आंध्र प्रदेश सरकार ने तीन नए जिले बनाने का फैसला किया

आंध्र प्रदेश सरकार ने तीन नए जिले बनाने का फैसला किया
आंध्र प्रदेश सरकार ने तीन नए जिले बनाने का फैसला किया है। इससे राज्य में जिलों की कुल संख्या 29 हो जाएगी।

अमरावती, 25 नवंबर (आईएएनएस)। आंध्र प्रदेश सरकार ने तीन नए जिले बनाने का फैसला किया है। इससे राज्य में जिलों की कुल संख्या 29 हो जाएगी।

मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू ने मंगलवार को मरकापुरम, मदनपल्ले और पोलावरम जिलों के प्रस्ताव वाले ग्रुप ऑफ मिनिस्टर्स की सिफारिशों को मंजूरी दे दी।

अनकापल्ली जिले में नक्कापल्ली, प्रकाशम जिले में अडांकी, मदनपल्ले में पीलेरू, नंद्याला जिले में बनगनपल्ले और सत्यसाई जिले में मदकासिरा समेत पांच नए रेवेन्यू डिवीजन बनाने का भी फैसला लिया गया।

बैठक में कुरनूल जिले के अडोनी मंडल को बांटकर एक नया पेड्डाहरिवनम मंडल बनाने का भी फैसला किया गया। रामपचोदवरम और चिंटूरू रेवेन्यू डिवीजन पोलावरम जिले के अंदर आएंगे। रामपचोदवरम जिले का हेडक्वार्टर होगा।

मरकापुरम जिला येर्रागोंडापलेम, मरकापुरम, कनिगिरी और गिड्डालुरु रेवेन्यू डिवीजन के साथ बनेगा। मदनपल्ली जिला मदनपल्ली, पुंगनुरु और पीलेरू रेवेन्यू डिवीजन के साथ बनेगा।

मुख्यमंत्री ने पिछले महीने कहा था कि राज्य में किए जा रहे जिलों के रीऑर्गेनाइजेशन से लोगों की उम्मीदें पूरी होनी चाहिए और प्रशासनिक सुविधा मिलनी चाहिए।

उन्होंने कहा कि पिछली सरकार द्वारा नए जिले बनाने से जो दिक्कतें आईं, उन्हें हल किया जाना चाहिए और साथ ही, नई दिक्कतें भी नहीं आनी चाहिए।

राज्य सरकार ने इस साल 22 जुलाई को जिला रीऑर्गेनाइजेशन पर सात सदस्यों वाली मिनिस्टीरियल सब-कमेटी बनाई थी।

2014 में बंटवारे के बाद, छोटे आंध्र प्रदेश में सिर्फ 13 जिले बचे थे। पिछली वाईएसआरसीपी सरकार ने 2022 में इस संख्या को दोगुना करके 26 कर दिया।

टीडीपी के नेतृत्व वाले गठबंधन ने पिछले साल के चुनाव के दौरान वादा किया था कि जिलों को रीऑर्गेनाइज किया जाएगा और पिछली सरकार में नए जिलों के बिना वैज्ञानिक तरीके से बनाने को ठीक करने के लिए नए रेवेन्यू डिवीजन बनाए जाएंगे।

सीएम नायडू ने कहा था कि नए जिले बनाने के पिछली सरकार के गलत फैसले से क्षेत्रीय मतभेद पैदा हुए, क्योंकि इसमें लोगों की उम्मीदों का ध्यान नहीं रखा गया था। उन्होंने सब-कमेटी से कहा था कि वह चुनाव क्षेत्रों के डिलिमिटेशन को ध्यान में रखते हुए जिलों के रीऑर्गेनाइजेशन पर काम करे। वह चाहते थे कि रेवेन्यू डिवीजन का रीऑर्गेनाइजेशन अलग से किया जाए।

नायडू चाहते थे कि पोलावरम प्रोजेक्ट पूरा होने के बाद बाढ़ वाले मंडलों के लोग किस रेवेन्यू वार्ड और चुनाव क्षेत्र में होंगे, इस पर एक स्टडी की जाए। उन्होंने कहा कि रीऑर्गेनाइज़ेशन उसी हिसाब से किया जाना चाहिए।

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Created On :   25 Nov 2025 11:58 PM IST

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