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भरत मर्डर केस : ट्यूशन टीचर आरोपी, बच्चे की मां से करता था प्यार
डिजिटल डेस्क,भोपाल। बैरागढ़ के क्राइस्ट मेमोरियल स्कूल के 8 वर्षीय छात्र भरत के मर्डर केस की गुत्थी सुलझ गई है। इस मामले में आरोपी ट्यूशन टीचर ने अपना गुनाह कुबूल कर लिया है। DIG संतोष कुमार सिंह ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर इस बात की जानकारी दी है। उन्होंने बताया है कि इस मामले में हिरासत में लिए गए आरोपी बिट्टू उर्फ विशाल रुपाणी ने भरत की हत्या करने की बात कुबूल की है। आरोपी ने यह भी कुबूल किया है कि वह बच्चे की मां सविता से एकतरफा प्यार करता था और सविता के न मानने के चलते उसने यह कदम उठाया। आरोपी का कहना है कि उसने बच्चे की मां से बदला लेने के चलते यह हत्या की है।
गौरतलब है कि क्राइस्ट मेमोरियल स्कूल में दूसरी कक्षा के छात्र भरत की लाश सोमवार रात एक बोरे में मिली थी। आरोपी ने मासूम की हत्या कर शव को बोरे में भरकर मुबारकपुर जोड़ के पास झाड़ियों में फेंक दिया था। इसके बाद परिजनों ने ट्यूशन टीचर पर हत्या करने का शक जताया था, जिसके आधार पर आरोपी को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया जहां उसने अपना गुनाह कुबूल कर लिया।
इस मामले में मासूम की मां सविता महावर ने ट्यूशन टीचर पर पर हत्या का आरोप लगाए थे। सविता ने बताया था कि आरोपी विशाल उससे एक तरफा प्रेम करता था। विशाल की नीयत ठीक नहीं थी। इसी कारण उन्होंने बच्चों की ट्यूशन छुड़वा दी थी। विशाल ने धमकी दी थी कि वो अपने पति को छोड़कर उसके पास आ जाए नहीं तो वो उसे बर्बाद कर देगा।
बता दें कि सोमवार को स्कूल की छुट्टी होने के बाद से ही भरत लापता था। घर नहीं पहुंचने पर परिजनों ने खोजबीन शुरू की। ढूंढते हुए स्कूल पहुंचने पर स्कूल प्रबंधन ने बताया कि वो घर जा चुका है। काफी तलाशने के बाद परिजनों ने बैरागढ़ थाने में भरत की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई।
पुलिस शिकायत के आधार पर तलाश कर ही रही थी कि देर शाम परवालिया पुलिस को जानकारी मिली कि मुबारकपुर जोड पर स्कूली छात्र की लाश पड़ी है। परवलिया पुलिस ने शव मिलने के बाद बाहर निकाला तो गले में इतनी कसकर गांठें लगी थीं कि इन्हें पुलिस भी नहीं खोल पाई। हत्या के बाद आरोपी ने बोरी में बच्चे का शव ठूंसकर उसमें बैग और जूते भरकर उसे सिल दिया था, जिससे कोई कुछ समझ न पाए। एसएफएल के डॉ. अतुल गौर ने बताया कि मासूम के घुटने पर घसीटे जाने के जख्म मिले हैं। यह निशान आरोपी के गला दबाने के दौरान भरत के संघर्ष करने के दौरान आए होंगे, लेकिन उम्र कम होने के कारण वह ज्यादा देर तक संघर्ष नहीं कर पाया।
भरत की हत्या की जानकारी लगते ही परिजनों ने बैरागढ़ थाने पर हंगामा किया। परिजनों ने पुलिस पर लापरवाही का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि शिकायत के बाद भी पुलिस ने मामले को गंभीरता से नहीं लिया। अगर समय रहते एक्शन लिया जाता तो भरत जिंदा होता।
भरत की छोटी बहन कनक की आंखोंदेखी ने इस मामले को लगभग सुलझा दिया था। कनक ने कहा था, "छुट्टी होने पर मैं स्कूल के बाहर आ गई। भाई झूला झूलते दिखा था। उसके बाद वह गायब हो गया। ऑटो में जाते वक्त वह बिट्टू (विशाल) अंकल के साथ दिखा था। वह गली में छिप रहा था। तभी नकाब पहनकर बिट्टू अंकल ने भरत को बोरे में भर लिया"
Created On :   9 Jan 2018 6:10 AM GMT