मित्र शक्ति सैन्य अभ्यास भारत और श्रीलंका की सेना ने हासिल किया विशेष प्रशिक्षण

मित्र शक्ति सैन्य अभ्यास भारत और श्रीलंका की सेना ने हासिल किया विशेष प्रशिक्षण
भारत और श्रीलंका की सेनाओं के जाबांज वीर जवानों के बीच जारी संयुक्त सैन्य अभ्यास ‘मित्र शक्ति’ का शनिवार को समापन हो गया।

नई दिल्ली, 22 नवंबर (आईएएनएस)। भारत और श्रीलंका की सेनाओं के जाबांज वीर जवानों के बीच जारी संयुक्त सैन्य अभ्यास ‘मित्र शक्ति’ का शनिवार को समापन हो गया।

इस दौरान बेलगावी स्थित विदेशी प्रशिक्षण केंद्र में समापन समारोह का आयोजन किया गया, जिसके साथ 11वां भारत-श्रीलंका संयुक्त अभ्यास मित्रशक्ति संपन्न हुआ, जो इस महत्वपूर्ण द्विपक्षीय सैन्य अभ्यास की सफल परिणति का प्रतीक है।

संयुक्त राष्ट्र अधिदेश के तहत संयुक्त सामरिक अभ्यासों और उप-पारंपरिक अभियानों पर केंद्रित इस अभ्यास ने भारतीय सेना और श्रीलंकाई सेना के बीच परिचालन तालमेल, अंतर-संचालन और आपसी विश्वास को मजबूत किया। इसने अर्ध-शहरी परिवेश में आतंकवाद-रोधी और उप-पारंपरिक अभियानों को अंजाम देने की संयुक्त क्षमता को बढ़ाया, जो क्षेत्रीय शांति, स्थिरता और रक्षा सहयोग के प्रति दोनों देशों की साझा प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

बता दें कि भारत और श्रीलंका की सेनाओं के जवानों ने शहरी युद्धक परिस्थितियों में गहन प्रशिक्षण हासिल किया। संयुक्त सैन्य अभ्यास ‘मित्र शक्ति’ के अंतर्गत दोनों देशों के सैनिकों ने आधुनिक युद्धों की तैयारी करते हुए ड्रोन का उपयोग किया। इससे ये जवान दुश्मन की गतिविधियों की रीयल-टाइम टोह ले सकते हैं।

संयुक्त अभियान के दौरान भारतीय सेना ने बताया कि ये जवान ऑल-टेरेन व्हीकल्स की मदद से जोखिम भरे रास्तों को पार कर रहे हैं। बंद कमरों में छिपे दुश्मनों की तलाश रोबोटिक के जरिए की जा रही है। हेलीकॉप्टर मिशन भी इस संयुक्त अभ्यास का हिस्सा है। यहां ऊंचाई पर मौजूद हेलीकॉप्टर्स से सेना के जवान रस्सी के सहारे मिशन को अंजाम देने के लिए नीचे उतर रहे हैं।

सेना के मुताबिक जवानों ने यहां कठिन बाधाओं को पार करते हुए धैर्य, फुर्ती, शारीरिक क्षमता और समग्र युद्ध तत्परता का प्रदर्शन किया। भारत और श्रीलंका के बीच जारी संयुक्त सैन्य अभ्यास ‘मित्र शक्ति’ कर्नाटक के बेलगावी स्थित फॉरेन ट्रेनिंग नोड में विभिन्न महत्वपूर्ण प्रशिक्षण गतिविधियों को संपन्न किया गया। दोनों देशों की टुकड़ियों ने उत्साह, तालमेल और उच्च स्तरीय पेशेवर क्षमता का परिचय दिया। सबसे पहले बैटल ऑब्स्टेकल कोर्स का आयोजन किया गया। इसमें भारतीय तथा श्रीलंकाई सैनिकों ने बड़े जोश से भाग लिया। प्रतिभागियों ने कठिन बाधाओं को पार करते हुए धैर्य, फुर्ती, शारीरिक क्षमता और समग्र युद्ध तत्परता का प्रदर्शन किया।

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Created On :   22 Nov 2025 8:18 PM IST

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