गैरकानूनी तरीके से भारत लाई जा रही है सुपारी, रेवेन्यू इंटेलिजेंस से जवाब तलब

hearing on a petition for import of supari in high court
गैरकानूनी तरीके से भारत लाई जा रही है सुपारी, रेवेन्यू इंटेलिजेंस से जवाब तलब
गैरकानूनी तरीके से भारत लाई जा रही है सुपारी, रेवेन्यू इंटेलिजेंस से जवाब तलब

डिजिटल डेस्क, नागपुर। गैरकानूनी तरीके से सड़ी सुपारी नागपुर लाकर बेचने का गोरखधंधा जारी है। जिसके तार विदेश से जुड़े हैं। मामले में सोमवार को हाईकोर्ट में दायर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई। आनंद परचुरे ने कोर्ट में दलील दी कि यह गोरखधंध न केवल बीमारियां खड़ी कर रहा है। बल्कि बड़े फर्जीवाड़े को उजागर करता है। अवैध रूप से भारत में सुपारी लाना फॉरेन एक्सजेंज के दायरे में आता है। इस मामले अब हाईकोर्ट ने डायरेक्ट्रेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलिजेंस (राजस्व आसूचना निदेशालय) से दो सप्ताह में जवाब मांगा है।

यह है मामला
याचिकाकर्ता मेहबूब ए. के. चिमथानवाला के अनुसार उपराजधानी में हरदिन 500 करोड़ रुपए की सुपारी का व्यवसाय होता है। जब्कि मूल रूप से यह सुपारी इंडोनेशिया की है। उत्पादन के दौरान खराब सुपारी वहां डंपिंग यार्ड में फेंक दी जाती है, जिसे नागपुर मंगवाया जाता है। इसके बाद वही खराब सुपारी लोगों की जान से खिलवाड़ कर रही है। जब्कि सुपारी इंडोनिशिया से भारत आयात की जाए, तो उसपर 113 प्रतिशत ड्यूटी लगती है। यदि सार्क देशों के किसी सदस्य देश से सुपारी मंगवाई जाए, तो उसपर मात्र 7 से 13 प्रतिशत ड्यूटी चुकानी होती है। 

सरकार को करोड़ों का चूना
इस मामले बड़ा भांडाफोड़ किया गया है। जिसके तहत कुछ सुपारी व्यापारियों ने इंडोनेशिया और नेपाल (जो सार्क सदस्य देश हैं) में फर्जी कंपनियां खोल रखी हैं। इंडोनेशिया में तैयार सुपारी फर्जी कंपनी की मदद से पहले नेपाल भेजी जाती है। इसके बाद वहां से भारत लाई जाती है। ऐसा करके धोखाधड़ी करने वाले व्यापारी सरकार को करोड़ों रुपए के राजस्व का चूना लगा रहे हैं। इसके अलावा घटिया दर्जे की सुपारी लोगों की सेहत बिगाड़ रही है। कोर्ट ने इस मामले में रेवेन्यू इंटेलिजेंस से जवाब तलब किया है।

Created On :   13 Nov 2017 6:20 PM GMT

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