राष्ट्रीय: प्रकाश अंबेडकर का दावा वीबीए अभी भी एमवीए का हिस्सा नहीं

प्रकाश अंबेडकर का दावा  वीबीए अभी भी एमवीए का हिस्सा नहीं
वंचित बहुजन अघाड़ी (वीबीए) के अध्यक्ष प्रकाश अंबेडकर ने बुधवार को यहां दावा किया कि उनकी पार्टी अभी भी महा विकास अघाड़ी (एमवीए) में शामिल नहीं है। उन्‍होंने कहा कि यह अभी भी स्पष्ट नहीं हैं कि कांग्रेस की महाराष्ट्र इकाई के अध्यक्ष नाना पटोले को अधिकार दिया गया है या नहीं, लेकिन वह इस मुद्दे पर वीबीए के साथ पत्र-व्यवहार कर रहे हैं।

अकोला (महाराष्ट्र), 31 जनवरी (आईएएनएस)। वंचित बहुजन अघाड़ी (वीबीए) के अध्यक्ष प्रकाश अंबेडकर ने बुधवार को यहां दावा किया कि उनकी पार्टी अभी भी महा विकास अघाड़ी (एमवीए) में शामिल नहीं है। उन्‍होंने कहा कि यह अभी भी स्पष्ट नहीं हैं कि कांग्रेस की महाराष्ट्र इकाई के अध्यक्ष नाना पटोले को अधिकार दिया गया है या नहीं, लेकिन वह इस मुद्दे पर वीबीए के साथ पत्र-व्यवहार कर रहे हैं।

अंबेडकर ने कहा, "एआईसीसी महासचिव रमेश चेन्निथला ने हमें बताया कि पूर्व सीएम अशोक चव्हाण और कांग्रेस विधायक दल के नेता बालासाहेब थोराट महाराष्ट्र में सीट बंटवारे से संबंधित महत्वपूर्ण निर्णय लेंगे। लेकिन उनके पत्र पर चव्हाण और थोराट के हस्ताक्षर नहीं हैं।"

उन्होंने कहा कि 30 जनवरी की बैठक में एमवीए सहयोगी कांग्रेस-राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एसपी)-शिवसेना (यूबीटी) ने 2 फरवरी की बैठक के लिए एजेंडा दिया है, इसी बैठक में सीट आवंटन फॉर्मूले का मसौदा तैयार होने की संभावना है।

अंबेडकर ने कहा, "अगर मसौदा हमें दिया जाता है तो शुक्रवार की बैठक में संयुक्त रूप से चर्चा करने या प्रत्येक पक्ष से अलग-अलग चर्चा करने का निर्णय लिया जाएगा।"

अंबेडकर का बयान एसएस-यूबीटी के सांसद संजय राउत की घोषणा के एक दिन बाद आया है कि एमवीए का विस्तार वीबीए, सीपीआई, आप, समाजवादी पार्टी, सीपीआई-एम, पीडब्ल्यूपी और जेडी-यू के साथ किया गया है।

उन्होंने दोहराया कि वीबीए केंद्र में फिर से भारतीय जनता पार्टी की सरकार बनाने में किसी भी व्यक्तिगत या अन्य कारणों की अनुमति नहीं देगी।

मुंबई में शुक्रवार को होने वाली एमवीए बैठक में भाग लेने वाले अंबेडकर ने कहा, "हमारा रुख यह है कि भाजपा का सत्ता में वापस आना देश और लोकतंत्र के लिए खतरनाक होगा, इसलिए हमें यह सुनिश्चित करने के लिए एकजुट होना चाहिए कि ऐसा न हो।"

मंगलवार की बैठक में वीबीए ने ओबीसी आरक्षण, मराठा कोटा और अब वापस लिए गए कृषि कानून के खिलाफ एक साल तक विरोध प्रदर्शन करने वाले किसानों के मुद्दे जैसे मुद्दे उठाए और इन मामलों पर कांग्रेस का रुख मांगा।

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Created On :   31 Jan 2024 7:03 PM GMT

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