राष्ट्रीय: विवादित बयान देने वालों को टिकट नहीं देने से भाजपा को होगा फायदा प्रदीप गुप्ता (आईएएनएस साक्षात्कार)
नई दिल्ली, 3 मार्च (आईएएनएस)। भारतीय जनता पार्टी की तरफ से लोकसभा चुनाव के लिए जारी की गई उम्मीदवारों की पहली सूची में से कई ऐसे सांसदों के टिकट काटे गए हैं, जिन्होंने या तो विवादित बयान दिया था या फिर पार्टी को उनके चुनाव क्षेत्र से उनको लेकर जनता के उतने उत्साहजनक परिणाम नहीं सामने आए। ऐसे में जिन सांसदों के टिकट पार्टी ने काटे, उसको लेकर देशभर में पॉपुलर चुनावी सर्वे एजेंसी एक्सिस माय इंडिया के चेयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर प्रदीप गुप्ता ने अपनी बात रखी।
आईएएनएस के साथ खास बातचीत में प्रदीप गुप्ता ने बताया, "पहली बार भाजपा ने इस पहली सूची में युवा और अनुभव का समावेश किया है। दोनों बातों का ध्यान रखा गया है। बहुत सारी सीटों पर उम्मीदवार बदले भी गए हैं, जैसे कि आप नई दिल्ली की सीट ही ले लीजिए। मीनाक्षी लेखी की जगह वहां बांसुरी स्वराज को टिकट दिया गया है। सबसे पहले तो हर्षवर्धन को मंत्री पद से हटाया गया तो नेचुरली जब उन्हें मंत्री पद से हटाया गया तो उसके बाद संभावनाएं वैसे भी कम थीं। दूसरी हैं, मीनाक्षी लेखी जो कि राज्यमंत्री थीं। प्रदर्शन के दृष्टिकोण से कि आप एमसीडी के चुनाव देखें तो नई दिल्ली लोकसभा क्षेत्र का प्रदर्शन सबसे खराब था। उसी नजरिए से मीनाक्षी लेखी को भी बदला गया, ऐसा मैं देखता हूं।"
"तीसरे हैं प्रवेश वर्मा, मुझे ऐसा लगता है कि जिस हिसाब से आम आदमी पार्टी का वर्चस्व है विधानसभा में और अब एमसीडी में भी हुआ है तो मुझे ऐसा लगा रहा है कि प्रवेश वर्मा का प्रदर्शन तो नहीं लेकिन, मुझे लगता है कि उनको प्रदेश की जिम्मेदारी या प्रदेश में काम करने के लिए अब शिद्दत से उतारा जाएगा ऐसी मेरी कल्पना है। मुझे उसकी कोई ऑफिशियल जानकारी नहीं है, लेकिन मैं प्रवेश वर्मा जी के संदर्भ में ऐसा सोचता हूं। बीच में प्रवेश वर्मा ने भी चुनाव के दौरान कुछ ऐसी भाषा का इस्तेमाल किया था और इन चार की लिस्ट में वो भी शामिल हैं।"
"रमेश बिधूड़ी का जो सवाल रहा तो जिस हिसाब से संसद में उन्होंने भाषा का इस्तेमाल किया और जिस हिसाब से बीजेपी को काफी नीचे देखना पड़ा। एक पार्टी के रूप में जिस भाषा का इस्तेमाल किया गया तो उसका उनको खामियाजा भुगतना पड़ रहा है। उसमें मुझे नहीं लगता कि बीजेपी ने अच्छा हाई मोरल ग्राउंड लिया है, बीजेपी ने बस एक क्लियर संदेश दिया है। यहां तक कि भोपाल में देखिए कि प्रज्ञा ठाकुर को भी चेंज किया गया। तो ये साफ संदेश है कि भाई इस तरह की भाषा, इस तरह का व्यवहार बीजेपी के लिए मुश्किलें पैदा करता है, जो कि मंजूर नहीं है।"
"ये बहुत स्ट्रॉन्ग मैसेज है इस बार जो बीजेपी ने लोकसभा चुनाव में अपने उम्मीदवारों को उतार के या बदल के दिया है और इसके बहुत ज्यादा सकारात्मक असर मुझे नजर आ रहा है। उन्होंने इस बात से भी इनकार किया कि भाजपा ने दिल्ली में कांग्रेस और आप के गठबंधन की चुनौती की वजह से चार सीटों पर उम्मीदवार बदले हैं। उन्होंने कहा कि पिछले चुनाव के वोट परसेंटेज को देख लीजिए, दोनों को मिलाकर जितने प्रतिशत वोट मिले हैं, उससे ज्यादा हर सीट पर अकेले भाजपा को मिले हैं।
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Created On :   3 March 2024 11:47 PM IST