रिश्तों का कत्ल : अपने ही बहा रहे अपनों का खून, 30 दिन में 10 हत्याएं

Crime rate increase in chhindwara 10 murder in 30 days
रिश्तों का कत्ल : अपने ही बहा रहे अपनों का खून, 30 दिन में 10 हत्याएं
रिश्तों का कत्ल : अपने ही बहा रहे अपनों का खून, 30 दिन में 10 हत्याएं

डिजिटल डेस्क, छिंदवाड़ा। जमीन के टुकड़े और शराब के नशे में मामूली बातों पर विवाद कर अपने ही अपनों का खून बहा रहे है। लोगों का खून किस तरह पानी होता जा रहा है यह इसी बात से जाहिर है कि पिछले 30 दिनों में यहां घटिज10 हत्याओं में चार मामलों में सगे भाइयों ने ही अपने भाई का बेरहमी से कत्ल किया । इसी तरह दो बेटों ने अपने बाप को मौत के घाट उतारा ,जबकि दो पति ऐसे निर्दयी निकले जिन्होंने अपनी पत्नी का सिर कलम कर दिया। यह गिरते सामाजिक मूल्यों का ही परिणाम है कि रिश्तों का इतना अधिक अवमूल्यन हो गया । बीती 29 जून से 29 जुलाई के बीच जिले में दस हत्याओं के मामले सामने आए। इन हत्याओं के खुलासे हुए तो आठ मामलों में अपने ही हत्यारे निकले।  छोटी-छोटी बातों पर शुुरु हुआ विवाद संगीन अपराध में बदल गया। जमीन के लालच, शराब के नशे में लोगों ने रिश्तों का कत्ल करने से भी गुरहेज नहीं किया। डकैती के बाद बुजुर्ग की हत्या जैसे गंभीर मामले जिले में बढ़ते अपराध का बड़ा उदाहरण है। जिले में बढ़ते अपराधों को लेकर आम लोगों में दहशत का माहौल है। लोग अपने ही घर में असुरक्षित महसूस कर रहे है। अपराधों पर अंकुश न लगने से पुलिस प्रशासन की कार्यप्रणाली पर सवालियां निशान उठने लगे है।

शराब बन रही अपराध का कारण

पिछले तीस दिनों में हत्या के दो मामले ऐसे थे जिनमें पारिवारिक कलह के चलते पति ने पत्नी की हत्या कर दी। इन दोनों हत्याओं के पीछे पतियों का शराब का आदी होना बताया जा रहा है। पति की बुरी आदतों से परेशान पत्नियों ने इसका विरोध किया तो विवाद कर उनकी हत्या कर दी गई।

पुराने मामलों के नहीं हुए खुलासे

जिले में आधा दर्जन से अधिक जघन्य हत्या के मामले पेंडिंग है। इन मामलों का अभी तक खुलासा नहीं हो सका है। हर बार क्राइम बैठक में पुलिस अधीक्षक द्वारा थानेदारों को पुराने मामलों के निकाल के निर्देश दिए जाते है। इसके बाद भी पुराने मामलों में से किसी एक भी ही खुलासा नहीं हो सका है।  

Created On :   30 July 2019 11:47 AM GMT

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