अपहरण के बाद बच्चों की हत्या से चित्रकूट में गुस्सा, भीड़ हिंसा पर उतरी, धारा 144 लागू

अपहरण के बाद बच्चों की हत्या से चित्रकूट में गुस्सा, भीड़ हिंसा पर उतरी, धारा 144 लागू
हाईलाइट
  • 12 दिन पहले चित्रकूट से अगवा हुए थे बच्चे
  • अपरहणकर्ताओं को 20 लाख रूपये की फिरौती भी दी जा चुकी थी।
  • सतना जिले में जुड़वां भाई श्रेयांश और प्रियांश की हत्या

डिजिटल डेस्क, सतना। मध्य प्रदेश के सतना जिले के चित्रकूट से अगवा किए जुड़वां भाई श्रेयांश और प्रियांश की शनिवार को हत्या के बाद से चित्रकूट में लोगों का गुस्सा फूट रहा है। आक्रोशित भीड़ ने रविवार को सड़कों पर उतरकर जमकर हंगामा किया। गुस्साए लोगों ने जानकीकुंड अस्पताल का गेट को घेर लिया था। यहां बच्चों के शव का पोस्टमार्टम किया जा रहा था। अस्पताल के बाहर लोगों ने पुलिस, प्रशासन मुर्दाबाद के नारे लगाते हुए पत्थर बाजी और तोड़फोड की। इस दौरान कुछ लोगों ने पुलिसकर्मियों के साथ झूमाझटकी भी की। 

 

 

उत्तर प्रदेश चित्रकूट धाम (कर्वी) के रामघाट के रहने वाले दोनों बच्चों की उम्र महज 6 साल थी। आयुर्वेदिक तेल कारोबारी ब्रजेश रावत के दोनों बच्चे चित्रकूट के सद्गुरु पब्लिक स्कूल में पढ़ते थे। वे 12 फरवरी को दोपहर करीब एक बजे सद्गुरु सेवा संघ ट्रस्ट के सद्गुरु पब्लिक स्कूल की छुट्टी के बाद बस से घर लौट रहे थे। स्कूल परिसर में ही बाइक से आए दो अज्ञात युवकों ने पिस्तौल दिखाकर बस को रोका और बच्चों को अगवा कर लिया था। यह वारदात सीसीटीवी में भी कैद हुई थी।

इस मामले की जांच के लिए एमपी-यूपी की 26 पुलिस टीम के साथ एसटीएफ की टीम बच्चों की तलाश में कर रही थी, लेकिन इस काम सभी टीम नाकाम रही है। अपहरणकर्ता इतने क्रूर थे कि दोनों मासूम बच्चों के हाथ पैर रस्सी व जंजीर से बांधकर जिंदा मर्का थाना क्षेत्र के औगासी गांव से करीब तीन किलोमीटर दूर बाकल गांव के समीप देवी मंदिर के बगल से बह रही यमुना नदी में फेंक दिया था। इस पूरे मामले में पुलिस अब तक 6 लोगों की हिरासत में लिया है। जिनमें एक बीटेक का छात्र है। सभी सपन्न घरों की बताए जा रहे है। ये शॉर्टकट से पैसा कमाना चाहते थे।

 

 

Created On :   24 Feb 2019 5:14 AM GMT

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