कभी उड़ाई थी अंग्रेजो की नींद, उनकी याद में बनी लाइब्रेरी उपेक्षा का शिकार

Library neglacted, which was made in memory of freedom fighter
कभी उड़ाई थी अंग्रेजो की नींद, उनकी याद में बनी लाइब्रेरी उपेक्षा का शिकार
कभी उड़ाई थी अंग्रेजो की नींद, उनकी याद में बनी लाइब्रेरी उपेक्षा का शिकार

डिजिटल डेस्क,नागपुर। जिस तरह नेताजी सुभाषचंद्र बोस ने आजाद हिंद सेना की स्थापना कर अंग्रेजों की नाक में दम कर रखा था, उसी तरह नागपुर में हिंदुस्तानी लाल सेना ने अंग्रेजों की नींद उड़ा दी थी। इस सेना के संस्थापक मगनलाल बागड़ी थे। स्वतंत्रता आंदोलन के दौरान किए गए उनके कामों को देखते हुए नागपुर महानगर पालिका ने गांजाखेत से हंसापुरी की ओर जाने वाले मार्ग पर उनके नाम से एक लाइब्रेरी बनाई है। 1987 में 1200 वर्ग फीट जमीन पर इसका निर्माण शुरू हुआ। उस समय इस पर करीब 2 लाख रुपए खर्च किए गए थे। 19 सितंबर 1989 को तत्कालीन केंद्रीय ऊर्जा मंत्री वसंत साठे के हाथों इसका लोकार्पण हुआ था। अब यह लाइब्रेरी प्रशासन की अनदेखी के कारण बदहाली का शिकार है।

परिसर में कचरे की गाड़ियां
लाइब्रेरी और कंपाउंड वॉल के बीच की खुली जगह को लोग टॉयलेट के रूप में इस्तेमाल करते हैं। यहां। मनपा का कोई सुरक्षाकर्मी तैनात नहीं है। इसी लाइब्रेरी के सामने मिनी डंपिंग यार्ड है। यहां पूरे प्रभाग का कचरा जमा किया जाता है। दिन भर यहां गंदगी और कचरा पसरा रहता है। दिन निकलते ही लाइब्रेरी के सामने कचरे के ढेर लगने शुरू हो जाते हैं। कभी-कभी यह कचरा और गंदगी लाइब्रेरी के प्रवेश द्वार तक फैल जाता है। बताया जा रहा है कि यहां हर रोज 2-3 ट्रक कचरा जमा हो जाता है। कभी-कभी कचरा नहीं उठने पर पूरी सड़क जाम हो जाती है।

अंदर का नजारा करता शर्मसार
स्वाधीनता सेनानी मगनलाल बागड़ी के नाम पर बनाए गई लाइब्रेरी के अंदर का हाल शर्मसार कर देता है। इस लाइब्रेरी का सही ढंग से व्यवस्थापन नहीं होने से काफी समस्याएं पैदा हो चुकी हैं। यहां के हर कोने को सफाई की दरकार है। अलमारियां टूट-फूट चुकी हैं। साहित्यिक सामग्री क्रमवार नहीं लगी हैं। इन पर धूल चढ़ चुकी है। कई किताबें अलमारियों के मुहाने तक ठूंस दी गई हैं। इससे किताबें खराब होने लगी हैं। अखबारों और मासिकों को वाचनालयीन नियमों के अनुसार सहेजकर नहीं रखा गया है। रखरखाव के अभाव में महत्वपूर्ण साहित्य खराब हो रहे हैं। टेबल-कुर्सियां तो रखी गई हैं, लेकिन पाठक न के बराबर आते हैं।

डंपिंग हटाने का किया था प्रयास
28 साल पहले तत्कालीन केंद्रीय ऊर्जा मंत्री वसंत साठे ने इस लाइब्रेरी का लोकार्पण किया था। इस दौरान क्षेत्र के तत्कालीन विधायक शौकत कुरैशी और जिले के पालकमंत्री दत्ता मेघे उपस्थित थे। उस समय यह वार्ड क्रमांक 46 था। यहां के तत्कालीन पार्षद कृष्णा कावले, महापौर डोमाजी जाधव और उपमहापौर नरेश पटेल के प्रयासों से इस लाइब्रेरी का निर्माण किया गया था। लाइब्रेरी तो बन गई, लेकिन पुराना कचराघर (अब मिनी डंपिंग यार्ड) वाचनालय के सामने होने से लोग यहां आने में हिचकिचा रहे थे। इसलिए कुछ जागरूक नागरिकों ने प्रयास कर गांजाखेत चौक के सार्वजनिक शौचालय के समीप कचराघर ले जाने की कोशिश की थी। उस समय वहां के कुछ लोगों ने नए कचराघर का विरोध किया था। इसलिए यह कचरा घर अब भी वाचनालय के सामने मिनी डंपिंग यार्ड का रूप ले चुका है। अब यहां आसपास के क्षेत्र का कचरा डंप किया जाता है। बाद में अपनी सुविधानुसार कनक रिसोर्सेस इसे उठाकर भांडेवाड़ी ले जाती है। छुट्टी या अन्य अवसरों पर यहां दो-दो दिन कचरा पड़ा रहता है।

मनपा को ध्यान देने की जरूरत
पूर्व पार्षद कृष्णा कावले कहते है कि मगनलाल बागड़ी वाचनालय हमारे शहर की शान है। मनपा प्रशासन ने इस वाचनालय के रखरखाव कर उसके सौंदर्यीकरण करने और कचराघर हटाने की दिशा में प्रयास करना चाहिए। प्रभाग क्रमांक 19 के पार्षद संजय बालपांडे का कहना है कि फंड के अभाव में यहां का काम नहीं हो रहा है। कचरा उठाने की गाड़ियां महंगी होती है, इसलिए उन्हें वाचनालय परिसर की खुली जगह पर रखा जाता है। बाहर रखने पर चाोरी जाने का डर बना रहता है।  वाचनालय के भीतर सफाई विभाग का अस्थायी कार्यालय होने की मुझे जानकारी नहीं है।

हिंदुस्तानी लाल सेना के संस्थापक सदस्य नारायणराव चांदपुरकर ने बताया कि मैं हिंदुस्तानी लाल सेना में संदेशवाहक था। मुझे साइकिल ब्वॉय के नाम से पुकारा जाता था। सेना कार्यालय या घर से निकलने के बाद अंग्रेजों की निगाहें मुझ पर लगी रहती थी। आजादी के आंदोलन में मगनलाल बागड़ी की भूमिका कितनी महत्वपूर्ण थी, यह शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता। आज भी हमारा दिन लाल सेना और बागड़ी जी की याद से शुरू होता है। प्रशासन ने उनके नाम पर जो वाचनालय बनाया है, उसकी सुंदरता और रख-रखाव का पूरा ध्यान रखना चाहिए। यही हमारे स्वाधीनता सेनानियों को सच्ची श्रद्धांजलि होगी। 
 

Created On :   6 Oct 2017 5:17 AM GMT

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