नीति आयोग के उपाध्यक्ष बोले- रुपए में गिरावट से नहीं बढ़ेगी महंगाई दर
- 'यह कहना गलत होगा कि रुपए में गिरावट
- महंगाई दर को बढ़ाएगी।'
- 'रुपए का मूल्य महज वो कीमत है जो डिमांड और सप्लाय पर निर्भर करती है।'
- 'रुपए के मूल्य में गिरावट से अंतरराष्ट्रीय बाजार में प्रतिष्ठा कम होने की बातें गलत हैं।'
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। नीति आयोग के उपाध्यक्ष राजीव कुमार ने रुपए में गिरावट से महंगाई दर बढ़ने के दावों को गलत ठहराया है। उन्होंने कहा है कि रुपए का मूल्य, थर्मामीटर में उस पारे की तरह होता है जो तापमान बताता है। जैसे थर्मामीटर में तापमान कुछ निश्चित पैरामीटर के आधार पर घटता-बढ़ता रहता है। ठीक उसी तरह रुपए के मूल्य में भी गिरावट और बढ़ोतरी होती रहती है। उन्होंने कहा, "यह कहना गलत होगा कि रुपए में गिरावट, महंगाई दर को बढ़ाएगी। रुपए का मूल्य महज वो कीमत है जो डिमांड और सप्लाय पर निर्भर करती है।"
राजीव कुमार ने यह भी कहा कि रुपए के मूल्य में गिरावट से अंतरराष्ट्रीय बाजार में देश की प्रतिष्ठा कम होने की बातें भी गलत हैं। देश की प्रतिष्ठा रुपए में गिरावट से नहीं बल्कि विकास दर के उतार-चढ़ाव, गरीब लोगों की संख्या और देश में रोजगार की वृद्धि दर पर निर्भर करती है।
Value of rupee is like temperature in thermometer that falls rises based on certain parameters. It"s wrong to say that fall in rupee value will lead to inflation. Value of rupee is just a price depending on supply and demand: Rajiv Kumar, NITI Aayog VC on rupee depreciation pic.twitter.com/5Vyf7nxocL
— ANI (@ANI) August 21, 2018
राजीव कुमार ने यह बातें उद्योग मंडल CII द्वारा आयोजित कार्यक्रम के बाद मीडिया से बातचीत के दौरान कही। इस कार्यक्रम में राजीव कुमार ने व्यापार घाटे को लेकर खासी चिंता जताई। उन्होंने निर्यात बढ़ाने के उपाय करने का आह्वान किया। कुमार ने कहा, "चिंता का मुख्य कारण व्यापार घाटा है। मुझे लगता है कि निर्यात बढ़ाने के प्रयास करना ज्यादा जरुरी है।"
राजीव कुमार ने यह भी कहा कि आर्थिक नीति में राजकोषीय घाटे के आंकड़ों पर ज्यादा ध्यान देने की जरुरत नहीं है। अमेरिका, चीन तथा यूरोपीय संघ जैसी बड़ी अर्थव्यवस्थाएं राजकोषीय घाटे को ज्यादा महत्व नहीं देती। हमें भी राजकोषीय घाटे से आगे बढ़ने की जरुरत है।
Created On :   21 Aug 2018 2:34 PM GMT