नागपुर में विधानसभा के लिए बनेगी नई आलीशान इमारत, अंडरग्राउंड पार्किंग की भी सुविधा

New building with Underground parking to be built for Legislative Council in Nagpur
नागपुर में विधानसभा के लिए बनेगी नई आलीशान इमारत, अंडरग्राउंड पार्किंग की भी सुविधा
नागपुर में विधानसभा के लिए बनेगी नई आलीशान इमारत, अंडरग्राउंड पार्किंग की भी सुविधा

डिजिटल डेस्क, नागपुर। विधान भवन परिसर में जल्द ही नई इमारत दिखाई देगी। फिलहाल भूमिगत पार्किंग, मंत्रियों के नए कार्यालय और कैंटीन के निर्माण कार्य के लिए भूमिपूजन हो चुका है। जल्द ही इसका निर्माण शुरु होगा। विधान परिषद की मौजूदा इमारत में जगह की काफी कमी है। 78 सदस्यों वाले इस सदन के लिए अब विधान भवन परिसर में ही नई इमारत बनाई जाएगी। विधानसभा अध्यक्ष हरिभाऊ बागडे ने बताया कि अभी जिस स्थान पर राष्ट्रवादी कांग्रेस, समाजवादी पार्टी और शेकाप आदि के कार्यालय हैं, उसी जगह पर विधान परिषद की नई इमारत बनाई जाएगी। जबकि परिसर में मौजूदा कैंटीन को हटा कर उसकी जगह तीन मंजिला इमारत बनाने का कार्य जल्द शुरु किया जाएगा। 

फडणवीस के हाथों हुआ भूमिपूजन
नई इमारत के इस हिस्से लिए मंगलवार को ही मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के हाथों भूमिपूजन किया गया था। विधानसभा अध्यक्ष ने बताया कि मौजूदा कैंटीन को तोड़ कर उसकी जगह अंडरग्राउंड वाहन पार्किंग अलावा तीन मंजिला इमारत बनाई जाएगी। इसमें मंत्रियों के कार्यालय और कैंटीन होगी। 

अंग्रेजों के जमाने की है इमारत
विधानभवन इमारत 100 वर्ष से ज्यादा पुरानी है। इसका निर्माण ब्रिटिश काल में हुआ था। चूने और सैंडस्टोन से बनी इमारत की नींव एक शताब्दी पहले 17 दिसंबर 1912 को रखी गई थी। पांच एकड़ में अंग्रेजी के अक्षर "ई" की डिजाइन में बनी इमारत एक नहीं, बल्कि दो-दो राज्यों के राजनीतिक इतिहास की गवाह रही है। इस इमारत का निर्माण 1914 में पूरा हुआ। लेकिन 17 दिसंबर 1912 को "चार्ल्स बैरन ऑफ पेंसहर्ट, वाइसराय एंड गवर्नर के हाथों इसकी नींव रखी गई। इसका डिजाइन प्रसिद्ध आर्किटेक्ट थॉमस मॉन्टेक्यू ने तैयार किया था। आजादी के बाद 1956 तक यहां मध्य प्रांत विधानसभा के अधिवेशन होते रहे।

दो राज्यों से जुड़ा इतिहास
महाराष्ट्र विधानमंडल के दोनों सदनों का पहला अधिवेशन 10 नवंबर से 6 दिसंबर 1960 को इस विधानभवन में हुआ। 1960 से पहले, नागपुर और विदर्भ इलाका "मध्य प्रांत" का हिस्सा था। तब इसी विधानभवन में आज के मध्य प्रदेश की विधानसभा लगा करती थी। 1 मई 1960 को नागपुर सहित विदर्भ का इलाका नव गठित महाराष्ट्र का हिस्सा बन गया। तब हुए "नागपुर करार" के तहत नागपुर को महाराष्ट्र की उपराजधानी का दर्जा मिला और तय हुआ कि राज्य विधानमंडल का शीतकालीन सत्र नागपुर में होगा।  

Created On :   11 July 2018 2:46 PM GMT

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