राजनीति: युद्ध संबंधी सभी निर्णय तीनों सेनाओं के हाथों में होते हैं जेडीयू नेता केसी त्यागी

युद्ध संबंधी सभी निर्णय तीनों सेनाओं के हाथों में होते हैं जेडीयू नेता केसी त्यागी
भारत-पाकिस्तान के बीच सीजफायर के बाद सोमवार को दोनों देशों की डीजीएमओ स्तर की बातचीत पर जेडीयू के वरिष्ठ नेता केसी त्यागी ने कहा कि पीएम मोदी और भारत सरकार ने कई अवसरों पर इसका उल्लेख किया है कि युद्ध संबंधी सभी निर्णय तीनों सेनाओं के हाथों में होते हैं और आज की बैठक इसी संदर्भ में बुलाई गई है।

नई दिल्ली, 12 मई (आईएएनएस)। भारत-पाकिस्तान के बीच सीजफायर के बाद सोमवार को दोनों देशों की डीजीएमओ स्तर की बातचीत पर जेडीयू के वरिष्ठ नेता केसी त्यागी ने कहा कि पीएम मोदी और भारत सरकार ने कई अवसरों पर इसका उल्लेख किया है कि युद्ध संबंधी सभी निर्णय तीनों सेनाओं के हाथों में होते हैं और आज की बैठक इसी संदर्भ में बुलाई गई है।

सीजफायर के बाद रविवार को भारतीय सेना की प्रेस वार्ता पर जेडीयू नेता ने कहा कि आज पूरा देश भारतीय सेना के शौर्य को सेल्यूट कर रहा है। भारतीय सेना ने पाकिस्तान और पीओके के 9 आतंकी ठिकानों को टारगेट किया और सावधानी बरतते हुए ऑपरेशन सिंदूर को अंजाम दिया।

कांग्रेस की ओर से पूर्व पीएम इंदिरा गांधी की फोटो पोस्ट करने पर जेडीयू नेता ने कहा कि 1971 के युद्ध में हम लोग पाकिस्तान के दो टुकड़े करने में कामयाब हुए थे। कांग्रेस पर भाजपा की ओर से राजनीति करने के आरोप पर जेडीयू नेता ने कहा कि इस समय इस तरह के सवालों को उठाने का सही समय नहीं है। युद्ध से पहले ऑल पार्टी मीटिंग हुई थी। अगर जरूरत होगी तो सरकार फिर से विपक्ष को विश्वास में लेकर बैठक करेगी।

बता दें कि भारत-पाक के बीच सीजफायर की घोषणा को लेकर अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की एंट्री से विपक्षी दलों ने ऐतराज जताया है। विपक्षी दलों का मानना है कि यह दो देशों की बात थी, इसमें ट्रंप की एंट्री क्यों हुई। विपक्षी दलों का आरोप है कि केंद्र सरकार ने अमेरिका के दबाव में सीजफायर किया।

इसीलिए, रविवार को लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी, कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे सहित इंडिया ब्लॉक में शामिल अन्य दलों के नेताओं ने केंद्र सरकार से सर्वदलीय बैठक बुलाने की मांग की है। विपक्ष की मांग है कि पीएम मोदी की अध्यक्षता में सर्वदलीय बैठक बुलाई जाए।

इसके साथ ही संसद का विशेष सत्र बुलाने की मांग भी की गई है। विपक्षी दलों का मानना है कि आतंकवाद के खिलाफ वे सरकार और भारतीय सेना के साथ खड़े रहे। इसीलिए, सीजफायर किन कारणों की वजह से लिया गया, इसके बारे में देश को जानकारी मिलनी चाहिए।

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Created On :   12 May 2025 6:53 PM IST

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