वोडाफोन और आइडिया के मर्जर से जा सकती है 5000 लोगों की नौकरी
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली । वोडाफोन और आइडिया के विलय होने से लगभग 5000 लोगों की नौकरी खतरे में आ सकती है। एक रिपोर्ट के मुताबिक कंपनियां अपने 21 हजार कर्मचारियों में से एक चौथाई कर्मचारियों को हटाने पर विचार कर रही है। दोनों कंपनी साथ आएगी ऐसे में उनके कर्मचारी भी साथ काम करेंगे। दोनों कंपनियों में मिलकर फैसला लिया है कि अब उन्हें इतने कर्मचारियों की जरूरत नहीं है।
दोनों कंपनियां घाटे में चल रही है। दोनों पर लगभग एक लाख 20 हजार करोड़ रुपए का कर्ज बताया जा रहा है। दोनों कंपनियों के विलय के बाद खर्च को कम करने के लिए कर्मचारियों की छटनी का फैसला लिया गया है। कंपनी नहीं चाहती की इस विलय के साथ हो रही शुरुआत घाटे के साथ हो। मर्जर को टेलिकॉम डिपार्टमेंट को छोड़कर दूसरे रेग्युलेटर्स से मंजूरी मिल गई है। मई तक दोनों के विलय की प्रक्रिया पूरी हो जाएगी।
छटनी करते वक्त उन कर्मचारियों की नौकरी बच सकती है जिन्होंने पूरी मेहनत के साथ काम किया है। जिनका प्रदर्शन खराब होगा उनकी नौकरी जा सकती है. एक ही प्रोफाइल पर काम कर रहे लोगों पर भी नौकरी जाने का खतरा बराबर है। एक ही पद पर काम कर रहे कर्मचारियों की संख्या ज्यादा है। संभव है कि इसी आधार पर ज्यादा छटनी हो
मर्जर से क्या होगा दोनों कंपनियों को फायदा
नेटवर्क में आएगा सुधार: दोनों कंपनियों के मर्जर के बाद आइडिया और वोडाफोन एक ही नेटवर्क का उपयोग करेंगी। इससे दोनों कंपनियों के ग्राहकों को बेहतर कनेक्टिविटी मिलेगी।
ग्राहक संख्या: इस विलय के बाद दोनों कंपनियों के ग्राहक 38 करोड़ हो जाएंगे। कंपनियां अपने सर्किल और नेटवर्क का विस्तार करेंगी जिसका फायदा दोनों कंपनियों के मौजूदा और नए ग्राहकों को होगा।
आकर्षक ऑफर: विलय के बाद दोनों कंपनियां देश की सबसे बड़ी टेलीकॉम कंपनी हो गई है। कंपनी इस मौके को भुनाने के लिए नए-नए और आकर्षक ऑफर पेश करेगी।
जियो को टक्कर: मर्जर के बाद कंपनी के पास सबसे ज्यादा ग्राहक हो जाएंगे। ऐसे में कंपनी जियो के सामने मजबूती से खड़ी रहेगी, क्योंकि वोडाफोन-आइडिया का नेटवर्क जियो से कहीं ज्यादा हैं। यह भी हो सकता है कि जियो के ग्राहकों को तोड़ने के लिए नए-नए ऑफर भी पेश किए जाएं।
Created On :   16 April 2018 7:32 AM GMT