भाजपा सांसद शेट्‌टी के चुनाव को चुनौती देने वाली निरुपम की याचिका खारिज

Nirupams plea rejected, which challenged on BJP MP Shettys election
भाजपा सांसद शेट्‌टी के चुनाव को चुनौती देने वाली निरुपम की याचिका खारिज
भाजपा सांसद शेट्‌टी के चुनाव को चुनौती देने वाली निरुपम की याचिका खारिज

डिजिटल डेस्क, मुंबई। बांबे हाईकोर्ट ने मुंबई कांग्रेस अध्यक्ष संजय निरुपम की याचिका को खारिज कर दिया है। याचिका में निरुपम ने भारतीय जनता पार्टी के सांसद गोपाल शेट्‌टी के 2014 लोकसभा चुनाव को चुनौती दी थी। उत्तर मुंबई से शेट्‌टी के खिलाफ चुनाव लड़नेवाले निरुपम ने याचिका में मांग की थी कि शेट्‌टी के चुनाव को रद्द किया जाए। निरुपम ने याचिका में दावा किया था कि शेट्‌टी ने लोकसभा चुनाव के लिए भरे नामांकन पत्र में बोरीवली स्थित अपनी एक संपत्ति के बारे में जानकारी नहीं दी थी।

शेट्‌टी की ओर से पैरवी कर रहे वकील अमरेंद्र मिश्रा ने निरुपम की याचिका का विरोध करते हुए कहा कि निरुपम ने जिस संपत्ति का याचिका में जिक्र किया है, वह उनके नाम पर नहीं है। वह काफी पहले एक हाउसिंग सोसायटी के नाम पर हो गई थी। कानून के तहत हाउसिंग सोसायटी जमीन की मालिक हो जाती है। इसके अलावा इस सोसायटी के फ्लैट साल 2010 में ही बिक गए थे। ऐसे में शेट्‌टी के नाम पर संपत्ति होने का सवाल ही नहीं पैदा होता। इसके अलावा जन प्रतिनिधित्व कानून में संपत्ति का खुलासा न करने पर किसी कार्रवाई का प्रावधान नहीं है।

जस्टिस मृदुला भाटकार ने मामले से जुड़े दोनों पक्षों को सुनने के बाद शुक्रवार को अपना फैसला सुनाते हुए निरुपम की याचिका को खारिज कर दिया। जस्टिस ने कहा कि हमे शेट्‌टी द्वारा नामांकन फार्म के साथ दिए गए हलफनामे में संपत्ति का खुलासा न करने पर कोई खामी नजर नहीं आती है। उन्होंने हलफनामे में संपत्ति के बारे कोई गलत जानकारी नहीं दी है, उनसे सिर्फ एक संपत्ति की जानकारी छूट गई है। जन प्रतिनिधित्व कानून की धारा 33 ए में संपत्ति के खुलासे को लेकर कोई खास प्रावधान नहीं है। यह बात कहते हुए जस्टिस ने निरुपम की याचिका को खारिज कर दिया।

Created On :   30 Nov 2018 3:33 PM GMT

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