हैं। घर में इनकी प्रतिमा रखना बहुत शुभ माना जाता है। अधिकांश घरों में गणेश जी की कई मूर्तियां होती हैं, किन्तु ध्यान रखें कि गणेश जी की प्रतिमा की संख्या 1, 3 या 5 नहीं होना चाहिए यह अशुभ माना गया है। गणेश जी की प्रतिमाओं की संख्या विषम नहीं होना चाहिए। शास्त्रों के अनुसार श्री गणेश जी का स्वरूप सम संख्या के समान होता है, जिस कारण इनकी प्रतिमा की संख्या विषम नहीं होना चाहिए। विषम संख्या अर्थात 1, 3, 5 आदि। घर में श्रीगणेश जी की कम से कम दो प्रतिमा रखना श्रेष्ठ माना गया है।

शिवलिंग के दर्शन मात्र से व्यक्ति की सभी मनोकामनाएं पूर्ण हो जाती हैं। घर में शिवलिंग रखने के संबंध में कुछ नियम बताए गए हैं। घर के मंदिर में रखे गए शिवलिंग का आकार हमारे अंगूठे से बड़ा नहीं होना चाहिए।

ऐसा माना जाता है कि शिवलिंग बहुत संवेदनशील होता है, अत: घर में ज्यादा बड़ा शिवलिंग नहीं रखना चाहिए। इसके साथ ही घर के मंदिर में एक शिवलिंग ही रखा जाए तो वह ज्यादा सही फल देता है। एक से अधिक शिवलिंग रखने से बचना चाहिए।

घर के मंदिर में हनुमान जी की प्रतिमा की संख्या एक ही होनी चाहिए, क्योंकि बजरंग बली रुद्र (शिव) के अवतार हैं। घर में शिवलिंग भी एक ही होना चाहिए। मंदिर में बैठे हुए हनुमानजी की प्रतिमा रखना श्रेष्ठ होता है। घर के अन्य भाग में हनुमान जी की प्रतिमा नहीं रखें, ऐसी फोटो रखी जा सकती है, जिसमें वे खड़े हुए हों। घर के दरवाजे के पास उड़ते हुए हनुमानजी की फोटो रखी जा सकती है। ध्यान रखें पति-पत्नी को शयनकक्ष में हनुमानजी की प्रतिमा या चित्र नहीं लगाना चाहिए। शयनकक्ष में राधा-कृष्ण का फोटो लगाया जाता है।

 


घर के मंदिर में दुर्गा या अन्य किसी देवी की प्रतिमा की संख्या तीन नहीं होना चाहिए। यह अशुभ माना जाता है। यदि आप चाहें तो तीन से कम या ज्यादा प्रतिमा घर के मंदिर में रख सकते हैं। प्रतिमा के संबंध में श्रेष्ठ बात यही है कि मंदिर में किसी भी देवता की एक से अधिक प्रतिमा न हो। अलग-अलग देवी-देवताओं की एक-एक प्रतिमा रखी जा सकती है।

भगवान शिव का अवतार माने गए भैरव देव की प्रतिमा घर में नहीं लानी चाहिए और इसे लाकर मंदिर में तो कभी भी स्थापित ना करें। यूं तो ये भगवान शिव का ही अवतार माने जाते हैं लेकिन भैरव देव तंत्र विद्या के देवता हैं और इनकी उपासना घर के भीतर ना होकर बाहर ही होनी चाहिए।

आपने कई बार नटराज की प्रतिमा देखी होगी, यह देखने में बहुत आकर्षक लगती है किन्तु इन्हें घर में रखने की भूल ना करें। नटराज भगवान शिव का रौद्र रूप है यानि क्रोधित अवस्था और ऐसी प्रतिमा घर में रखने से अशांति फैलती है।

शनि देव की प्रतिमा को भी घर के मंदिर में नहीं रखना चाहिए। यदि आप इनकी पूजा घर में करते हैं तो घर के बाहर किसी मंदिर में ही करें, इनकी प्रतिमा घर में ना लाएं। शनि देव की तरह ही राहु-केतु की मूर्ति भी घर में नहीं होनी चाहिए। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार शनि, राहु एवं केतु तीनों ही पापी ग्रह हैं। इनकी पूजा अर्चना करने और इन्हें प्रसन्न करने से जीवन के कष्ट अवश्य कम होते हैं किन्तु इनकी प्रतिमा घर में रखने से हम इनकी नकारात्मक ऊर्जा को भी घर में ले आते हैं।

