समाजसेवी स्वरुपचंद्र गोयल का निधन, मुख्यमंत्री ने दी श्रद्धांजलि

Social-worker Swaroop Chandra Goyal passed away, CM paid tribute
समाजसेवी स्वरुपचंद्र गोयल का निधन, मुख्यमंत्री ने दी श्रद्धांजलि
समाजसेवी स्वरुपचंद्र गोयल का निधन, मुख्यमंत्री ने दी श्रद्धांजलि

डिजिटल डेस्क, मुंबई। श्री हरि सत्संग समिति के संस्थापक व वरिष्ठ समाजसेवी स्वरूप चंद गोयल का सोमवार को निधन हो गया। श्री गोयल मुंबई में गिरगांव चैपाटी पर भव्य रामलीला और हिंदी कवि सम्मेलन के आयोजन के लिए भी जाने जाते थे। उन्होंने वनवासियों के लिए शिक्षा के क्षेत्र में महत्वपूर्ण काम किया। गोयल के निधन पर मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक ने श्रद्धांजलि अर्पित की है। मुख्यमंत्री ने कहा कि परोपकारी कार्य अत्यंत निष्ठा से करने वाले और वनवासियों की उन्नति के लिए हमेशा लड़ने वाले वरिष्ठ समाजसेवी गोयल के निधन से एक संपन्न व्यक्तित्व चला गया। मुख्यमंत्री ने कहा कि अखिल भारतीय वनबंधू परिषद के सर्वेसर्वा गोयल ने वनवासी क्षेत्र में अपने सामाजिक कार्य के माध्यम से समाजसेवा का नया मापदंड स्थापित किया। वनवासी क्षेत्र के संस्कार केंद्र, एकल विद्यालय, स्वास्थ्य केंद्र, सामाजिक केंद्र की स्थापना और विस्तार का बड़ा श्रेय उन्हें जाता है। गोयल वनवासियों की उन्नति के लिए जीवन भर लड़ते रहे। मुख्यमंत्री ने कहा कि मुंबई में चौपाटी पर आदर्श रामलीला समिति के माध्यम से रामलीला और राष्ट्रीय कवि सम्मेलन का आयोजन उनकी पहचान थी। हरि सत्संग समिति के माध्यम से देश भर में धार्मिक कथाओं का आयोजन किया। लगभग पांच दशक से अधिक समय तक समाजसेवा करके उन्होंने एक आदर्श निर्माण किया।

वहीं राज्यपाल नाईक ने भी अपने वरिष्ठ सहयोगी व समाजसेवी गोयल के निधन पर गहरा दुख जताया है। नाईक ने कहा कि मैं गोयल जी को जनसंघ के समय से जानता हूं। मैंने साल 1969 में भारतीय जनसंघ का पूर्णकालिक काम करना शुरू किया तब गोयल मुंबई जनसंघ के कोषाध्यक्ष थे। गोयल ने पूरे देश में वनवासियों के लिए एकल विद्यालय चलाने में महत्वपूर्ण योगदान दिया। उनके मुंबई के चैपाटी में रामलीला और हिंदी कवि सम्मेलन के आयोजन से उनकी अलग पहचान बनी। नाईक ने कहा कि गोयल मेरे व्यक्तिगत मित्र थे उनकी कमी मुझे हमेशा खलेगी। 

 

Created On :   8 July 2019 4:47 PM GMT

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