आपदा: भूस्खलन को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने का नहीं कोई प्रावधान, यूपीए सरकार ने संसद में बताई थी वजह

भूस्खलन को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने का नहीं कोई प्रावधान, यूपीए सरकार ने संसद में बताई थी वजह
कांग्रेस पार्टी और राहुल गांधी लगातार केंद्र सरकार से वायनाड भूस्खलन को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की मांग कर रहे हैं। हालांकि, केंद्र सरकार के नियमों में एक चौंकाने वाली बात सामने आई है।

नई दिल्ली, 10 अगस्त (आईएएनएस)। कांग्रेस पार्टी और राहुल गांधी लगातार केंद्र सरकार से वायनाड भूस्खलन को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की मांग कर रहे हैं। हालांकि, केंद्र सरकार के नियमों में एक चौंकाने वाली बात सामने आई है।

नियम के मुताबिक, किसी भी भूस्खलन को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने का कोई कानूनी प्रावधान नहीं है। यही बात 2013 में कांग्रेस के नेतृत्व वाली यूपीए सरकार ने कही थी।

तत्कालीन गृह राज्य मंत्री मुल्लापल्ली रामचंद्रन ने लोकसभा में राष्ट्रीय आपदा से जुड़े एक सवाल के जवाब में कहा था, "प्राकृतिक आपदा को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने का कोई प्रावधान नहीं है।"

दरअसल, कांग्रेस पार्टी बार-बार वायनाड त्रासदी को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की मांग कर रही है। राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री मोदी के वायनाड दौरे से पहले एक पोस्ट भी शेयर किया, जिसमें उन्होंने प्रधानमंत्री का वायनाड का दौरा करने पर आभार व्यक्त किया।

उन्होंने लिखा, “व्यक्तिगत रूप से भयानक त्रासदी का जायजा लेने वायनाड जाने के लिए आपका धन्यवाद, मोदी जी। ये एक अच्छा फैसला है। मुझे विश्वास है कि एक बार जब प्रधानमंत्री प्रत्यक्ष रूप से तबाही देख लेंगे, तो वह इसे राष्ट्रीय आपदा घोषित कर देंगे।”

वहीं, भाजपा नेताओं ने कांग्रेस पर इस त्रासदी का राजनीतिकरण करने और राजनीतिक लाभ उठाने का आरोप लगाया। भाजपा नेता अनिल एंटनी ने कहा कि राहुल कई वर्षों से सांसद हैं और विपक्ष के नेता भी हैं, लेकिन वे त्रासदी पर राजनीतिक लाभ लेने पर तुले हुए हैं।”

पूर्व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष रामचंद्रन ने अपने जवाब में तब कहा था, ''भारत सरकार आपदा की तीव्रता और परिणाम, राहत सहायता के स्तर, समस्या से निपटने के लिए राज्य सरकार की क्षमता और राहत प्रदान करने की योजना के विकल्पों को ध्यान में रखते हुए ही गंभीर प्रकृति की आपदा का फैसला करती है।”

उन्होंने कहा, “प्राकृतिक आपदा के संदर्भ में तत्काल राहत और प्रतिक्रिया सहायता प्राथमिकता है। ऐसे में कोई निश्चित नियम नहीं है। हालांकि, प्रक्रिया का पालन करने के बाद राष्ट्रीय आपदा राहत कोष (एनडीआरएफ) से अतिरिक्त सहायता पर भी विचार किया जाता है।”

रामचंद्रन ने लोकसभा में 2013 में दिए जवाब में यह भी बताया था कि प्राकृतिक आपदाओं के मद्देनजर आवश्यक बचाव और राहत उपाय करने की जिम्मेदारी मुख्य रूप से संबंधित राज्य सरकार की होती है।

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Created On :   10 Aug 2024 1:35 PM IST

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