दूध की खरीदारी बंद करेगा दुग्ध संघ, मूल्यों पर नहीं बनी बात

Meeting between government, milk associations and milk cooperative societies
दूध की खरीदारी बंद करेगा दुग्ध संघ, मूल्यों पर नहीं बनी बात
दूध की खरीदारी बंद करेगा दुग्ध संघ, मूल्यों पर नहीं बनी बात

डिजिटल डेस्क, मुंबई। दूध की दर को लेकर प्रदेश सरकार और दूध संघों व दूध सहकारी संस्थाओं के बीच हुई बैठक में बात नहीं बन पाई। महाराष्ट्र राज्य सहकारी दूध संघ कृति समिति ने 1 दिसंबर से दूध संकलन बंद करने की चेतावनी दी है। किसानों से दूध खरीदने वाला दूध संघ गाय के दूध के लिए बढ़े हुए 27 रुपए प्रति लीटर के हिसाब से भाव देने को तैयार नहीं है। दुग्ध विकास मंत्री महादेव जानकर ने दूध दर पर स्थाई फार्मूला तय करने के लिए सरकार के दुग्ध विकास विभाग के सचिव विकास देशमुख की अध्यक्षता में समिति गठित कर दी है। जानकर ने कहा कि सरकार दूध की दर के लिए गन्ने की तर्ज पर 70-30 फार्मूला लागू करने के लिए कानून बनाना चाहती है। 

 

दूध संघों के प्रतिनिधियों के साथ बैठक

गुरुवार को मंत्रालय में जानकर की अध्यक्षता में विभिन्न दूध संघों के प्रतिनिधियों के साथ बैठक हुई। जानकर ने स्वीकार किया कि दूध संघ गाय के दूध के लिए प्रति लीटर 27 रुपए दर देने को तैयार नहीं है। जानकर ने कहा कि सरकार की तय की गई कीमत के अनुसार ही दूध संघों को किसानों को राशि देनी पड़ेगी। जानकर ने कहा कि विश्व बाजार में मंदी होने के कारण दूध के पावडर को उचित दाम नहीं मिल पा रहा है। दूध संघों की तरफ से किसानों से दूध संकलन न करने की बात पर जानकर ने कहा कि चेतावनी देना उनका कर्तव्य है लेकिन सरकार ऐसी स्थिति नहीं आने देगी। दूध संघ किसानों के हितों को ख्याल रखेंगे।

 

1 दिसंबर से होगी परेशानी

दूध उत्पादक व कल्याणकारी संघ के अध्यक्ष विनायक पाटील का कहना है कि वो 27 रुपए प्रति लीटर के हिसाब से किसानों को राशि देने के लिए तैयार हैं। लेकिन सरकार को दूध खरीद में होने वाले प्रति लीटर 7 रुपए नुकसान की भरपाई के लिए अनुदान देना चाहिए। सरकार को अतिरिक्त दूध खरीदना चाहिए। दूध से पावडर बनाने के लिए प्रति लीटर 4 रुपए की दर से अनुदान देना चाहिए। यदि सरकार ने 30 नवंबर तक कोई ठोस फैसला नहीं लिया तो 1 दिसंबर से दूध संकलन बंद होना निश्चित है।

Created On :   9 Nov 2017 5:31 PM GMT

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