सैन्य प्रमुख बिपिन रावत के बयान के जवाब में चीन ने दिखाए तेवर
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। चीन ने भारतीय सैन्य प्रमुख जनरल बिपिन रावत के बयान के जवाब में उग्र तेवर दिखाए हैं। चीन विवादित क्षेत्र डोकलाम में अपनी सेना की तैनाती बनाए रखेगा। चीन ने कहा है कि डोकलाम पर कोई विवाद नहीं है और उसकी सेना यहां पेट्रोलिंग जारी रखेगी। चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लू कांग ने पाक में सैन्य बेस बनाने और अरुणाचल प्रदेश पर भी अपने देश का नजरिया सामने रखा है।
इससे पहले जनरल रावत ने कहा था कि डोकलाम में सैनिकों की संख्या में कमी आ रही है, इस पर चीन ने कहा है कि वह अपने सैनिकों को डोकलाम से नहीं हटाने जा रहा है। चीन के विदेश मंत्रालय ने कहा है, "डोकलाम चीन का इलाका रहा है और हमेशा से चीन के प्रभावी अधिकार क्षेत्र में है। बीते दिनों ही दोनों देशों के एनएसए ने इस मसले पर मीटिंग की थी। इसके बाद भी कोई हल निकलता नजर नहीं आ रहा है। शांतिपूर्ण तरीके से सीमा विवाद सुलझाने की बात करने वाले चीन का दोहरा रवैया एक बार फिर से सामने आया है।
चीन की पीपुल्स लिब्रेशन आर्मी (पीएलए) के निर्देश पर चीनी जवान पूर्वोत्तर राज्य के टूटिंग सेक्टर में तकरीबन एक किलोमीटर तक अंदर घुसकर सड़क निर्माण कर रहे थे। भारतीय जवानों ने उन्हें निर्माण कार्य से रोक दिया था। अब इसका वीडियो सामने आया है, जिसमें चीनी जवान पीएलए के शीर्ष अधिकारियों के आदेश के बाद सड़क बनाने के लिए क्षेत्र में आने की बात कह रहे हैं। यह वीडियो क्लिप ऐसे समय सामने आया है, जब सेनाध्यक्ष जनरल बिपिन रावत ने एक दिन पहले सोमवार (8 जनवरी) को भारतीय और चीनी सेना द्वारा टूटिंग सेक्टर में सभी विवाद सुलझाने की बात कही थी।
चीनी विदेश मंत्रालय ने कहा है, "चीन की सीमा पर तैनात सैनिक यहां पैट्रोलिंग करते रहेंगे और ठिकाने भी बनाएंगे। ऐतिहासिक समझौतों और संप्रभु देश होने के नाते ऐसा करना चीन का अधिकार है।" वहीं लू कांग ने अरुणाचल प्रदेश पर कहा, "यह फिर से दोहराया जाना चाहिए कि पूर्वी चीन और भारत की सीमा पर बड़ा विवाद है। इसलिए हमें आपसी सहमति से एक नतीजे पर पहुंचना होगा। इससे पहले हमें वहां सुरक्षा और शांति कायम करनी होगी।"
चीनी विदेश मंत्रालय ने पाकिस्तान में भी सैन्य अड्डे बनाने पर कहा, "हमें नहीं पता कि इस बारे में बाहर क्या कहा जा रहा है। सीपीईसी का निर्माण "बेल्ट एंड रोड" बनाने का काफी अहम हिस्सा है। सीपीईसी से दोनों देशों और वहां के लोगों को फायदा होगा। इसलिए दूसरे देशों को इस बारे में ज्यादा दिमाग लगाने की जरूरत नहीं होनी चाहिए।" सरकार से जुड़े सूत्रों का कहना है कि चीनी सड़क निर्माण दल दो एक्सकेवेटर (चट्टानों को तोड़ने और जमीन खोदने वाला) के साथ ऊपरी शियांग जिले के टूटिंग सेक्टर में घुसा था। चीनी जवानों ने गलती से सीमा पार कर भारतीय क्षेत्र में घुसने की बात स्वीकार की है।
Created On :   9 Jan 2018 12:29 PM GMT