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बिल्डर के घर से मिले 97 लाख के पुराने नोट, बड़े अधिकारियों की मिली भगत!
डिजिटल डेस्क, नागपुर। लाखों रुपए के पुराने नोटों की बरामदगी के मामले में पुलिस ने बुधवार को आरोपी बिल्डर के घर पर छापामार कार्रवाई की। यहां चल-अचल संपत्ति के कुछ दस्तावेज पुलिस के हाथ लगे हैं। कार्रवाई देर रात तक जारी थी। उधर, गिरफ्तारी के डर से डॉक्टर और कपड़ा व्यापारी ने अग्रिम जमानत ले ली है, जबकि बिल्डर को एक दिन के PCR में लिया गया है।
न्यू .रामदासपेठ निवासी प्रसन्ना मनोहर पारधी (44) कमल कंस्ट्रक्शन कंपनी का संचालक है। शहर में उसके चार बियर बार भी हैं। मंगलवार की शाम अपराध शाखा के दस्ते ने कोराड़ी रोड स्थित राणा अपार्टमेंट के फ्लैट नंबर 301 में छापा मारा था। कार्रवाई के दौरान प्रसन्ना के कब्जे से 97 लाख 50 हजार रुपए के पुराने नोट जब्त किए गए थे। प्रसन्ना के साथी कपड़ा व्यापारी कुमार सुगानी, ऋषि, वर्धा का एक डॉक्टर और दो लोग भाग गए थे।
फर्जी आरबीआई अधिकारी बनकर दी दबिश
सूचना थी कि नोट बदलने के लिए चूंकि आरबीआई का कोई अधिकारी आने वाला है, इसलिए अपराध शाखा के उपनिरीक्षक दत्ता पेंढकर फर्जी आरबीआई अधिकारी बनकर फ्लैट में पहुंचे। आरोपियों ने उन्हें आरबीआई का अधिकारी मान लिया और लाखों रुपए के पुराने नोटों की बैग उनके हवाले कर दी। सच्चाई का पता चलते ही प्रसन्ना ने दत्ता पेंढकर को पकड़ लिया। इस बीच, बाकी के आरोपी भाग निकले पर भागते-भागते बाहर से दरवाजे की कुंडी लगा दी।
किसी तरह दत्ता पेंढकर ने आला अधिकारियों को फोन पर खुद को बंधक बनाए जाने की जानकारी दी। फरार आरोपी कुमार सुगानी और वर्धा के डॉक्टर ने सेसन कोर्ट में जमानत के लिए याचिका दायर की थी। 8 अगस्त तक अदालत ने उन्हें गिरफ्तारी पूर्व जमानत प्रदान की है।
संगठन के पदाधिकारी भी लिप्त
नोट प्रकरण में लिप्त ऋषि एक संगठन के संचालक का करीबी है। संगठन में ऋषि भी पदाधिकारी है और उद्यमी है। संभावना व्यक्त की जा रही है की ऋषि अपने साथ साथ करीबी नेता के भी रुपए बदलने के लिए आया था। कार्रवाई होते ही वह भाग निकला। इस प्रकरण में कई सफेदपोशों के बेनकाब होने की संभावना है।
सहायक उपायुक्त सोमनाथ वाघचौरे ने कहा कि नोट बदली प्रकरण में कुमार सुगानी, व्यापारी और आरबीआई अधिकारी के बीच बिचौलिए की भूमिका निभा रहा था। लिहाजा कुमार ही आरबीआई अधिकारी का नाम बता सकता है। इसी मुद्दे को अदालत के समक्ष रख हम आरोपियों की जमानत रद्द कराने की तैयारी में हैं।
Created On :   3 Aug 2017 8:46 AM GMT