हाईकोर्ट ने सरकार से पूछा- 6 हजार करोड़ के घोटाले में अब तक क्या कदम उठाए
डिजिटल डेस्क, मुंबई। बांबे हाईकोर्ट ने आदिवासी विभाग में हुए 6 हजार करोड रुपए के कथित घोटाले की जांच को लेकर पूर्व न्यायाधीश की ओर से सौपी गई रिपोर्ट के आधार पर सरकार ने अब तक कौन से कदम उठाए हैं? यह घोटाला आदिवासी विभाग की ओर से विभिन्न समानों की खरीदारी में होने का दावा किया किया गया है। हाईकोर्ट ने सरकार को एक सप्ताह में हलफनामा दायर करने का निर्देश दिया है। अदालत ने इस मामले की जांच को लेकर दायर जनहित याचिका को समाप्त करते हुए अप्रैल 2014 में पूर्व न्यायाधीश एमजी गायकवाड की अध्यक्षता में कमेटी गठित की थी।
कमेटी ने अपनी रिपोर्ट में इस प्रकरण में राज्य के पूर्व मंत्री और अब भारतीय जनता पार्टी विधायक विजय कुमार गावित की भूमिका को उजागर किया था। कमेटी ने मुख्य रुप से गावित के मंत्री के रुप में 2004 से 2009 के कार्यकाल की जांच की थी। लेकिन सरकार ने 3 नवंबर 2017 को इस मामले को देखने के लिए पूर्व आईएएस अधिकारी की अध्यक्षता में जांच कमेटी का गठन किया है। जो नए सिरे से इस प्रकरण की जांच करेगा। जिसे रद्द करने की मांग को लेकर गुलाब पवार ने हाईकोर्ट में आवेदन दायर किया गया है।
सरकार ने कौन से कदम उठाए ?
जस्टिस शांतनु केमकर व न्यायमूर्ति एमएस कर्णिक के सामने जब यह मामला सुनवाई के लिए आया, तो खंडपीठ ने कहा कि नए सिरे से जांच को लेकर हमारी अपनी आशंकाएं हैं, लेकिन पहले हम जानना चाहते हैं कि गायकवाड कमेटी की ओर रिपोर्ट में घोटाले के लिए जिन लोगों को जिम्मेदार ठहराया गया है, उनके खिलाफ मुकदमा चलाने की दिशा में सरकार ने कौन से कदम उठाए हैं? हाईकोर्ट ने फिलहाल मामले की सुनवाई 26 अप्रैल तक के लिए स्थगित कर दी है।
Created On :   19 April 2018 3:06 PM GMT