NIA ने की सिफारिश, 'टेरर फंडिंग' रोकना है तो बंद करें 'क्रॉस बॉर्डर ट्रेड'

Nia advice home ministry to close cross border trade
NIA ने की सिफारिश, 'टेरर फंडिंग' रोकना है तो बंद करें 'क्रॉस बॉर्डर ट्रेड'
NIA ने की सिफारिश, 'टेरर फंडिंग' रोकना है तो बंद करें 'क्रॉस बॉर्डर ट्रेड'

डिजिटल डेस्क,जम्मू-कश्मीर। देश में बढ़ रहे आतंकवाद को कम करने के मकसद से राष्टीय सुरक्षा एजेंसी (NIA) ने ग्रह मंत्रालय से सिफारिश की है कि "टेरर फंडिंग" को रोकने के लिए क्रॉस बॉर्डर ट्रेड को बंद कर देना चाहिए। 2008 में पाकिस्तान के साथ क्रास बॉर्डर ट्रेड की शुरुआत हुई थी।

स्टैंडर्ड ऑपरेटिंग प्रोसीजर का पालन नहीं
NIA ने अपनी 80 पेज की रिर्पोट में ये साफ किया है कि गृह मंत्रालय ने क्रॉस बॉर्डर ट्रेड के लिए जो स्टैंडर्ड ऑपरेटिंग प्रोसीजर बनाया था। उसका पालन नहीं किया गया,साथ ही NIA ने गृह मंत्रालय को साफ कर दिया है कि पिछले कुछ महीनों से क्रॉस बॉर्डर ट्रेड के जरिए ही ज्यादातर टेरर फंडिंग हुई। जो भारत के लिए खतरनाक है तो इस बात को ध्यान में रखते हुए  क्रॉस बॉर्डर ट्रेड को आगे जारी रखना ठीक नहीं है। गौरतलब है कि  कि NIA ऑपरेशन हुर्रियत की जांच के साथ-साथ क्रॉस बॉर्डर ट्रेड से होने वाली टेरर फंडिंग की जांच कर रही है।

 मेल टुडे की रिर्पोट
अमेरिकी अखबार मेल टुडे ने अपनी रिपोर्ट में ये खुलासा किया था कि पाकिस्तान क्रॉस बॉर्डर ट्रेड के जरिए टेरर फंडिंग कर रहा है। जिसमें बॉर्डर पर सक्रिय ट्रेडर और हवाला कारोबारी से लेकर कई लोगों का नेटवर्क शामिल है। इतना ही नहीं अमृतसर, श्रीनगर और पुरानी दिल्ली से भी कुछ व्यापारी शामिल हैं। जिनसे एनआईए पूछताछ भी कर चुकी है। ये सभी लोग बॉर्डर ट्रेड के जरिए पत्थरबाजों और आतंकियों को मदद पहुंचाते हैं।

पहले NIA ने केंद्र सरकार को जो रिपोर्ट सौंपी थी उसमें बताया गया था। कि 2010-11 से लेकर 2015-16 के बीच क्रॉस-बॉर्डर ट्रेड से  500 करोड़ रुपए का फंड इक्कट्ठा हुआ था। व्हिसल ब्लॉवर अपरेश गर्ग के मुताबिक यह आंकड़ा लगभग 800 करोड़ रुपये सालाना भी हो सकता है। 2009-10 में जब पाकिस्तान की ओर से भारतीय बाजारों में लगातार सामान आता था, तब भी NIA ने सरकार को चेताया था।

Created On :   29 July 2017 4:14 AM GMT

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