म्यांमार बॉर्डर पर सेना ने कई उग्रवादियों को मार गिराया, जानिए अब तक के सभी अपडेट्स

Indian Army launches anti-terror operation along Indo-Myanmar border
म्यांमार बॉर्डर पर सेना ने कई उग्रवादियों को मार गिराया, जानिए अब तक के सभी अपडेट्स
म्यांमार बॉर्डर पर सेना ने कई उग्रवादियों को मार गिराया, जानिए अब तक के सभी अपडेट्स

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। भारतीय सेना ने बुधवार सुबह एक बड़े ऑपरेशन को अंजाम दिया है। एक बार फिर से भारत ने म्यांमार बॉर्डर पर जाकर कई उग्रवादियों को मार गिराया। बुधवार सुबह 4:45 बजे भारतीय सेना ने नागा उग्रवादियों के खिलाफ बड़ा ऑपरेशन चलाया। इस ऑपरेशन में कई उग्रवादियों के मारे गए। इसके अलावा इन उग्रवादियों के कई कैंप्स को भी भारतीय सेना ने निशाना बनाकर तबाह कर दिया। सेना का यह ऑपरेशन असम-नगालैंड बॉर्डर के पास हुआ।

बता दें कि उड़ी में हुए सर्जिकल स्ट्राइक को 29 सितंबर को एक साल पूरे हो रहे हैं। लेकिन भारतीय सेना ने इस ऑपरेशन को अंजाम देने के लिए 26 सितंबर की रात को ही तैयारियां शुरू कर दीं थीं। तब 19 भारतीय जवानों ने 26 सितंबर की रात साढ़े आठ बजे अपने ठिकानों से पैदल चलना शुरू किया और 25 मिनटों में उन्होंने एलओसी को पीछे छोड़ दिया। ऐसे में पिछले साल हुए सर्जिकल स्ट्राइक की तारीख पर भारतीय सेना म्यांमार बॉर्डर पर जाकर कई उग्रवादियों को मार गिराना भी दूसरी सर्जिकल स्ट्राइक के तौर पर देखा जा रहा है। हालांकि सेना ने इससे इनकार किया है।

कहां हुआ ये ऑपरेशन?

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, भारतीय सेना ने ये ऑपरेशन इंडो-म्यांमार बॉर्डर पर लंगखू गांव में किया है। इस गांव में नागालैंड के उग्रवादी संगठन एनएससीएन (के) के उग्रवादी कैंप लगाकर रुके हुए थे। गांव में पहुंचकर भारतीय सेना ने इन कैंप्स पर हमला किया, जिससे इस संगठन के कई उग्रवादियों को नुकसान पहुंचा है। इसके साथ ही इस ऑपरेशन में कई उग्रवादियों के मारे जाने की भी खबर है। इस बात की जानकारी भारतीय सेना के ईस्टर्न कमांडर ने दी है। 

2 साल पहले भी म्यांमार में ऐसा कर चुकी है सेना

ये पहली बार नहीं है जब भारतीय सेना ने म्यांमार बॉर्डर पर इस तरह के ऑपरेशन को अंजाम दिया है। इससे पहले 2015 में भी भारतीय सेना म्यांमार बॉर्डर के करीब 2 किमी तक अंदर घुस गई थी। इस ऑपरेशन में भारतीय सेना ने उग्रवादियों के 2 कैंप तबाह कर दिए थे, जबकि इस ऑपरेशन में कम से कम 100 उग्रवादियों के मारे जाने की खबर थी। 

सर्जिकल स्ट्राइक से निवेश के लिए बढ़ी सोने की मांग

भारतीय सेना की तरफ से म्यांमार बॉर्डर पर आतंकियों के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक की वजह से सोने की निवेश मांग में इजाफा हुआ। बुधवार को घरेलू बाजार में भाव में 220 रुपए का उछाल आया। दिल्ली के सराफा बाजार में आज सोने की कीमत 220 रुपए की तेजी के साथ 31,000 रुपए प्रति 10 ग्राम हो गई।

इस वजह से भारतीय सेना ने ऑपरेशन के लिए नगा आतंकियों को चुना
दरअसल, नॉर्थ ईस्ट राज्यों में आतंकी वारदातों की अपेक्षाकृत कम खबरें नेशनल मीडिया में आती हैं। जबकि आंकड़ों पर नजर डालें तो नगा आतंकी लंबे समय से नॉर्थ-ईस्ट के राज्यों में आतंक फैला रहे हैं।

  • नगा आतंकियों का संगठन नेशनल सोशलिस्ट काउंसिल ऑफ नगालैंड (NSCN-K)  मिजोरम, मणिपुर, और अरुणाचल प्रदेश में काफी सक्रिय रहे हैं। वे यहां आए दिन स्थानीय लोगों को अपना निशाना बनाते रहते हैं। ये भारतीय सीमा में वारदात को अंजाम देकर म्यांमार की सीमा में घुस जाते हैं।
  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसी साल नॉर्थ-ईस्ट राज्यों के दौरे पर कहा था कि सेना यहां सक्रिय आतंकियों और उग्रवादियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करेगी। सितंबर 2017 से सेना यहां आतंकवादियों और उग्रवादियों के खिलाफ ऑपरेशन चला रही है। यह ऑपरेशन उसी का हिस्सा है।
  • नगा आतंकियों पर आरोप लगते रहे हैं कि वह चीन के भी संपर्क में रहते हैं।

कौन है नगा विद्रोही NSCN

नागालैंड के कई अलगाववादी ग्रुप पिछले कई सालों से भारत से अलग होने की मांग करते आए हैं। इन गुटों ने मिलकर 31 जनवरी 1980 को नेशनल सोशलिस्ट काउंसिल ऑफ नागालैंड नाम का एक संगठन बनाया, लेकिन बाद में गुट में फूट पड़ गई। जिसके बाद 30 अप्रैल 1988 को एनएससीएन खापलांग ने अपना अलग गुट बना लिया। ये गुट सालों से भारत से अलग होने की मांग पर अड़ा हुआ है। 

 

Created On :   27 Sep 2017 10:24 AM GMT

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story