राजनीति: हिंदू बच्चों का मदरसों में कोई काम नहीं प्रियंक कानूनगो
नई दिल्ली, 13 जुलाई (आईएएनएस)। हिंदू बच्चों का अपहरण कर उनका धर्म परिवर्तन कराने का मामला सामने आया है। इस पर संज्ञान लेते हुए राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग के प्रमुख प्रियंक कानूनगो ने विभिन्न राज्यों सरकारों से ऐसे मामले सामने पर सख्त कार्रवाई की अपील की है।
आईएएनएस के साथ बातचीत में प्रियंक कानूनगो ने कहा, “यह पिछले साल का मामला है। एक गुमशुदा हिंदू बच्चे को मदरसे में रखकर उसका खतना करके धर्म परिवर्तन कराया गया था और आज इस विषय पर बात करना इसलिए जरूरी हो जाता है, क्योंकि राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग की अनुशंसा पर उत्तर प्रदेश सरकार ने बड़ा फैसला लिया है। इसमें कहा गया है कि मदरसों मे जाने वाले गैर-इस्लामिक बच्चों का दाखिला स्कूल में किया जाना चाहिए। मदरसे इस्लामिक तहजीब सिखाने का केंद्र हैं। इन सबका हिंदू बच्चों से कोई लेना-देना नहीं है और ऐसी स्थिति में जब एक स्वागत योग्य निर्णय हुआ है, तब जमीयत-ए-उलेमा-ए-हिंद विरोध में खड़ा हो गया है।“
उन्होंने आगे कहा, “मैं दोबारा से यह बात साफ करना चाहूंगा कि पिछले दिनों देवबंद से जुड़े एक गांव में एक बच्चे को खतना करके धर्म परिवर्तन किया गया था, तब सामाजिक वैमनस्य का माहौल पैदा हाेे गया था। इसके लिए धर्म परिवर्तन कराने वाले जिम्मेदार थे। यही कट्टरपंथी लोग अब मदरसों में हिंदू बच्चों को जबरन रखने के लिए वकालत कर रहे हैं और लोगों को भड़काकर कर सरकार पर दबाव बनाने की कोशिश कर रहे हैं। कानूनगो ने कहा कि मैं एक बात साफ करना चाहूंगा कि आयोग उनकी ऐसी किसी भी साजिश को सफल होने नहीं देगा। हिंदू बच्चों का मदरसों में कोई काम नहीं है। हिंदू बच्चे स्कूल जाएंगे। मदरसों में भी मुस्लिम बच्चों को बुनियादी तालीम और शिक्षा प्रदान करने के लिए आयोग संघर्षरत और प्रयासरत रहेगा। उन्होंने कहा कि मैं एक बार फिर से स्पष्ट कर देना चाहता हूं कि बच्चों को स्कूल लाना हमारा काम है और हम उसके लिए लगातार काम करते रहेंगे।“
प्रियंक कानूनगो ने कहा, “कई राज्यों, जैसे उत्तराखंड ने अच्छी पहल की है। मदरसे में जाने वाले हिंदू बच्चों का सामान्य स्कूलों में दाखिला शुरू हुआ है। साथ ही उत्तर प्रदेश ने भी अच्छी पहल की है। वहीं, बिहार, पश्चिम बंगाल सहित अन्य राज्यों से भी ऐसी पहल की अपेक्षा है। उन्होंने कहा कि हम सभी राज्य सरकारों से अपील करते हैं कि बच्चों का धोखे से धर्म परिवर्तन पर कड़ी कार्रवाई करें। कानूनगो ने कहा कि निकट भविष्य में ऐसी स्थिति पैदा होने पर आयोग न्यायालय का भी दरवाजा खटखटा सकता है।“
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Created On :   13 July 2024 4:29 PM IST