 


पूजा-पाठ में बहुत सारी सामग्री का प्रयोग किया जाता है। जिनमें कुछ तो बाजार से इकट्ठी खरीद कर रखी जाती हैं तो अन्य प्रतिदिन ताजा लाई जाती हैं। पूजन सामग्री में कुछ चीजें ऐसी होती हैं जिन्हें लंबे समय तक घर में नहीं रखना चाहिए अन्यथा नकारात्मकता हावी हो जाती है। जो कभी व्यक्ति को धनवान नहीं बनने देती।

रंग-बिरंगे पुष्प से मंदिर को सजाया जाता है। पुष्पों को हम घर लेकर आते हैं और इनकी सुगंध से मंदिर के वातावरण को सुगंधित बनाते हैं। कभी-कभी हम मुर्झाए एवं सूखे फूलों को अधिक दिनों तक घर में रखे रखते हैं, जिससे नकारात्मकता का संचार होता है।

सूखे पुष्प अकाल-मृत्यु, मंगलदोष, विवाह में विलंब का कारण तथा अनेक रोगों के माध्यम से घर में उत्पात मचाने वाले होते हैं। सूखे फूलों को घर में रखना अनिष्टकारी माना जाता है।

घर, परिवार या आप पर कोई विपदा आने वाली होती है तो उसका प्रभाव सबसे पहले आपके घर में स्थित तुलसी के पौधे पर होता है। उस पौधे का कितना भी ध्यान रखें धीरे-धीरे वो पौधा सूखने लगता है। तुलसी का एक मात्र पौधा ऐसा है जो आपको पहले ही बता देगा कि आप पर या आपके घर परिवार को किसी विपदा का सामना करना पड़ सकता है।

पुराणों और शास्त्रों के अनुसार माना जाए तो ऐसा इसलिए होता है कि जिस घर पर बिपदा आने वाली होती है उस घर से सबसे पहले लक्ष्मी (तुलसी) चली जाती है। क्योंकि दरिद्रता, अशांति या क्लेश जहां होता है वहां लक्ष्मी जी का निवास नहीं होता।

 


घी का एक दीपक नियमित जलाएं। दीपक पूजा की थाली में भगवान के सामने रखना चाहिए, ऊंची जगह या प्लेटफार्म पर नहीं। पूर्व दिशा की ओर मुख करके पूजा करनी चाहिए, दक्षिण दिशा की ओर नहीं। खंडित दीपक का प्रयोग नहीं करना चाहिए, न घर में रखना चाहिए।

पूजा घर में कोई खंडित प्रतिमा नहीं होनी चाहिए। साथ ही में पूजा वाले कमरे में जूते-चप्पल और झाड़ू बिल्कुल भी नहीं होनी चाहिए। प्रतिमा का आकार छोटा होना चाहिए, बड़ी प्रतिमा घर के पूजाघर में वर्जित हैं।

हनुमान जी का चित्र या प्रतिमा उत्तर दिशा में स्थापित करनी चाहिए ताकि उनका मुख दक्षिण दिशा की ओर रहे। इन्हें दीवार से एक इंच दूर रखना चाहिए।

अपने पूर्वजों के चित्र और खंडित प्रतिमाएं पूजा घर में नहीं रखनी चाहिए। अगर कोई प्रतिमा खंडित हो जाए तो उसे तुरंत जल प्रवाहित करा देना चाहिए। लेकिन शालिग्राम जी की एक मात्र ऐसी प्रतिमा है जिसका खंडित होने से दोष नहीं लगता।

देवी-देवताओं पर चढ़ाए गए पुष्प-पुष्पमाला प्रतिदिन रात्री को ईश्वर शयन कराने के साथ हटा देने चाहिए और भगवान को नित नए पुष्प-पुष्पमाला अर्पित करने चाहिए।

 

Created On :   18 July 2018 8:28 AM GMT

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story